वैशाली: बिहार के वैशाली जिला जज ने थानाध्यक्ष पर जुर्माना लगाया (Vaishali district judge imposed fine on SHO) है. लचर पुलिसिंग की एक और पोल तब खुल गई, जब जिला जज ने राजापाकर के थाना अध्यक्ष पर जुर्माना लगा दिया. इसकी वजह यह थी कि थाना अध्यक्ष ने समय से हत्या के एक मामले में केस की डायरी पेश नहीं की थी. जिला और सत्र न्यायाधीश सत्येंद्र पांडे ने जिले के राजापाकर के थानाध्यक्ष पर 5 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है. इसके साथ ही जुर्माने की राशि थाना अध्यक्ष के वेतन से काटने का निर्देश भी जारी किया है और इस संबंध में जिला जज ने वैशाली एसपी को कार्रवाई संबंधित पत्र भेजा है.
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"हत्या के इस मामले को लेकर कोर्ट में दायर याचिका में जिला जज ने राजापाकर थाने से केस डायरी की मांग की थी. इस केस को लेकर कोर्ट पिछले 5 दिनों से पुलिस से केस डायरी की मांग कर रही थी. मंगलवार को भी पुलिस ने डायरी कोर्ट को सौंपी जिसके बाद अदालत में थाना अध्यक्ष पर जुर्माना लगाया है. केस डायरी नहीं मिलने के कारण जमानत याचिका पर सुनवाई पूरी नहीं हो पा रही है."- वीरेंद्र नारायण सिंह, जिला लोक अभियोजक
मामले में थानाध्यक्ष का पक्ष: राजापाकर के नए थाना अध्यक्ष नीरज कुमार को कार्यभार संभाले अभी एक महीना भी नहीं हुआ है. उन्हें कोर्ट में चल रहे इस मामले की जानकारी भी सही से नहीं थी. इसके पीछे वजह यह बताया जा रहा है कि मामला राजापाकर थाना क्षेत्र के वाराटी ओपी का है. जिस मामले के ओपी प्रभारी गंगा सोरेन खुद आईओ हैं. बताया यह भी गया है कि अदालत से पत्राचार की प्रक्रिया भी गंगा सोरेन से ही कराई गई थी. वहीं वाराटी ओपी राजापाकड़ थाने में आता, इसलिए वहां के थानाध्यक्ष नीरज कुमार को जुर्माना लगा है.
"थाना आए हुए अभी 20 दिन हुआ है. जिस मामले में उन्होंने जुर्माना लगाया गया है उसकी जानकारी भी मुझे नहीं थी वह वाराटी ओपी का मामला है."-नीरज कुमार, थानाध्यक्ष, वाराटी ओपी
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