पटना: बिहार विधानसभा के शताब्दी समारोह (Bihar Vidhan Sabha Centenary Celebrations) में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) के नहीं आने को लेकर सियासी बयानबाजी हो रही है. माले विधायक संदीप सौरभ ने कहा कि तेजस्वी यादव चुनाव प्रचार में शायद गए हुए हैं. अगर आज का दिन एतिहासिक है तो चुनाव भी एतिहासिक है. किसी पार्टी के प्रमुख को लगा कि हमें प्रचार में रहना चाहिए तो रह सकते हैं. वहीं पंचायती राज मंत्री सम्राट चौधरी ने तेजस्वी यादव पर निशाना साधते हुए कहा कि उनके लिए ऐसे कार्यक्रम का कोई महत्व नहीं है.
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तेजस्वी यादव ने खुद ट्वीट कर इस बात की जानकारी दी है कि प्रचार में व्यस्त होने के कारण वे शताब्दी समारोह में शामिल नहीं हो सकेंगे. जिसके बाद सत्ता पक्ष ने तेजस्वी के फैसले पर निशाना साधा है. सम्राट चौधरी ने कहा कि वे इस तरह के कार्यक्रम में नहीं आते हैं. बाढ़, आपदा कुछ भी आए वे कभी नहीं आते हैं. आज महामहिम राष्ट्रपति आ रहे हैं, ये सभी जानते हैं और तेजस्वी को आना नहीं है, ये भी सभी पहले से ही जानते हैं.
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"कोई कार्यक्रम में तेजस्वी नहीं आते हैं. बाढ़ आती है तो नहीं आते हैं,आपदा आने पर भी नहीं आते हैं. कहा जा सकता है कि आज विधानसभा का जो विशेष सत्र है, महामहिम राष्ट्रपति आए हुए हैं, लेकिन तेजस्वी को आना नहीं है ये तो पहले से सब जानते थे."- सम्राट चौधरी, पंचायती राज मंत्री, बिहार
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"दुनिया के सबसे पुराने लोकतंत्र के रुप में विधानसभा जाना जाता है. लेकिन पिछले 1 साल में इस विधानसभा का जो अनुभव रहा है,जिस तरह से विधायकों पर हमले हुए हैं. जबरदस्ती विधायकों को पीटकर बाहर निकालकर सरकार द्वारा बिल पास करवाया गया, वह लोकतंत्र की गरिमा पर कलंक है. चुनाव प्रचार में जाने के कारण कार्यक्रम में तेजस्वी यादव नहीं आ सके."- संदीप सौरभ, माले विधायक
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दरअसल शताब्दी वर्ष समारोह के कार्यक्रम में आरजेडी के विधायकों की उपस्थिति भी काफी कम देखने को मिल रही है. अधिकांश विधायकों को उपचुनाव के प्रचार में लगाया गया है. हालांकि विधानसभा की ओर से सभी विधायकों को निमंत्रण दिया गया है. तेजस्वी यादव के नहीं आने की घोषणा से फिलहाल सत्ताधारी दल को हमला करने का मौका मिल गया है.
बता दें कि राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद बिहार के तीन दिनों के दौरे पर हैं. करीब 46 घंटे पटना में रहेंगे. उन्हें मुख्य अतिथि के तौर पर विधानसभा भवन के शताब्दी समारोह को संबोधित करना है. राष्ट्रपति कोविंद का बिहार से गहरा रिश्ता है. राष्ट्रपति बनने के पहले वे करीब दो वर्षों तक बिहार के राज्यपाल रह चुके हैं.
बिहार विधानसभा भवन के 100 साल पूरा होने पर शताब्दी वर्ष समारोह का आयोजन किया गया है. इसमें राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद भी शामिल हुए हैं. समारोह में तमाम नए पुराने सदस्यों को बुलाया गया है. लेकिन इस महत्वपूर्ण मौके पर नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव मौजूद नहीं हैं. नेता प्रतिपक्ष के चुनाव प्रचार के कार्यक्रम की जो समय सारिणी जारी की गई है. उससे यह तय हो गया है कि 21 अक्टूबर को होने वाले समारोह के मुख्य आयोजन में नेता प्रतिपक्ष मौजूद नहीं रहेंगे. वे दरभंगा में चुनाव प्रचार करने में व्यस्त हैं. तेजस्वी यादव 21 से 23 अक्टूबर तक दरभंगा से कुशेश्वरस्थान में चुनाव प्रचार के लिए कैंप करेंगे.