पूर्णिया: कोरोना महामारी से निबटने के लिए सरकार ने जरूरतमंदों के बीच राशन आवंटन के निर्देश जारी किए हैं. लेकिन जिले में सरकार के आदेश को ताक पर रखकर लाभुकों के बीच सड़े चावलों के वितरण का मामला सामने आया है. प्रशासन से बेखौफ डीलरों की मनमानी का मामला धमदाहा प्रखंड का है. वहीं, मामले पर प्रशासन की ओर से तात्कालिक कार्रवाई न होता देख नाराज दर्जनों ग्रामीणों ने धमदाहा एसडीओ आवास के बाहर धरने पर बैठकर अपनी नाराजगी जाहिर की.
लाभुकों के बीच सड़े चावल का वितरण
जानकारी के मुताबिक धमदाहा मध्य पंचायत के डीलर फिरोज आलम ने पंचायत के सभी ग्रामीणों के बीच चावल का वितरण किया. जब घर पहुंचकर ग्रामीणों ने चावल देखा तो वो चावल सड़ा हुआ निकला. इस बाबत नाराज ग्रामीणों ने बताया कि इसकी शिकायत लेकर जब सभी डीलर के पास गए तो वह गाली गलौज पर उतारू हो गए. जिसकी शिकायत लेकर वे सभी धमदाहा एसडीओ राजेश्वरी पांडेय के कार्यालय गए. लेकिन एसडीओ वहां से नदारद दिखाई दिए.
ग्रामीणों ने किया एसडीओ आवास का घेराव
वहीं, इसके बाद नाराज ग्रामीण सड़े हुए चावल के साथ धमदाहा एसडीओ के आवास पहुंचे. लेकिन घंटेभर के इंतजार के बाद भी एसडीओ गैरहाजिर रहे. जिसके बाद ग्रामीण आक्रोशित हो गए. नाराज ग्रामीणों ने सरकारी उदासीनता के विरोध में नाराजगी जताते हुए एसडीओ राजेश्वरी पांडेय के आवास का घेराव कर धरने पर बैठ गए.
'गरीबी का बनाया जा रहा मजाक'
वहीं, जन अधिकार छात्र परिषद का कहना है कि ये गरीब और गरीबी पर किया गया मजाक है. धमदाहा प्रशासन की मिलीभगत से लोकल गोदाम से रखे सालों पुराने चावल को इन्होंने कोरोना वायरस जैसी महामारी में राशन कार्ड धारियों को वितरित किया, जो बेहद गंभीर है.