पटनाः बिहार विधानसभा में 14 जिलों के टोपो लैंड का मामला उठा. टोपो लैंड गैरमजरूआ जमीन है. जिस पर किसान वर्षों से खेती करते रहे हैं और खरीद बिक्री भी करते रहे हैं. लेकिन पांच-छह सालों से सरकार ने बंदोबस्ती के साथ खरीद-बिक्री पर भी रोक लगा दी है. सत्ता पक्ष के कई विधायकों ने भी इस मामले को गंभीर बताया. विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि मामला गंभीर है और पूरे बिहार से जुड़ा हुआ है.
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कमेटी बनाने को कहा गया
राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री रामसूरत राय ने कहा कि जल संसाधन विभाग और पर्यावरण विभाग की एक कमेटी की रिपोर्ट आई है. जिस की समीक्षा विभाग ने की है और विधि विभाग से भी सलाह ली जा रही है. 10 जिलों का रिकॉर्ड सरकार के पास है. ऐसे 14 जिलों का रिपोर्ट मंगाया गया है और एक कमेटी बनाने की भी बात कही.
अनुदान भी मिलना हुआ बंद
डॉक्टर संजीव ने खास बातचीत में कहा कि यह मामला पुराना है और 70 सालों से भी अधिक समय से किसान जमीन की बंदोबस्ती करते रहे हैं. लेकिन पिछले 6 सालों से सरकार ने रोक लगा दी है और इसके कारण लाखों किसान प्रभावित हो रहे हैं. उन्हें सरकार की ओर से जो अनुदान मिलना चाहिए वह भी बंद हो गया है.
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पहले भी उठता रहा है टोपो लैंड का मामला
टोपो लैंड का मामला पहले भी विधानसभा में उठता रहा है. अब एक बार फिर से यह मामला सदन में आया है और सरकार ने कहा है कि इस पूरे मामले की जांच करा रहे हैं. जांच के बाद बंदोबस्ती और खरीद-बिक्री की अनुमति दी जाएगी.