वैशाली: प्रदेश के वैशाली जिले के महनार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (Mahnar Community Health Center) में मोबाइल की लाइट में एक महिला के बंध्याकरण का ऑपरेशन होने की चौंकाने वाली तस्वीर सामने आई है. स्वास्थ्य केन्द्र में हुए इस ऑपरेशन के दौरान झोलाछाप डॉक्टर भी शामिल था. ऑपरेशन के दौरान ऑपरेशन थिएटर का दरवाजा भी पूरी तरह बंद नहीं था. महिला के ऑपरेशन में कई अन्य पुरुष भी मौजूद थे. प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी ने कहा है कि लापरवाही हुई है लेकिन आगे से नहीं होगी.
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बिहार सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता (Bihar government's highest priority)स्वास्थ्य है. इस प्राथमिकता को मुंह चिढ़ाती हुई एक तस्वीर सामने आई है. इस तस्वीर ने स्वास्थ्य विभाग की कई लापरवाहियों की एक साथ पोल खोल कर रख दी है. तस्वीर में एक महिला का ऑपरेशन मोबाइल की रोशनी में किया जा रहा है. तस्वीर में ऑपरेशन में शामिल एक झोलाछाप डॉक्टर स्टिच कर रहा है. तस्वीर में ऑपरेशन थिएटर का गेट पूरी तरह बंद नहीं है. यही नहीं तस्वीर में महिला के ऑपरेशन में कई अन्य लोग वहां तमाशबीन के रूप में नजर आ रहे हैं. और इतनी बड़ी लापरवाही की तस्वीर सामने आने के बाद महनार सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के प्रभारी मेडिकल अफसर का बयान भी हास्यास्पद है. उनका कहना है कि लापरवाही जरूर हुई है लेकिन आगे से नहीं होगी.
आधा दर्जन तमाशबीनों के सामने हुआ बंध्याकरण का ऑपरेशन: यहां परिवार नियोजन के तहत ऑपरेशन के दौरान महिला मरीज के जान से खिलवाड़ करने की चौंकाने वाली तस्वीर सामने आई है. महनार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मे एक महिला के बंध्याकरण का ऑपरेशन दो मोबाइल फोन की लाइट जलाकर किया जा रहा है. तस्वीर में ऑपरेशन के बाद अस्पताल के बाहर का झोलाछाप मंजीत कुमार महिला मरीज के खुले पेट का स्टीच करता देखा जा रहा है. वही ऑपरेशन के दौरान ऑपरेशन थियेटर मे एक साथ आधा दर्जन लोग खड़े होकर महिला का ऑपरेशन होते देख रहे हैं. हालांकि इस दौरान ऑपरेशन में एक चिकित्सक डॉक्टर शालिनी मौजूद थीं.अब महिला का मोबाइल फोन की लाइट में ऑपरेशन होने और झोलाछाप डॉक्यर का महिला के खुले पेट का स्टीच करने का फोटो तेजी से वायरल हो रहा है. जिसे लेकर लोग स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवाल खड़े कर रहे हैं.
स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी डॉक्टर सीताराम सिंह ने मानी लापरवाही: डॉक्टर सीताराम सिंह ने पूछने पर कहा - 'मै अस्पताल मे नही हूं. लेकिन जानकारी मिली है कि एक तस्वीर महिला के ऑपरेशन के दौरान का वायरल हो रहा है. जिसमे अस्पताल के बाहर का एक युवक स्टीच करते देखा गया है. उन्होंने कहा कि जो जानकारी हम लिए हैं उसके अनुसार अस्पताल कर्मी राजीव कुमार ऑपरेशन में डॉक्टर को सहयोग करने के दौरान बेहोश हो गया था. तब अस्पताल के बाहर का युवक मंजीत कुमार से सहयोग लिया गया. पूरी घटना से मैं दु:खी हूं. ऐसा नहीं होना चाहिए था. अगर मैं अस्पताल में रहता तो ऐसी तस्वीर वायरल नहीं होती. लापरवही हुई है. आगे से नहीं होगी.
कौन है झोलाछाप डॉक्टर मंजीत कुमार : मंजीत कुमार स्थानीय झोलाछाप युवक है जो अस्पताल के आसपास ही मंडराता रहता है. आरोप है कि मरीजों को बहला- फुसला कर अस्पताल से बाहर निजी क्लिनिक में भेजने का काम करता है. मनजीत कुमार का स्थानीय स्वास्थ्य केंद्र पर कितना वर्चस्व है, इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि सरकारी डॉक्टर के सामने ही वह मोबाइल की रोशनी में स्टिच करते हुए तस्वीरों में दिख रहा है. इतना ही नहीं मनजीत कुमार के बारे में जब प्रभारी डॉ सीताराम से सवाल किया गया तो उन्होंने बचाव करते हुए बताया कि वह एक ड्रेसर है. इसलिए उसको काम करने की इजाजत कभी-कभी दी जाती है. जबकि स्थानीय लोगों का मानना है कि मनजीत कुमार डॉक्टरों के नहीं रहने पर पूरी तरह दबदबे के साथ स्वास्थ्य केंद्र को संभालता है. कुछ लोगों का यहां तक कहना है कि कई बार इसके पहले भी मनजीत कुमार की गतिविधियों को लेकर बवाल हो चुका है. बावजूद उस पर कोई भी कार्रवाई नहीं हुई है. वजह यह बताई जा रही है कि सरकारी नौकरी करते हुए निजी क्लीनिक चलाने वाले डॉक्टरों के लिए मनजीत कुमार जैसे लोग सहारा बनते हैं. जिसकी आड़ में नौकरी भी चलती रहती है और प्राइवेट प्रैक्टिस भी.
बिजली गुल हो गई थी, इसलिए मोबाइल की रोशनी का लिया गया सहारा : महनार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी मेडिकल अफसर सीताराम सिंह का कहना है कि बिजली गुल हो गई थी इसलिए मजबूरी में तत्काल मोबाइल की लाइट में काम किया गया. ऑपरेशन को बीच में नहीं छोड़ा जा सकता था. इसमें लापरवाही हुई है लेकिन आगे से ऐसा नहीं होगा. बाहरी दिखने वाला व्यक्ति मनजीत कुमार ड्रेसर है. इसलिए उसे मदद करने की इजाजत दी गई क्योंकि एक कर्मी को चक्कर आ गया था.