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बंगाल की 3 नाबालिग लड़कियां नरकटियागंज से बरामद, ऑर्केस्ट्रा में करवाया जा रहा था डांस - Bihar Many Minor Girls Rescue

पूरे देश में मानव तस्करों का जाल पसरा हुआ (Human Trafficking In Bihar) है. मानव तस्कर फिल्म और सीरियल में काम देने के बहाने उसे साथ लाते हैं. फिर चालाकी से उसे ऑर्केस्ट्रा के रास्ते सेक्स रैकेट में धकेल देते हैं. पढ़ें पूरी खबर.

Human Trafficking In Bihar
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Published : Apr 13, 2022, 9:00 PM IST

बेतियाः बिहार के पश्चिमी चंपारण जिले के शिकारपुर थाना क्षेत्र अन्तर्गत धुमनगर चौक के पास से पश्चिम बंगाल की 3 नाबालिग लड़कियों को मुक्त कराया गया (Many Minor Girls Rescue From Human Trafficking In Bihar) है. एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट रक्सौल ने शिकारपुर पुलिस और मिशन फाउंडेशन दिल्ली के सहयोग से लड़कियों को मानव तस्करों की चंगुल से बाहर निकाला गया है. मानव तस्करी की ओर से लड़कियों को ऑर्केस्ट्रा और अन्य कामों में लगाया जाता है. अभियान के दौरान एक आर्केस्ट्रा संचालक भी पकड़ा गया है, जिसे शिकारपुर पुलिस को सौंपा दिया गया है. आर्केस्ट्रा संचालक की पहचान धुमनगर गांव निवासी गुड्डू चौरसिया के रूप में की गयी है.


पढ़ें- पटना जंक्शन पर RPF ने सात बच्चों को बाल तस्कर से कराया मुक्त, एक आरोपी गिरफ्तार

कैसे हुआ मामले का खुलासाः एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट रक्सौल के सीनियर इंस्पेक्टर मनोज कुमार शर्मा ने बताया कि बंगाल की एक लड़की के पिता ने फोन पर मदद मांगी थी. उसने बताया था कि उसकी लड़की तीन चार दिन से घर से गायब है. मामले में लड़की के पिता ने पश्चिम बंगाल के कोतवाली थाना जालपाईगुड़ी में एफआईआर भी दर्ज करायी गयी थी. लड़की के पिता ने ऑर्केस्ट्रा संचालक के चंगुल में बेटी के कैद होने की जानकारी दी थी.

मोबाइल लोकेशन से पहुंची टीमः इंस्पेक्टर मनोज कुमार शर्मा ने बताया कि एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट ने लड़की के मोबाइल नम्बर पर उससे बात की. उस नंबर का लोकेशन निकाला गया तो वह नरकटियागंज का निकला. कॉल डिटेल से ऑर्केष्ट्रा संचालक का नंबर निकाला, जिस पर लड़की के नम्बर से काल की गयी थी. मोबाइल लोकेशन के आधार पर छापेमारी टीम शिकारपुर पुलिस के साथ लड़की तक पहुंची और उसे रेस्क्यू कराया गया. उसके साथ दो अन्य नाबालिग लड़कियों का भी रेस्क्यू किया गया है.

लड़कियों को फंसाने के लिए काम करता है पूरा रैकटः मनोज शर्मा ने बताया कि मुक्त करायी गई लड़कियों को शिकारपुर पुलिस को सौंप दिया गया है और उनके परिजनों को सूचना दे दी गई है. लड़कियों के परिजनों को सौंप दिया जायेगा. उन्होंने आगे बताया कि पूछताछ में पता चला है कि आर्केस्ट्रा में लड़कियों को फंसाकर लाने के लिए एक पूरा रैकेट काम कर रहा है. यह रैकेट सिनेमा में काम दिलाने के नाम पर महत्वाकांक्षी लड़कियों को फंसाता है और उन्हें गलत धंधे में धकेल देता है. पहले उनसे ऑर्केस्ट्रा में डांस कराया जाता है और फिर पैसों का लालच देकर सेक्स रैकेट चलाया जाता है. एएचटीयू टीम रैकेट को उजागर कर कार्रवाई करने में लगी हुई है.

