लखनऊ : लखीमपुर खीरी हिंसा में जान गंवाने वाले किसानों के परिवारों से मिलने के लिए कांग्रेस नेता राहुल गांधी और प्रियंका गांधी, भूपेश बघेल और चरणजीत चन्नी लखीमपुर खीरी पहुंच गए हैं. राहुल और प्रियंका गांधी ने किसान लवप्रीत सिंह के आवास पर उके परिजनों से मुलाकात की. इसके अलावा राहुल और प्रियंका गांधी ने लखीमपुर खीरी में पत्रकार की मौत को लेकर पत्रकार परिजनों से भी मिले.
इसके पहले लखनऊ एयरपोर्ट पर पहुंचकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा, हम अपनी कार में (लखीमपुर खीरी) जाना चाहते हैं लेकिन वे (पुलिस) हमें अपने वाहन में ले जाना चाहते हैं. मैंने उनसे कहा कि मुझे अपने कार्मिक वाहन में जाने दें. वे कुछ योजना बना रहे हैं. मैं यहां बैठा हूं.
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने लखनऊ हवाई अड्डे पर पुलिस अधिकारियों से पूछा, आप किस नियम के तहत तय कर रहे हैं कि मैं कैसे जाऊंगा? बस मुझे नियम बताओ.
हिरासत में लिए गए पायलट
राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट को लखीमपुर खीरी जाते समय पुलिस ने मुरादाबाद में हिरासत में ले लिया. पायलट के मुताबिक, उनके साथ कांग्रेस नेता आचार्य प्रमोद कृष्णम को भी हिरासत में लिया गया है. वह और आचार्य प्रमोद कृष्णम सड़क मार्ग से लखीमपुर खीरी जा रहे थे. उन्होंने बताया, 'मुझे और आचार्य प्रमोद जी को हिरासत में ले लिया गया है. हम सिर्फ पीड़ित परिवारों से मुलाकात करने जा रहे थे.'
इसके अलावा पुलिस हिरासत में 56 घंटे रहने के बाद आम आदमी पार्टी के प्रदेश प्रभारी राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने बुधवार देर शाम लखीमपुर खीरी पहुंचे. यहां उन्होंने मारे गए किसानों के परिवारों से मुलाकात की. वह लखीमपुर खीरी में मृत किसान के परिजनों से मिले. आप नेताओं का प्रतिनिधिमंडल अन्य किसानों के परिवार से भी मिलने जाएगा.
राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने सवाल उठाया कि आखिर यह फैसला लेने में योगी सरकार को 56 घंटे क्यों लगे, क्या योगीराज में किसानों की मौत के बाद उनके परिवार से मिलकर शोक संवेदना जताना भी अपराध हो गया है? सांसद संजय सिंह ने मामले में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र टेनी के आरोपी बेटे आशीष मिश्र मोनू पर 302 का मुकदमा दर्ज होने के बाद भी अब तक उसकी गिरफ्तारी न होने पर सवाल उठाया. कहा कि आम आदमी पर 302 का मुकदमा दर्ज होता है तो योगी की पुलिस तत्काल उसे जेल भेज देती है. मगर मंत्री, उसके बेटे और उसके गुर्गों पर अब तक योगी की पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की है.
संजय सिंह ने कहा कि पीड़ित परिवार के लोगों ने बताया कि आरोपी मंत्री का बेटा जाने के बाद दोबारा पीछे से गाड़ी लेकर आता है और किसानों को रौंद कर भागने लगता है. ऐसे गंभीर आरोपों के बावजूद अब तक उसकी गिरफ्तारी न होना पूरी व्यवस्था पर सवाल खड़े कर रहा है. संजय सिंह ने केंद्रीय गृह राज्य मंत्री के पद से अब तक बर्खास्तगी न होने पर दुख जताया और घटना की निष्पक्ष जांच के लिए उन्हें पद से हटाने की मांग की.
इसके अलावा संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) ने भी केंद्र और उत्तर प्रदेश सरकार को चेतावनी दी कि अगर केन्द्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा को हटाने और उनके बेटे की गिरफ्तारी की मांगें लखीमपुर खीरी हिंसा में मारे गये किसानों की 'अंतिम अरदास' तक पूरी नहीं हुई तो वह एक 'बड़ा कार्यक्रम' शुरू करेगी.
मोर्चा ने कहा कि वह लखीमपुर खीरी कांड में न्याय के लिए अपने संघर्ष से पीछे नहीं हटेगी. मोर्चा ने एक बयान में कहा, 'एसकेएम की केंद्र सरकार से अजय मिश्रा को बर्खास्त करने, उनके बेटे की गिरफ्तारी और हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के इस्तीफे की मांग अभी भी लंबित है.'
बयान में कहा गया, 'एसकेएम ने मोदी सरकार को मंत्री के खिलाफ तत्काल कार्रवाई करने या कड़े प्रतिरोध का सामना करने की चेतावनी दी है. मोर्चा लखीमपुर खीरी में चौंकाने वाले घटनाक्रम पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की चुप्पी की भी निंदा करता है.' मोर्चा ने कहा कि उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करना एक 'क्रूर मजाक' है और मांग की कि मामला तुरंत वापस लिया जाए.
बता दें कि लखीमपुर हिंसा (Lakhimpur Violence) के बाद मचे बवाल के बीच गिरफ्तार कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी (Congress General Secretary Priyanka Gandhi) से मिलने सचिन पायलट (Congress Leader Sachin Pilot) और प्रमोद कृष्णम सीतापुर जा रहे हैं.
हालांकि गाजीपुर बॉर्डर पर गाजियाबाद पुलिस ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए थे. सचिन पायलट का काफिला जैसे ही गाजीपुर बॉर्डर पहुंचा, जाम की स्थिति पैदा हो गई. इसके चलते आम जनता को खासा परेशानी उठानी पड़ी. गाजीपुर बॉर्डर से तकरीबन 300 मीटर की दूरी पर गाजियाबाद पुलिस (Ghaziabad Police) ने ट्रक खड़े कर सड़क को बंद कर दिया था.
पुलिस प्रशासन के मुताबिक, सचिन पायलट के साथ चार कांग्रेस नेताओं को आगे जाने की अनुमति दी गई है. इस पर कांग्रेस कार्यकर्ता (Congress Workers) नाराज हो गए और कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने सड़क पर बैठकर प्रदर्शन करना शुरू कर दिया. हालांकि इस बीच कांग्रेसियों और पुलिस के बीच तीखी नोकझोंक भी देखने को मिली.
सचिन पायलट ने प्रदेश की भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि योगी सरकार (Yogi Government) ने जो रवैय्या अपनाया है, उसका जल्द खमियाजा भुगतना पड़ेगा. आज हम शांतिपूर्ण तरीके से सीतापुर जा रहे हैं और किसी प्रकार से कोई कानून नहीं तोड़ रहे हैं. हम लखीमपुर में मृतक किसानों के परिवारों के आंसू पोछने जाना चाहते हैं. पुलिस से हमारा आग्रह है कि हमें बेवजह न रोका जाए.
(पीटीआई-भाषा इनपुट)