पटना: मॉनसून ने जैसे ही सक्रियता दिखाई राजधानी सहित बिहार के तमाम जिलों में हो रही जोरदार बारिश से लोग जहां खुश हैं. वहीं राजधानी पटना में जल जमाव से लोग परेशान हैं. 2 दिनों की बारिश ने पटना में रुक-रुक कर हो रही बारिश ने नगर निगम के दावे के कलई खोलकर रख दी है. नगर निगम ने मानसून आने से पहले जल जमाव को लेकर लाख दावे किए थे. लेकिन जैसे ही बरसात शुरू हुई उनके दावों की पोल खुल गई.
ज्यादातर इलाकों में भरा पानी
राजधानी पटना के अधिकतर इलाके जल जमाव से जूझ रहे हैं. कंकड़बाग, राजेंद्र नगर, कदमकुंआ, गांधी मैदान, मीठापुर सहित पाटलिपुत्र क्षेत्रों में हो रहे लगातार बारिश से जल जमाव की स्थिति अभी भी बनी हुई है. पटना का दिल कहे जाने वाले गांधी मैदान के गेट नंबर 10, एग्जीबिशन रोड, गोलंबर के पास जल जमाव से आने जाने वाले लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. वहीं, कदमकुंआ, बुद्ध मूर्ति के पास आयुर्वेदिक कॉलेज के गेट पर भी जल जमाव की स्थिति अभी भी बनी हुई है. लोगों को घर से बाहर निकलने में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.
नगर निगम का दावा
नगर निगम जलजमाव से परेशान होकर अब शहर के भौगोलिक बनावट को दोष देने में लगा हुआ है. साथ ही दावा कर रहा है कि पिछले साल की तुलना में इस साल जलजमाव की स्थिति में कमी आई है. पंप से पानी निकालने का काम चल रहा है. पटना नगर निगम ने दावा किया है कि सफाईकर्मी और अन्य एजेंसियों की तत्परता के कारण जल जमाव की समस्या में कमी आई है. निगम का दावा है कि कंकड़बाग अंचल के अंतर्गत राम कृष्णा नगर, पोस्टल पार्क, कदम कुआं, गांधी मैदान, मीठापुर इन क्षेत्रों में पिछले साल की तुलना में इस साल कम जलजमाव देखने को मिल रहा है.
विधानसभा में भी उठा मुद्दा
जलजमाव को लेकर सोमवार को विधानसभा में विपक्ष ने भी यह मुद्दा उठाया तो नगर विकास मंत्री सुरेश शर्मा ने जल जमाव पर सफाई भी दी. मंत्री ने जल जमाव जैसी स्थिति पर पल्ला झाड़ते हुए कहा था कि शहर में कहीं जल जमाव की स्थिति नहीं है. 2 घंटे के अंदर पानी निकल जाता है. हालांकि निगम का यह दावा सिर्फ कागजों पर ही सिमटा हुआ है. कई क्षेत्रों में अभी भी जल जमाव की स्थिति बनी हुई है.