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बोले जनक राम- जातीय जनगणना पर अब प्रधानमंत्री मोदी ही लेंगे फैसला - Janak Ram statement

बीजेपी कार्यालय में आयोजित सहयोग कार्यक्रम में मौजूद बिहार सरकार में मंत्री जनक राम (Minister Janak Ram) ने कहा कि जातीय जनगणना को लेकर विपक्ष सिर्फ राजनीति कर रहा है. उन्हें पिछड़े, गरीबों के हितों की चिंता नहीं है. बता दें कि पीएम से मिलने वाले प्रतिनिधिमंडल में जनक राम भी शामिल थे. पढ़ें पूरी खबर..

Janak Ram statement on Caste Census
Janak Ram statement on Caste Census
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Published : Aug 27, 2021, 2:33 PM IST

पटना: खान एवं भूतत्व विभाग के मंत्री जनक राम (Mines Minister Janak Ram) शुक्रवार को बीजेपी कार्यालय में आयोजित सहयोग कार्यक्रम में पहुंचे. इस दौरान उन्होंने कई लोगों की फरियाद सुनी और अधिकारियों से भी बात की. जातीय जनगणना (Caste Census) पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने कहा कि इस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) को ही फैसला लेना है. दरअसल विपक्ष लगातार जनक राम से सवाल कर रहा है कि जब वे इसके पक्ष में नहीं थे, तो पीएम से मिलने क्यों गए थे?

यह भी पढ़ें- LJP का जनक राम पर पलटवार, जातीय जनगणना नहीं चाहते तो PM से मिलने क्यों गए?

जातीय जनगणना को लेकर प्रतिक्रिया देते हुए मंत्री जनक राम ने कहा कि जातीय जनगणना पर विपक्ष राजनीति कर रहा है. उन्होंने कहा कि जो लोग जिंदगी भर अपने परिवार को देखते रहे बिहार में जयप्रकाश नारायण, बाबा साहब अंबेडकर, कर्पूरी ठाकुर का नाम लेकर सत्ता में आते रहे वह कभी भी दबे कुचले का कल्याण नहीं कर सकते हैं. आज वही लोग जातिगत जनगणना को लेकर बिहार में राजनीति कर रहे हैं. हम लोगों ने जातिगत जनगणना को लेकर प्रधानमंत्री से मुलाकात की थी. और प्रधानमंत्री इसको लेकर जो भी निर्णय लेंगे वह निर्णय सर्वमान्य होगा.

देखें वीडियो

बता दें कि जातीय जनगणना की मांग देश में जोर शोर से उठ रही है. बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के साथ सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल ने पीएम नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) से इस मुद्दे पर मुलाकात भी की. इसमें नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) सहित दस दलों के 11 नेता थे. इन लोगों का कहना है कि जातीय जनगणना से सरकारी योजनाओं का लाभ गरीबों तक पहुंचेगा, उनका विकास होगा. कमजोर वर्ग की जातियों की वास्तविक संख्या के आधार पर विकास कार्यक्रम बनाने में मदद मिलेगी.

वहीं, बीजेपी जातीय जनगणना के पक्ष में नहीं दिख रही है. हालांकि पीएम से मिलने वाले प्रतिनिधिमंडल में पार्टी नेता जनक राम भी शामिल थे. बीजेपी का कहना है कि जातीय जनगणना से समाज में तनाव होगा. केंद्र सरकार हर वर्ग के लोगों का विशेष ख्याल रख रही है. वैसे जातीय जनगणना कराने का निर्णय केंद्र सरकार को लेना है.

साथ ही खनन मंत्री जनक राम ने कहा कि बालू खनन में जहां-जहां भी गड़बड़ी हो रही थी हमने उसे सुधारने का काम किया है. साथ ही उन्होंने दावा किया कि बिहार में बालू की कोई कमी नहीं है.

यह भी पढ़ें- बंदी के बावजूद औरंगाबाद में जारी है बालू का अवैध खनन, अपनी ही सरकार पर बरसे BJP नेता

बिहार में 3 महीने बालू का खनन नहीं होता है. 1 अक्टूबर से फिर से खनन होगा. अभी जो बालू उपलब्ध है उससे कहीं भी कोई कमी होती नहीं दिख रही है. सभी जिलों में खनन विभाग के अधिकारी मौजूद हैं. उनसे संपर्क करने के बाद बालू उपलब्ध करा दिया जाता है. सरकारी कार्यो में भी बालू की कमी नहीं हो रही है.- जनक नाम, खान एवं भूतत्व मंत्री, बिहार

अवैध बालू खनन को लेकर विभाग के मंत्री के दावे औरंगाबाद में हवा हवाई साबित हुए हैं. गुरुवार को यहां से अवैध खनन की तस्वीरें भी सामने आई थी. पीले सोने के काले खेल की पोल खोलते हुए बीजेपी नेता रामाधार सिंह ने अपनी ही सरकार (Bihar government ) को कटघरे में खड़ा कर दिया था. उन्होंने आरोप लगाया था कि औरंगाबाद के एसपी, एसडीओ तो सस्पेंड हो गए लेकिन कई दलालों पर अब तक कार्रवाई नहीं हुई है. अवैध बालू का खनन रुक नहीं सका है.

