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'संजय जायसवाल राजद से बीजेपी में शामिल होकर हरिश्चंद्र बन गए, अपने पिता के बारे में क्या कहेंगे' ? - प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल

90 के दशक में बिहार की राजनीति (Bihar Politics In 90s) को लेकर दिए गए संजय जयसवाल के बयान पर आरजेडी प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने पलटवार किया है. उन्होंने कहा कि संजय जायसवाल जिस तरह का बयान दे रहे हैं, उससे स्पष्ट है कि उनका मानसिक संतुलन ठीक नहीं है. पढ़ें पूरी खबर...

मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता आरजेडी
मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता आरजेडी
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Published : May 7, 2022, 2:51 PM IST

पटनाः बीते दिनों बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष संजय जयसवाल (BJP State President Sanjay Jaiswal) ने 90 के दशक में बिहार की राजनीति को लेकर चर्चा की थी. उन्होंने साफ तौर पर कहा था कि उस समय में गुंडे और मवाली विधायक और नेता बन गए थे. इसको लेकर राजद के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी (Mrityunjay Tiwari On Sanjay Jaiswal) ने बड़ा बयान दिया है और साफ साफ कहा है कि बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल जिस तरह का बयान दे रहे हैं, उससे स्पष्ट है कि उनका मानसिक संतुलन ठीक नहीं है. जब उनके पिता और वो खुद राजद में थे तो क्या थे.

ये भी पढ़ेंः '90 के दशक में लालू राज में गुंडा मवाली बने विधायक और सांसद'

'90 के दशक के कई ऐसे राजद नेता हैं, जो अब भाजपा में शामिल हो गए हैं. उनके बारे में संजय जयसवाल क्या कहेंगे? यह भी उन्हें जवाब देना चाहिए. लालू प्रसाद यादव का खौफ भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को इतना है कि उनके जेल से बाहर निकलते ही भाजपा के लोग कुछ से कुछ बयानबाजी करने लगते हैं. आज बीजेपी के जो प्रदेश अध्यक्ष हैं, वह खुद कहां थे और किस पद पर थे यह भी उन्हें बताना चाहिए. साथ ही उनके पिताजी भी राष्ट्रीय जनता दल में थे, इन बातों पर उन्होंने चर्चा क्यों नहीं की'-मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता आरजेडी

ये भी पढ़ें- '20 साल पहले के बिहार को कोई बच्चा क्या जानेगा.. विकास देखने के लिए चश्मे का नंबर चेंज कराएं PK'

'नेताओं को नहीं जनता को भी दी गाली': मृत्युंजय तिवारी ने साफ-साफ कहा कि राजनीति में इस तरह के बयान देने से बड़े नेताओं को बचना चाहिए. लेकिन संजय जयसवाल ने इस तरह का बयान देकर स्पष्ट कर दिया है की वह भी जो पिछली बातों को याद नहीं रखते हैं. उन्होंने कहा कि संजय जयसवाल ने 90 के दशक के नेताओं और विधायकों को ही सिर्फ गाली नहीं दी है, बल्कि उस समय की जनता को भी गाली दी है, जिन्होंने उन नेताओं को चुनकर अपना प्रतिनिधी और विधायक बनाया.

क्या था संजय जायसवाल का बयानः बता दें कि संजय जायसवाल ने शुक्रवार को पत्रकारों से बात करते हुए कहा था कि 90 के दशक से पहले जो कांग्रेस के नेता होते थे, उनमें एक तबका होता था वो बूथ लूटने आए थे. उसके बाद बूथ लुटेरे और गुंडों ने सोचा कि हम इनके लिए बूथ क्यों लुटे, इससे अच्छा हम विधायक सांसद क्यों ना बन जाए. 90 के दशक में लालू के राज में एक तबका आया किसी भी समाज का गुंडा मवाली हो वह विधायक और सांसद बनना शुरू हो गया. साल 2000 के दशक में एक और तबका आया जो कहता था हम जाति के नाम पर समाज सेवा करेंगे. हमें नेता नहीं बनना, लेकिन वे भी नेता बनते थे. अब राजनीतिक धंधेबाज समाज की सेवा करने की बात कहते हैं.
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पटनाः बीते दिनों बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष संजय जयसवाल (BJP State President Sanjay Jaiswal) ने 90 के दशक में बिहार की राजनीति को लेकर चर्चा की थी. उन्होंने साफ तौर पर कहा था कि उस समय में गुंडे और मवाली विधायक और नेता बन गए थे. इसको लेकर राजद के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी (Mrityunjay Tiwari On Sanjay Jaiswal) ने बड़ा बयान दिया है और साफ साफ कहा है कि बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल जिस तरह का बयान दे रहे हैं, उससे स्पष्ट है कि उनका मानसिक संतुलन ठीक नहीं है. जब उनके पिता और वो खुद राजद में थे तो क्या थे.

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'90 के दशक के कई ऐसे राजद नेता हैं, जो अब भाजपा में शामिल हो गए हैं. उनके बारे में संजय जयसवाल क्या कहेंगे? यह भी उन्हें जवाब देना चाहिए. लालू प्रसाद यादव का खौफ भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को इतना है कि उनके जेल से बाहर निकलते ही भाजपा के लोग कुछ से कुछ बयानबाजी करने लगते हैं. आज बीजेपी के जो प्रदेश अध्यक्ष हैं, वह खुद कहां थे और किस पद पर थे यह भी उन्हें बताना चाहिए. साथ ही उनके पिताजी भी राष्ट्रीय जनता दल में थे, इन बातों पर उन्होंने चर्चा क्यों नहीं की'-मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता आरजेडी

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'नेताओं को नहीं जनता को भी दी गाली': मृत्युंजय तिवारी ने साफ-साफ कहा कि राजनीति में इस तरह के बयान देने से बड़े नेताओं को बचना चाहिए. लेकिन संजय जयसवाल ने इस तरह का बयान देकर स्पष्ट कर दिया है की वह भी जो पिछली बातों को याद नहीं रखते हैं. उन्होंने कहा कि संजय जयसवाल ने 90 के दशक के नेताओं और विधायकों को ही सिर्फ गाली नहीं दी है, बल्कि उस समय की जनता को भी गाली दी है, जिन्होंने उन नेताओं को चुनकर अपना प्रतिनिधी और विधायक बनाया.

क्या था संजय जायसवाल का बयानः बता दें कि संजय जायसवाल ने शुक्रवार को पत्रकारों से बात करते हुए कहा था कि 90 के दशक से पहले जो कांग्रेस के नेता होते थे, उनमें एक तबका होता था वो बूथ लूटने आए थे. उसके बाद बूथ लुटेरे और गुंडों ने सोचा कि हम इनके लिए बूथ क्यों लुटे, इससे अच्छा हम विधायक सांसद क्यों ना बन जाए. 90 के दशक में लालू के राज में एक तबका आया किसी भी समाज का गुंडा मवाली हो वह विधायक और सांसद बनना शुरू हो गया. साल 2000 के दशक में एक और तबका आया जो कहता था हम जाति के नाम पर समाज सेवा करेंगे. हमें नेता नहीं बनना, लेकिन वे भी नेता बनते थे. अब राजनीतिक धंधेबाज समाज की सेवा करने की बात कहते हैं.
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