पटना: बिहार बजट सत्र 2022 (Bihar Budget Session 2022) का आज सातवां दिन है. सदन की कार्यवाही के दौरान आज भी विपक्ष ने कई मुद्दों पर सरकार को घेरा और जमकर हंगामा किया. वहीं, अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर बिहार विधानसभा के बाहर सभी दल की महिलाओं ने आज जमकर विरोध प्रदर्शन किया है. पंचायती राज व्यवस्था में महिलाओं को मिल रहे आरक्षण की तर्ज पर महिला विधायकों ने लोकसभा और विधानसभा में 50 फीसदी आरक्षण की मांग की.
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महिलाओं के लिए विशेष आरक्षण की मांग: राजद विधायक अनीता देवी (RJD MLA Anita Devi) और किरण देवी ने कहा महिलाओं को आरक्षण मिलना चाहिए. इस दौरान राजद की महिला विधायकों ने राबड़ी देवी के मुख्यमंत्री के रूप में किये कार्य का भी जिक्र किया. तो वहीं कांग्रेस की विधायक प्रतिमा देवी ने कहा कि हर जिले में महिला हॉस्टल बने साथ ही विधानसभा और विधान परिषद में महिलाओं के लिए विशेष आरक्षण हो.
भाजपा महिला विधायक ने भी की मांग: बीजेपी के विधायक गायत्री देवी (BJP MLA Gayatri Devi) ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी महिलाओं के मान सम्मान के लिए हमेशा काम करते रहे हैं. पंचायती राज व्यवस्था में महिलाओं को आरक्षण दिया गया है. इसलिए 50 प्रतिशत आरक्षण विधानसभा और लोकसभा में भी मिलना चाहिए.
विधानसभा अध्यक्ष ने दी महिलाओं को बधाई: बिहार विधानसभा की कार्यवाही शुरू होते ही अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर विधानसभा अध्यक्ष ने सभी महिलाओं को बधाई दी. शकील अहमद के बयान पर विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि इस तरह की बात नहीं होनी चाहिए जिससे किसी को ठेस पहुंचे. वहीं रेणु देवी ने हमला करते हुए कहा कि महिला हमेशा से पूज्यनीय रही है, कभी ताड़न की अधिकारी नहीं रही है.
बता दें कि शकील अहमद ने सदन में कहा कि ढोल पशु शुद्र नारी ये हैं ताड़न के अधिकारी.. इस बयान के बाद उपमुख्यमंत्री रेणु देवी ने इसका विरोध किया. महिला दिवस के मौके पर इस तरह के बयान के बाद सभी दल की महिला सदस्यों ने इसका जमकर विरोध किया.
सदन की कार्यवाही: बता दें कि, वित्तीय वर्ष 2022-23 का बजट 28 फरवरी को (bihar budget will come on monday) पेश किया गया. बजट पेश होने के बाद राज्यपाल के अभिभाषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर वाद विवाद हुआ. 2 मार्च को तीसरी बैठक के दिन विधानसभा में राज्यपाल के अभिभाषण पर वाद विवाद के बाद सरकार ने अपना उत्तर दिया. वहीं 3 मार्च को वित्तीय वर्ष 2022-23 के आय-व्यय पर सामान्य विमर्श किया गया.
4 मार्च को वित्तीय वर्ष 2022-23 के आय व्यय पर सरकार का उत्तर हुआ. 7 मार्च को तृतीय अनुपूरक बजट पर सरकार का उत्तर आया. 8 से 25 मार्च तक वित्तीय वर्ष 2022-23 के अनुदानों की मांग पर वाद विवाद और मतदान होगा. 28 मार्च को राजकीय विधेयक, 29 को गैर सरकारी संकल्प जबकि 30 मार्च को राजकीय विधेयक और 31 मार्च को अंतिम दिन गैर सरकारी सदस्यों के कार्य पूरे होंगे.
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