यह भी पढ़ें- युवाओं और छात्रों ने जातीय जनगणना का किया समर्थन, बोले- 1931 के बाद अब ये बेहद जरूरी

यह भी पढ़ें- बोले मंत्री जनक राम- 'बालू के बिचौलियों पर होगी सख्त कार्रवाई, गठित हुई टास्क फोर्स'

पटना: खान एवं भूतत्व विभाग के मंत्री जनक राम (Mines Minister Janak Ram) शुक्रवार को बीजेपी कार्यालय में आयोजित सहयोग कार्यक्रम में पहुंचे. इस दौरान उन्होंने कई लोगों की फरियाद सुनी और अधिकारियों से भी बात की. जातीय जनगणना (Caste Census) पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने कहा कि इस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) को ही फैसला लेना है. दरअसल विपक्ष लगातार जनक राम से सवाल कर रहा है कि जब वे इसके पक्ष में नहीं थे, तो पीएम से मिलने क्यों गए थे?

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जातीय जनगणना को लेकर प्रतिक्रिया देते हुए मंत्री जनक राम ने कहा कि जातीय जनगणना पर विपक्ष राजनीति कर रहा है. उन्होंने कहा कि जो लोग जिंदगी भर अपने परिवार को देखते रहे बिहार में जयप्रकाश नारायण, बाबा साहब अंबेडकर, कर्पूरी ठाकुर का नाम लेकर सत्ता में आते रहे वह कभी भी दबे कुचले का कल्याण नहीं कर सकते हैं. आज वही लोग जातिगत जनगणना को लेकर बिहार में राजनीति कर रहे हैं. हम लोगों ने जातिगत जनगणना को लेकर प्रधानमंत्री से मुलाकात की थी. और प्रधानमंत्री इसको लेकर जो भी निर्णय लेंगे वह निर्णय सर्वमान्य होगा.

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बता दें कि जातीय जनगणना की मांग देश में जोर शोर से उठ रही है. बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के साथ सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल ने पीएम नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) से इस मुद्दे पर मुलाकात भी की. इसमें नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) सहित दस दलों के 11 नेता थे. इन लोगों का कहना है कि जातीय जनगणना से सरकारी योजनाओं का लाभ गरीबों तक पहुंचेगा, उनका विकास होगा. कमजोर वर्ग की जातियों की वास्तविक संख्या के आधार पर विकास कार्यक्रम बनाने में मदद मिलेगी.

वहीं, बीजेपी जातीय जनगणना के पक्ष में नहीं दिख रही है. हालांकि पीएम से मिलने वाले प्रतिनिधिमंडल में पार्टी नेता जनक राम भी शामिल थे. बीजेपी का कहना है कि जातीय जनगणना से समाज में तनाव होगा. केंद्र सरकार हर वर्ग के लोगों का विशेष ख्याल रख रही है. वैसे जातीय जनगणना कराने का निर्णय केंद्र सरकार को लेना है.

साथ ही खनन मंत्री जनक राम ने कहा कि बालू खनन में जहां-जहां भी गड़बड़ी हो रही थी हमने उसे सुधारने का काम किया है. साथ ही उन्होंने दावा किया कि बिहार में बालू की कोई कमी नहीं है.

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बिहार में 3 महीने बालू का खनन नहीं होता है. 1 अक्टूबर से फिर से खनन होगा. अभी जो बालू उपलब्ध है उससे कहीं भी कोई कमी होती नहीं दिख रही है. सभी जिलों में खनन विभाग के अधिकारी मौजूद हैं. उनसे संपर्क करने के बाद बालू उपलब्ध करा दिया जाता है. सरकारी कार्यो में भी बालू की कमी नहीं हो रही है.- जनक नाम, खान एवं भूतत्व मंत्री, बिहार

अवैध बालू खनन को लेकर विभाग के मंत्री के दावे औरंगाबाद में हवा हवाई साबित हुए हैं. गुरुवार को यहां से अवैध खनन की तस्वीरें भी सामने आई थी. पीले सोने के काले खेल की पोल खोलते हुए बीजेपी नेता रामाधार सिंह ने अपनी ही सरकार (Bihar government ) को कटघरे में खड़ा कर दिया था. उन्होंने आरोप लगाया था कि औरंगाबाद के एसपी, एसडीओ तो सस्पेंड हो गए लेकिन कई दलालों पर अब तक कार्रवाई नहीं हुई है. अवैध बालू का खनन रुक नहीं सका है.

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