सिवानः बिहार के सिवान में एक पीएचसी में सोमवार को प्रसव के दौरान एक नवजात की मौत (newborn dies in hospital) हो गई. परिजनों ने डाॅक्टरों पर लापरवाही का आरोप लगाया है. परिजनों का कहना है कि शनिवार की रात जब उसे प्रसव के लिए अस्पताल लाया गया तो वह बिल्कुल स्वस्थ थी. प्रसव के बाद उसने शिशु को जन्म दिया लेकिन अचानक नवजात की तबीयत बिगड़ने लगी. जिसकी जानकारी डॉक्टर, जीएनएम, आशा और ड्यूटी पर तैनात अन्य कर्मियों को परिजनों द्वारा दी गई. बावजूद किसी भी स्वास्थ्य कर्मियों ने उसे इलाज करना मुनासिब नहीं समझा. जिससे उसकी हालत और बिगड़ती चली गई. परिजनो का कहना था की गंभीर हालत में डॉक्टरों द्वारा उसे सिवान सदर अस्पताल (Siwan Sadar Hospital) रेफर कर दिया गया. जहां से ईलाज के दौरान उसकी निजी अस्पताल में मौत हो गई .
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कैसे हुई नवजात की मौतः परिजनों ने बताया कि बच्चा नाॅर्मल डिलीवरी से हुआ था, लेकिन तबियत बिगड़ने के बाद कई बार स्वास्थ्य कर्मियों को इसकी सूचना दी गई. बावजूद 4 घंटे बीतने के बाद भी किसी स्वास्थ्य कर्मी ने उसका चेकअप नहीं किया. जिससे उसकी हालत अधिक बिगड़ गई. वही गंभीर हालत में डॉक्टरों ने सदर अस्पताल रेफर कर दिया गया. जहां से ईलाज के दौरान उसने निजी अस्पताल में दम तोड़ दिया. उसके मौत की सूचना मिलने के बाद दर्जनों की संख्या में पहुँचे ग्रामीणो ने जमकर हंगामा किया.
"मामले की जानकारी मिलने के बाद परिजनो से बात करूंगा. अगर घटना में कोई भी कर्मी दोषी मिलता है. उस पर विभागीय कार्रवाई किया जाएगा." - शब्बीर अख्तर, एमओआईसी
पीएचसी में महिला डॉक्टर नहीं रहने से होता है हंगामा: पीएचसी में महिलाओं का प्रसव पुरुष डॉक्टरों के द्वारा किया जाता है और अक्सर पुरूष डॉक्टरों द्वारा नियमित जांच और देखभाल की कमी से जच्चा और बच्चा की मौत हो जाती है. इसके खिलाफ ग्रामीणों और जनप्रतिनिधियों ने कई बार सांसद, विधायक, डीएम और सीएस को लिखित जानकारी दिया. और अस्पताल में महिला डॉक्टर की तैनाती की मांग किया.
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