शेखपुरा: बिहार के शेखपुरा जिले में कानून व्यवस्था बेपटरी हो चुकी है. जिसके कारण आए दिन चोरी, लूट, हत्या, छिनतई और गोलीबारी की घटना घटित हो रही है, पर पुलिस मौन है. जिसकी वजह से जिले में अपराधियों का मनोबल बढ़ा हुआ है. ताजा मामला बरबीघा नगर परिषद क्षेत्र के महुआ तल मोहल्ले का है. जहां पूरा मार्केट गोलियों की तड़तड़ाहट (Firing In Shiekhpura) से गूंज उठा. जिससे लोग अपनी जान बचाने को लेकर इधर-उधर भागने लगे.
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वर्चस्व को लेकर दुकानदार के साथ मारपीट: जानकारी के मुताबिक 8-10 की संख्या में आए अपराधियों ने फैजाबाद निवासी वीरेंद्र प्रसाद चंद्रवंशी के पुत्र व कोयला व्यवसाई सुभाष उर्फ सुबोध राम को लोहे के रॉड से मारपीट कर गंभीर रूप से घायल कर दिया. साथ ही दहशत फैलाने की नियत से वहां करीब 20 राउंड गोलियां चलाई. घटना बरबीघा के मिशन ओपी से मात्र कुछ मीटर की दूरी पर घटी. वारदात को अंजाम देने के बाद अपराधी मौके से फरार हो गये.
लोहे के रॉड से दुकानदार को किया घायल: गोलीबारी करते देख डर से स्थानीय लोग भी मौन रहे. घटना के बाद अचानक वहां अफरा-तफरी मच गई और अगल-बगल के दुकानदार अनहोनी की आशंका को लेकर अपनी दुकान बंद कर भाग खड़े हुए. सूचना मिलने के बाद मौके पर पहुंची मिशन ओपी प्रभारी निक्की रानी ने घायल सुबोध राम को इलाज के लिए बरबीघा रेफरल अस्पताल भेजा. जहां चिकित्सकों ने घायल सुबोध राम की गंभीर स्थिति को देखते हुए प्राथमिक उपचार करने के बाद बेहतर इलाज हेतु पीएमसीएच भेज दिया. जहां गंभीर स्थिति में घायल का इलाज कराया जा रहा है.
32 वर्ष पूर्व हो चुका है नरसंहार : जानकारी के मुताबिक पीड़ित सुभाष कुमार जिस मकान में अपना कोयला की दुकान चलाते हैं, उस जमीन के विवाद को लेकर 32 वर्ष पूर्व नरसंहार हो चुका है. इस जमीन को लेकर शेरपर और अहियापुर के लोगों के बीच हुए नरसंहार में 4 लोगों की हत्या हुई थीय जिसमें 8 अभियुक्तों को जेल की सजा भी हुई थी. वर्तमान में सुबोध राम अपनी दुकान का किराया अहियापुर निवासी स्वर्गीय नरेश सिंह के पुत्र विक्कु कुमार को देते आ रहे थे.
आठ से दस की संख्या में आए थे बदमाश: बुधवार की घटना में शेरपर निवासी विजय सिंह के पुत्र सुमन कुमार अपने 8-10 सहयोगियों के साथ सुबोध राम की दुकान पर आया और दुकान खाली करने या किराया देने को कहा. जिसका विरोध करने पर उन लोगों ने सुबोध राम को लोहे के रॉड से मारपीट कर गंभीर रूप से घायल कर दिया और गोलीबारी की घटना को अंजाम दिया. जिन लोगों ने 32 साल पहले अपनी आंखों से नरसंहार होते देखा, आज की घटना देखकर उन लोगों को 32 साल पुराना मंजर याद आ गया.
स्थानीय लोगों को अनहोनी की आशंका: बरबीघा निवासियों की माने तो 32 वर्ष पुरानी रंजिश में गोलीबारी की घटना को अंजाम दिया गया है. अगर पुलिस प्रशासन इस घटना को गंभीरता से नहीं लेती है तो कोई बड़ी अनहोनी घटना घट सकती है. वहीं, शेखपुरा पुलिस जिले में हो रही क्राइम को रोकने में भले ही नाकाम हो लेकिन शराब और शराबियों को पकड़ने के लिए हमेशा तत्पर रहती है. पुलिस की गश्ती टीम अपराध रोकने की बजाय शराब और बालू लदे वाहनों के चेकिंग में लगी रहती है. जिन पुलिसकर्मियों का ध्यान अपराधिक घटनाओं को रोकने में होना चाहिए, वो अपनी पूरी ताकत शराब और शराबियों की खोज में लगा रहे हैं.
"पुराने विवाद को लेकर कोयला व्यवसायी सुबोध राम के साथ मारपीट की गई. जो किराए की दुकान लेकर अपना व्यवसाय चलाते हैं. इस मारपीट की घटना में एक व्यक्ति सुमन सिंह का नाम आया है. घटना में संलिप्त अन्य लोगों की पड़ताल की जा रही है और अपराधियों की गिरफ्तारी को लेकर पुलिस द्वारा छापेमारी की जा रही है."- निक्की रानी, मिशन ओपी अध्यक्ष