ETV Bharat / state

सारण में बाढ़ रिटर्न: पानापुर की 3 पंचायतों में घूसा बाढ़ का पानी, कई सड़कें बनी तालाब - News of flood in Chapra

गंडक नदी के जलस्तर में वृद्धि के कारण सारण जिले के निचले इलाकों में बसे पृथ्वीपुर, सलेमपुर, बसहिया, रामपुररूद्र सहित 161 गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर जाने से आम जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है, जिस कारण बाढ़ पीड़ित तटबंध पर शरण लेने को मजबूर हैं.

Saran
पानापुर की 3 पंचायतों में घूसा बाढ़ का पानी
author img

By

Published : Sep 28, 2020, 6:08 AM IST

सारण(छपरा): जिले में बाढ़ की समस्या से जूझ रहे लोगो ने अभी राहत की सांस लेना शुरू ही किया था कि बाढ़ ने एक बार फिर तबाही मचा दी है. पानापुर प्रखंड की 3 पंचायतों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है, जिसके चलते एक बार फिर से लोग नारकीय स्थिति में जीने को विवश हो रहे हैं. वहीं, बनियापुर व मशरक की आधा दर्जन सड़को पर भी बाढ़ का पानी आने से आवाजाही प्रभावित हो गई है, जिससे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

भारी बरसात और नेपाल से पानी छोड़े जाने के बाद बढ़ी मुश्किलें

बता दें कि लगातार दो दिनों तक हुई भारी बरसात और वाल्मीकिनगर बैराज से लगभग 4 लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने के बाद हालात बिगड़ गए हैं. बाढ़ के पानी ने ने पानापुर, मशरक, तरैया, अमनौर, मढ़ौरा, परसा, दरियापुर आदि प्रखंडों में फिर से तबाही मचाना शुरू कर दिया है. लगभग एक महीने तक बाढ़ की विभीषिका झेल चुके लोगों की जिंदगी धीरे धीरे पटरी पर लौट रही थी, लेकिन एक बार फिर बाढ़ की दस्तक से लोग विस्थापित होने के लिए मजबूर हो गए है.

ऊंचे स्थान पर जाने को मजबूर हुए लोग

बाढ़ की मार झेल चुके ग्रामीणों ने एक बार फिर से नहरों, सड़को और ऊंचे स्थानों पर अपना अस्थायी आशियाना बनाना शुरू कर दिया है. वहीं, गंडक नदी के जलस्तर में वृद्धि के कारण सारण जिले के निचले इलाकों में बसे पृथ्वीपुर, सलेमपुर, बसहिया, रामपुररूद्र सहित 161 गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर जाने से आम जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है, जिस कारण बाढ़ पीड़ित तटबंध पर शरण लेने को मजबूर हैं.

सारण(छपरा): जिले में बाढ़ की समस्या से जूझ रहे लोगो ने अभी राहत की सांस लेना शुरू ही किया था कि बाढ़ ने एक बार फिर तबाही मचा दी है. पानापुर प्रखंड की 3 पंचायतों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है, जिसके चलते एक बार फिर से लोग नारकीय स्थिति में जीने को विवश हो रहे हैं. वहीं, बनियापुर व मशरक की आधा दर्जन सड़को पर भी बाढ़ का पानी आने से आवाजाही प्रभावित हो गई है, जिससे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

भारी बरसात और नेपाल से पानी छोड़े जाने के बाद बढ़ी मुश्किलें

बता दें कि लगातार दो दिनों तक हुई भारी बरसात और वाल्मीकिनगर बैराज से लगभग 4 लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने के बाद हालात बिगड़ गए हैं. बाढ़ के पानी ने ने पानापुर, मशरक, तरैया, अमनौर, मढ़ौरा, परसा, दरियापुर आदि प्रखंडों में फिर से तबाही मचाना शुरू कर दिया है. लगभग एक महीने तक बाढ़ की विभीषिका झेल चुके लोगों की जिंदगी धीरे धीरे पटरी पर लौट रही थी, लेकिन एक बार फिर बाढ़ की दस्तक से लोग विस्थापित होने के लिए मजबूर हो गए है.

ऊंचे स्थान पर जाने को मजबूर हुए लोग

बाढ़ की मार झेल चुके ग्रामीणों ने एक बार फिर से नहरों, सड़को और ऊंचे स्थानों पर अपना अस्थायी आशियाना बनाना शुरू कर दिया है. वहीं, गंडक नदी के जलस्तर में वृद्धि के कारण सारण जिले के निचले इलाकों में बसे पृथ्वीपुर, सलेमपुर, बसहिया, रामपुररूद्र सहित 161 गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर जाने से आम जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है, जिस कारण बाढ़ पीड़ित तटबंध पर शरण लेने को मजबूर हैं.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.