सारण: बिहार के छपरा (Chapra) में शिक्षा की अलख जलाने वाली बेटी ममता कुमारी को माननीय राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद (President Ram Nath Kovind) दिल्ली में 24 सितंबर को सम्मानित करेंगे. इस बात को लेकर यहां के लोगों में काफी खुशी है. ये वो बेटी है जो शहर के मौना साढा रेलवे क्रॉसिंग के पास झोपड़पट्टी में रहने वाले गरीब छात्र छात्राओं को राष्ट्रीय सेवा योजना के तहत कार्य करती हैं और निःशुल्क शिक्षा देती हैं.
ये भी पढ़ें- उद्योग मंत्री शाहनवाज हुसैन ने कला और शिल्प क्षेत्र के 40 महारथियों को किया सम्मानित
वहीं, जय प्रकाश विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार ने बताया कि पूरे भारत से 20 वॉलिंटियर को इस पुरस्कार के लिए चुना गया है, जिसमें दो पुरस्कार बिहार के दो वॉलिंटियर्स को मिला है. जिसमें एक छपरा की ममता भी हैं. पिछले साल यहां की अनीसा कुमारी को ये पुरस्कार मिला था और इस बार ममता कुमारी को यह पुरस्कार दिया जा रहा है.
ममता और उसका परिवार ये सम्मान मिलने से काफी खुश हैं. ममता और उनके साथी कल ही दिल्ली के लिए यहां से रवाना हो रहे हैं, वहीं इनके पिता ने कहा कि यह हमें हमारे कर्तव्य का फल मिला है. वहीं, ममता की मां ने कहा कि उन्होंने अपनी बेटी को पढ़ाया लिखाया और हमेशा आगे बढ़ने की प्रेरणा दी. सर्व शिक्षा अभियान और राष्ट्रीय सेवा योजना के तहत इस तरह के विद्यालय प्रत्येक प्रखंड में चलाए जा रहे हैं.
ये भी पढ़ें- 20 शिक्षकों को किया सम्मानित, बोले मंत्री- 'समाज निर्माता के साथ हमारे रोल मॉडल भी हैं शिक्षक'
जहां पर गरीब बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा की व्यवस्था है, जहां तक ममता की बात करें तो ममता भी काफी वीकर सेक्शन से आती हैं और पिता दैनिक मजदूरी करते हैं, लेकिन माता पिता की हौसला अफजाई से ममता हमेशा आगे बढ़ी हैं. वहीं, ममता ने इस उपलब्धि के लिए अपने माता पिता, दोस्त और कॉलेज के साथ राष्ट्रीय सेवा योजना, जयप्रकाश विश्वविद्यालय के डॉक्टर फारूक अली, रजिस्टर डॉ. हरिश्चंद्र समेत सभी का आभार जताया है.