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NRC को लेकर pk ने अमित शाह से पूछा- क्या राज्यों के मुख्यमंत्रियों से ली गई है राय?

प्रशांत किशोर का ये ट्वीट अमित शाह के बयान के ठीक बाद आया है. जेडीयू और बीजेपी में देश के कई अहम मुद्दों पर टकराव होती रही है. अब एनआरसी को लेकर दोनों में मतभेद बढ़ने के आसार नजर आ रहे हैं.

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Published : Nov 21, 2019, 1:00 PM IST

पटनाः केंन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह के पूरे देश में एनआरसी लागू करने के ऐलान के बाद एक बार फिर से एनडीए की दो बड़ी पार्टियों के बीच बयानबाजी तेज हो गई है. केंद्र और बिहार में बीजेपी के साथ चल रही जेडीयू इस मुद्दे पर अब तक अड़ी हुई है. जेडीयू के राष्‍ट्रीय उपाध्‍यक्ष और चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने ट्वीट कर अमित शाह के बयान की आलोचना की है.

प्रशांत किशोर ने की आलोचना
राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर के लागू करने के अमित शाह के बयान के बाद देश की राजनीति गरमा गई है. बीजेपी समर्थक जेडीयू के प्रशांत किशोर ने अमित शाह के बयान की आलोचना करते हुए अपने ट्वीटर पर लिखा है कि, 'देश के 15 से अधिक राज्यों में गैर-बीजेपी मुख्यमंत्री हैं. ऐसे राज्यों में देश की 55 फीसदी जनता रहती है. क्या ऐसे राज्यों के मुख्यमंत्री की राय ली गई है कि वे अपने राज्यों में इसे लागू करने के लिए तैयार हैं?'

  • 15 plus states with more than 55% of India’s population have non-BJP Chief Ministers. Wonder how many of them are consulted and are on-board for NRC in their respective states!!

    — Prashant Kishor (@PrashantKishor) November 20, 2019 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

एनडीए के लिए खड़ी हो सकती है परेशानी
प्रशांत किशोर का ये ट्वीट बिहार में होने वाले विधानसभा चुनाव के समय एनडीए के लिए परेशानी खड़ी कर सकता है. अमित शाह को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सबसे करीबी माना जाता है. प्रशांत किशोर का ये ट्वीट अमित शाह के बयान के ठीक बाद आया है. जेडीयू और बीजेपी में देश के कई अहम मुद्दों पर टकराव होती रही है. अब एनआरसी को लेकर दोनों में मतभेद बढ़ने के आसार नजर आ रहे हैं.

patna
अमित शाह, केंद्रीय गृह मंत्री

ये भी पढ़ेंः सदन में उठा NIOS DELED का मुद्दा, बोले मनोज झा- ये 14 लाख परिवारों से जुड़ा मामला

'एनआरसी के अंतर्गत सभी भारतीय नागरिक'
बता दें कि बुधवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने राज्य सभा में पूरे देश में एनआरसी लागू करने की बात कही थी. एनआरसी के संबंध में पूछे गए सवाल के जवाब में अमित शाह ने कहा था कि एनआरसी और सिटीजनशिप अमेंडमेंट बिल में अंतर है. एनआरसी के अंतर्गत सभी भारतीय नागरिकों को लिया जाएगा. इससे किसी भी धर्म के लोगों को डरने की जरूरत नहीं है.

पटनाः केंन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह के पूरे देश में एनआरसी लागू करने के ऐलान के बाद एक बार फिर से एनडीए की दो बड़ी पार्टियों के बीच बयानबाजी तेज हो गई है. केंद्र और बिहार में बीजेपी के साथ चल रही जेडीयू इस मुद्दे पर अब तक अड़ी हुई है. जेडीयू के राष्‍ट्रीय उपाध्‍यक्ष और चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने ट्वीट कर अमित शाह के बयान की आलोचना की है.

प्रशांत किशोर ने की आलोचना
राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर के लागू करने के अमित शाह के बयान के बाद देश की राजनीति गरमा गई है. बीजेपी समर्थक जेडीयू के प्रशांत किशोर ने अमित शाह के बयान की आलोचना करते हुए अपने ट्वीटर पर लिखा है कि, 'देश के 15 से अधिक राज्यों में गैर-बीजेपी मुख्यमंत्री हैं. ऐसे राज्यों में देश की 55 फीसदी जनता रहती है. क्या ऐसे राज्यों के मुख्यमंत्री की राय ली गई है कि वे अपने राज्यों में इसे लागू करने के लिए तैयार हैं?'

  • 15 plus states with more than 55% of India’s population have non-BJP Chief Ministers. Wonder how many of them are consulted and are on-board for NRC in their respective states!!

    — Prashant Kishor (@PrashantKishor) November 20, 2019 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

एनडीए के लिए खड़ी हो सकती है परेशानी
प्रशांत किशोर का ये ट्वीट बिहार में होने वाले विधानसभा चुनाव के समय एनडीए के लिए परेशानी खड़ी कर सकता है. अमित शाह को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सबसे करीबी माना जाता है. प्रशांत किशोर का ये ट्वीट अमित शाह के बयान के ठीक बाद आया है. जेडीयू और बीजेपी में देश के कई अहम मुद्दों पर टकराव होती रही है. अब एनआरसी को लेकर दोनों में मतभेद बढ़ने के आसार नजर आ रहे हैं.

patna
अमित शाह, केंद्रीय गृह मंत्री

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'एनआरसी के अंतर्गत सभी भारतीय नागरिक'
बता दें कि बुधवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने राज्य सभा में पूरे देश में एनआरसी लागू करने की बात कही थी. एनआरसी के संबंध में पूछे गए सवाल के जवाब में अमित शाह ने कहा था कि एनआरसी और सिटीजनशिप अमेंडमेंट बिल में अंतर है. एनआरसी के अंतर्गत सभी भारतीय नागरिकों को लिया जाएगा. इससे किसी भी धर्म के लोगों को डरने की जरूरत नहीं है.

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Prashant Kishore


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