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टूटे पुल पर पथ निर्माण विभाग की दलील- 'ये प्राकृतिक आपदा, नहीं हुई कोई अनियमितता' - गोपालगंज

गोपालगंज में हुए सत्तर घाट पुल के क्षतिग्रस्त मामले पर पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमृत लाल मीणा ने सफाई दी है. उन्होंने कहा कि अनियमितता जैसी कोई बात नहीं है. यह एक प्राकृतिक मामला है. जिसको लेकर विभाग पूरी तरह मुस्तैद है.

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Published : Jul 16, 2020, 3:27 PM IST

पटना: पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमृत लाल मीणा ने सत्तर घाट पुल मामले पर सफाई दी है. मुख्यमंत्री सचिवालय की तरफ से आई प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार अमृतलाल मीणा ने कहा कि मीडिया में सत्तर घाट पुल के क्षतिग्रस्त होने की खबरें झूठी चल रही है.

इस मामले में सही तथ्य यह है कि सत्तर घाट मुख्य पुल से लगभग 2 किलोमीटर दूर गोपालगंज की ओर एक 18 मीटर लंबाई के छोटे पुल का पहुंच पथ कट गया है. छोटा पुल गंडक नदी में बांध के अंदर अवस्थित है. गंडक नदी में पानी का दबाव गोपालगंज की ओर ज्यादा है. इस कारण पुल के पहुंच का सड़क का हिस्सा कट गया है.

देखें रिपोर्ट

पूरी तरह सुरक्षित है सत्तर घाट पुल
पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमित लाल मीणा का ये भी कहना है कि यह अप्रत्याशित पानी के दबाव के कारण हुआ है. इस कटाव से छोटे पुल की संरचना को भी कोई नुकसान नहीं पहुंचा है. मुख्य सत्तर घाट पुल जो 1.4 किलोमीटर लंबा है. वह पूरी तरह सुरक्षित है. पानी का दबाव कम होते ही यातायात चालू कर दिया जाएगा. इस योजना में कोई अनियमितता का मामला नहीं है. यह एक प्राकृतिक आपदा है, जिसको लेकर विभाग पूरी तरह मुस्तैद है.

तेजस्वी के हमला के बाद पथ निर्माण विभाग ने दी सफाई
सत्तर घाट पुल को लेकर तेजस्वी यादव ने हमला तेज कर दिया है. उसके बाद पहले विभागिए मंत्री ने सफाई दी, फिर विभाग की ओर से प्रधान सचिव ने भी प्रेस विज्ञप्ति जारी कर सफाई दी है. सत्तर घाट पुल का 2012 के अप्रैल में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शिलान्यास किया था. लंबे इंतजार के बाद पुल का निर्माण पूरा हुआ. पिछले महीने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इसका उद्घाटन भी किया था. हालांकि सत्तर घाट पुल से अलग यह माइनर पुल है जिसका संपर्क कटा है.

पटना: पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमृत लाल मीणा ने सत्तर घाट पुल मामले पर सफाई दी है. मुख्यमंत्री सचिवालय की तरफ से आई प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार अमृतलाल मीणा ने कहा कि मीडिया में सत्तर घाट पुल के क्षतिग्रस्त होने की खबरें झूठी चल रही है.

इस मामले में सही तथ्य यह है कि सत्तर घाट मुख्य पुल से लगभग 2 किलोमीटर दूर गोपालगंज की ओर एक 18 मीटर लंबाई के छोटे पुल का पहुंच पथ कट गया है. छोटा पुल गंडक नदी में बांध के अंदर अवस्थित है. गंडक नदी में पानी का दबाव गोपालगंज की ओर ज्यादा है. इस कारण पुल के पहुंच का सड़क का हिस्सा कट गया है.

देखें रिपोर्ट

पूरी तरह सुरक्षित है सत्तर घाट पुल
पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमित लाल मीणा का ये भी कहना है कि यह अप्रत्याशित पानी के दबाव के कारण हुआ है. इस कटाव से छोटे पुल की संरचना को भी कोई नुकसान नहीं पहुंचा है. मुख्य सत्तर घाट पुल जो 1.4 किलोमीटर लंबा है. वह पूरी तरह सुरक्षित है. पानी का दबाव कम होते ही यातायात चालू कर दिया जाएगा. इस योजना में कोई अनियमितता का मामला नहीं है. यह एक प्राकृतिक आपदा है, जिसको लेकर विभाग पूरी तरह मुस्तैद है.

तेजस्वी के हमला के बाद पथ निर्माण विभाग ने दी सफाई
सत्तर घाट पुल को लेकर तेजस्वी यादव ने हमला तेज कर दिया है. उसके बाद पहले विभागिए मंत्री ने सफाई दी, फिर विभाग की ओर से प्रधान सचिव ने भी प्रेस विज्ञप्ति जारी कर सफाई दी है. सत्तर घाट पुल का 2012 के अप्रैल में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शिलान्यास किया था. लंबे इंतजार के बाद पुल का निर्माण पूरा हुआ. पिछले महीने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इसका उद्घाटन भी किया था. हालांकि सत्तर घाट पुल से अलग यह माइनर पुल है जिसका संपर्क कटा है.

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