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बेतिया: मठ की लालच में महंत के साथ मारपीट, इलाज के दौरान मौत

जिले में मठ हड़पने की लालच में एक महंत की हत्या कर दी गई. इस मामले में महंत ने मरने से पहले बयान दिया है, जिसके आधार पर पुलिस मामले की जांच में जुट गई है. वहीं शव को पोस्टमार्टम कराकर परिजनों को सौंप दिया गया है.

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Published : Nov 12, 2020, 10:14 AM IST

mahant died in dispute of math
महंत की हत्या

बेतिया: जिले के लौरिया थाना क्षेत्र के मठिया गांव में मठ विवाद को लेकर मारपीट हो गई. इस घटना में घायल महंत की इलाज के दौरान अस्पताल में मौत हो गई. महंत की पहचान विश्वनाथ राव के रूप में की गई है.

महंत बनने की लालच
मठिया गांव निवासी विश्वनाथ राव ने मरने से पूर्व पुलिस को दिए गए बयान में बताया कि 09 नवंबर को करीब 3:30 बजे वह अपने गांव के मठ पर बैठे हुए थे. पुलिस ने बताया कि वह मठ के करीब 40 वर्षो से महंत थे. सरगटिया गांव निवासी साहेब गिरी मठ पर आया जाया करता था. इसी क्रम में उसे मठ का महंत बनने का लालच हो गया. वह गोपालपुर थाना क्षेत्र के सरगटिया गांव निवासी साहेब गिरी मठ पर पहुंचकर गाली ग्लौज करने लगा. वहीं इसका विरोध करने पर साहेब गिरी, बृजेश राय, शिवधारी पांडेय, प्रभु पांडेय समेत अज्ञात चार से पांच लोग अचानक पहुंच गए और साहेब गिरी ने गर्दन में गमछा लगाकर कस दिया, जिसके कारण महंत का दम घुटने लगा.

एफआईआर की कॉपी
एफआईआर की कॉपी

महंत को लाठी से मारकर किया घायल
साहेब गिरी लाठी से महंत के दाये पैर पर मारने लगा, जिससे वह गंभीर रूप से जख्मी हो गए. इस मामले को लेकर आरोप है कि बृजेश राय और शिवधारी प्रसाद पॉकेट से 3500 रुपये निकाल लिए. इसके साथ ही मठ का चाभी और मोबाइल छीन लिया. ग्रामीणों के पहुंचने पर आरोपी फरार हो गए और लोगों ने इलाज के लिए सदर अस्पताल में भर्ती कराया है, जहां इलाज के दौरान मौत हो गई.

परिजनों को सौंपा गया शव
इस घटना के बाद मृत विश्वनाथ राव के शव का पोस्टमार्टम बुधवार को मेडिकल कॉलेज अस्पताल में कराया गया. इसके बाद शव परिजनों को सुपुर्द कर दिया गया है. थानाध्यक्ष राजीव रजक ने कहा कि मामला मठ के विवाद का है. इस घटना की छानबीन की जा रही है. इस मामले में संलिप्त दोषियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा जाएगा.

बेतिया: जिले के लौरिया थाना क्षेत्र के मठिया गांव में मठ विवाद को लेकर मारपीट हो गई. इस घटना में घायल महंत की इलाज के दौरान अस्पताल में मौत हो गई. महंत की पहचान विश्वनाथ राव के रूप में की गई है.

महंत बनने की लालच
मठिया गांव निवासी विश्वनाथ राव ने मरने से पूर्व पुलिस को दिए गए बयान में बताया कि 09 नवंबर को करीब 3:30 बजे वह अपने गांव के मठ पर बैठे हुए थे. पुलिस ने बताया कि वह मठ के करीब 40 वर्षो से महंत थे. सरगटिया गांव निवासी साहेब गिरी मठ पर आया जाया करता था. इसी क्रम में उसे मठ का महंत बनने का लालच हो गया. वह गोपालपुर थाना क्षेत्र के सरगटिया गांव निवासी साहेब गिरी मठ पर पहुंचकर गाली ग्लौज करने लगा. वहीं इसका विरोध करने पर साहेब गिरी, बृजेश राय, शिवधारी पांडेय, प्रभु पांडेय समेत अज्ञात चार से पांच लोग अचानक पहुंच गए और साहेब गिरी ने गर्दन में गमछा लगाकर कस दिया, जिसके कारण महंत का दम घुटने लगा.

एफआईआर की कॉपी
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महंत को लाठी से मारकर किया घायल
साहेब गिरी लाठी से महंत के दाये पैर पर मारने लगा, जिससे वह गंभीर रूप से जख्मी हो गए. इस मामले को लेकर आरोप है कि बृजेश राय और शिवधारी प्रसाद पॉकेट से 3500 रुपये निकाल लिए. इसके साथ ही मठ का चाभी और मोबाइल छीन लिया. ग्रामीणों के पहुंचने पर आरोपी फरार हो गए और लोगों ने इलाज के लिए सदर अस्पताल में भर्ती कराया है, जहां इलाज के दौरान मौत हो गई.

परिजनों को सौंपा गया शव
इस घटना के बाद मृत विश्वनाथ राव के शव का पोस्टमार्टम बुधवार को मेडिकल कॉलेज अस्पताल में कराया गया. इसके बाद शव परिजनों को सुपुर्द कर दिया गया है. थानाध्यक्ष राजीव रजक ने कहा कि मामला मठ के विवाद का है. इस घटना की छानबीन की जा रही है. इस मामले में संलिप्त दोषियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा जाएगा.

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