पटना: बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल के खिलाफ मोतिहारी पुलिस ने गिरफ्तारी और कुर्की जब्ती का आदेश दिया है. मोतिहारी पुलिस की इस कार्रवाई से बिहार में सियासी खलबली मच गई है. हालांकि, जदयू ने संजय जायसवाल का पक्ष लेते हुए कहा कि संजय जायसवाल अच्छे जनप्रतिनिधि हैं और अपने क्षेत्र में काम भी किया है. पुलिस के इस तरह के प्रतिवेदन पर न्यायालय का कई बार अलग फैसला होता है. संजय जायसवाल को लेकर भी मामला बहुत आगे तक नहीं जाना तय है.
पुलिसिया कार्रवाई के बाद विपक्ष ने संजय जायसवाल के इस्तीफे की मांग कर रहा है, तो वहीं जदयू ने संजय जायसवाल की तारीफ कर विपक्ष पर निशाना साधा है. जदयू प्रवक्ता राजीव रंजन का कहना है कि सजायाफ्ता, जिसके राष्ट्रीय अध्यक्ष हो. उस पार्टी के नेता क्या बोलेंगे. संजय जयसवाल अच्छे जनप्रतिनिधि हैं और इन्होंने अपने क्षेत्र में काम किया है इनका मामला बहुत ज्यादा आगे तक नहीं जाने वाला है.
सीएम को लिखा था संजय ने पत्र...
सियासी हलकों में इस बात की चर्चा जरूर है कि बिहार में प्रमुख सत्ताधारी दल बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष पर पुलिस ने जिस प्रकार से गिरफ्तारी और कुर्की जब्ती का आदेश दिया है. यह बिना ऊपर के अनुमति के संभव नहीं है. पिछले दिनों संजय जायसवाल ने मुख्यमंत्री को एक पत्र लिखा था. इस पत्र में उन्होंने सड़कों की गुणवत्ता पर सवाल खड़ा करते हुए भ्रष्टाचार की बात कही थी. यह कार्रवाई संजय जायसवाल के बयानों और उनके भ्रष्टाचार को लेकर भेजे पत्र से जोड़ी जा रही है.
हालांकि, बीजेपी की पटना कार्यालय में बैठक थी, उसमें संजय जायसवाल भी आए थे. लेकिन संजय जायसवाल ने इस मामले पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी. पुलिस की कार्रवाई का बीजेपी और जदयू पर क्या असर पड़ता है. यह तो देखने वाली बात होगी. लेकिन विपक्ष को हमला करने का एक मौका जरूर मिल गया है.