पं.चंपारण(बगहा): बिहार में कांग्रेस अपने खोए हुए जनाधार को मजबूत करने के लिहाज से एड़ी चोटी का जोर लगाया हुआ है. महागठबंधन में आरजेडी के साथ चुनावी महासमर में पासा पलटने का इंतजार कर रही है. इसी को लेकर कांग्रेस ने अपनी पहली चुनावी वर्चुअल रैली का आगाज बापू के कर्मभूमि पश्चिमी चंपारण से किया है. इस वर्चुअल रैली को जन- जन तक पहुंचाने में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने कोई कसर नहीं छोड़ी है.
वर्चुअल रैली का हुआ सीधा प्रसारण
इसी क्रम में कांग्रेस ने महात्मा गांधी के कर्मभूमि पश्चिमी चंपारण से अपने चुनावी तैयारियों का शंखनाद किया है. जिसके तहत बगहा के बूथ स्तर तक कांग्रेसी कार्यकर्ताओं ने पूरी ताकत झोंक दी और बिहार क्रांति वर्चुअल रैली का सीधा प्रसारण डिजिटल माध्यम से कराया गया. ताकि ज्यादा से ज्यादा कार्यकर्ता और आम जनता आला नेताओं को सुन सकें. इसके लिए कार्यकर्ताओं ने प्रोजेक्टर और स्मार्ट टीवी के माध्यम से व्यवस्था की थी.
पिछले बार कांग्रेस ने जीती थी दो सीटें
पिछले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने चार में से दो सीटें जीती थी. यही वजह है कि इस बार कार्यकर्ता जोश से लबरेज हैं और पिछले बार के अनुकुल ज्यादा सीटें अपने पाले में करने का उम्मीद संजोए हुए हैं. टिकट को लेकर प्रत्याशी उम्मीद लगाए बैठे है. भावी प्रत्याशी कामरान अजीज का कहना है कि कांग्रेस पार्टी बेरोजगारी, शिक्षा और अन्य बुनियादी सुविधाओं की बात करती है. जबकि, बिहार के मुख्यमंत्री को अपने वर्चुअल रैली में किसानों और उनके बर्बाद फसलों सहित बाढ़ की विभीषिका की भी याद नहीं आई और ना ही उन्होंने इस सम्बंध में कोई चर्चा की.