टीम में शामिल मिशन फाउंडेशन दिल्ली के डायरेक्टर वीरेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि बरामद नाबालिग बच्चियों को नया जीवन मिला है. बाल कल्याण समिति के चेयरमैन आदित्य ने बताया कि बालश्रम से नाबालिगों का जीवन नष्ट किया जा रहा है. इसके लिए मानव तस्करों पर कार्रवाई जारी है.
ये भी पढ़ें:बाल तस्करी में नंबर तीन पर बिहार, 10 साल में सात हजार नाबालिग बच्चे लापता

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बेतियाः बिहार के पश्चिमी चंपारण जिले के शिकारपुर थाना क्षेत्र अन्तर्गत धुमनगर चौक के पास से पश्चिम बंगाल की 3 नाबालिग लड़कियों को मुक्त कराया गया (Many Minor Girls Rescue From Human Trafficking In Bihar) है. एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट रक्सौल ने शिकारपुर पुलिस और मिशन फाउंडेशन दिल्ली के सहयोग से लड़कियों को मानव तस्करों की चंगुल से बाहर निकाला गया है. मानव तस्करी की ओर से लड़कियों को ऑर्केस्ट्रा और अन्य कामों में लगाया जाता है. अभियान के दौरान एक आर्केस्ट्रा संचालक भी पकड़ा गया है, जिसे शिकारपुर पुलिस को सौंपा दिया गया है. आर्केस्ट्रा संचालक की पहचान धुमनगर गांव निवासी गुड्डू चौरसिया के रूप में की गयी है.


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कैसे हुआ मामले का खुलासाः एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट रक्सौल के सीनियर इंस्पेक्टर मनोज कुमार शर्मा ने बताया कि बंगाल की एक लड़की के पिता ने फोन पर मदद मांगी थी. उसने बताया था कि उसकी लड़की तीन चार दिन से घर से गायब है. मामले में लड़की के पिता ने पश्चिम बंगाल के कोतवाली थाना जालपाईगुड़ी में एफआईआर भी दर्ज करायी गयी थी. लड़की के पिता ने ऑर्केस्ट्रा संचालक के चंगुल में बेटी के कैद होने की जानकारी दी थी.

मोबाइल लोकेशन से पहुंची टीमः इंस्पेक्टर मनोज कुमार शर्मा ने बताया कि एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट ने लड़की के मोबाइल नम्बर पर उससे बात की. उस नंबर का लोकेशन निकाला गया तो वह नरकटियागंज का निकला. कॉल डिटेल से ऑर्केष्ट्रा संचालक का नंबर निकाला, जिस पर लड़की के नम्बर से काल की गयी थी. मोबाइल लोकेशन के आधार पर छापेमारी टीम शिकारपुर पुलिस के साथ लड़की तक पहुंची और उसे रेस्क्यू कराया गया. उसके साथ दो अन्य नाबालिग लड़कियों का भी रेस्क्यू किया गया है.

लड़कियों को फंसाने के लिए काम करता है पूरा रैकटः मनोज शर्मा ने बताया कि मुक्त करायी गई लड़कियों को शिकारपुर पुलिस को सौंप दिया गया है और उनके परिजनों को सूचना दे दी गई है. लड़कियों के परिजनों को सौंप दिया जायेगा. उन्होंने आगे बताया कि पूछताछ में पता चला है कि आर्केस्ट्रा में लड़कियों को फंसाकर लाने के लिए एक पूरा रैकेट काम कर रहा है. यह रैकेट सिनेमा में काम दिलाने के नाम पर महत्वाकांक्षी लड़कियों को फंसाता है और उन्हें गलत धंधे में धकेल देता है. पहले उनसे ऑर्केस्ट्रा में डांस कराया जाता है और फिर पैसों का लालच देकर सेक्स रैकेट चलाया जाता है. एएचटीयू टीम रैकेट को उजागर कर कार्रवाई करने में लगी हुई है.

टीम में शामिल मिशन फाउंडेशन दिल्ली के डायरेक्टर वीरेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि बरामद नाबालिग बच्चियों को नया जीवन मिला है. बाल कल्याण समिति के चेयरमैन आदित्य ने बताया कि बालश्रम से नाबालिगों का जीवन नष्ट किया जा रहा है. इसके लिए मानव तस्करों पर कार्रवाई जारी है.
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