पटना: बिहार में एक ही एम्बुलेंस का चौथी बार उद्घाटन का मामला अभी थमा भी नहीं था कि स्वास्थ्य व्यवस्था की पोल खोलने वाला एक और वीडियो सामने आ गया है. वीडियो पटना के गर्दनीबाग अस्पताल (Gardanibagh Hospital) का है. वायरल हुए वीडियो (Video Viral) में देखा जा सकता है कि मरीजों को ढोने के लिए बने एम्बुलेंस (Ambulance) में चूना और ब्लीचिंग पाउडर लादा जा रहा है.
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बाढ़ अनुमंडलीय अस्पताल भेजा जाना था चूना
चूना और ब्लीचिंग पाउडर गर्दनीबाग अस्पताल से बाढ़ अनुमंडलीय अस्पताल भेजा जाना था. इसके लिए माल ढोने वाली गाड़ियों का इस्तेमाल होना चाहिए था, लेकिन स्वास्थ्य विभाग के अफसरों द्वारा चूना और ब्लीचिंग पाउडर अनुमंडलीय अस्पताल को एम्बुलेंस से भेजा जा रहा था ताकि किराये की कमाई अपनी जेब में रखी जा सके. गौरतलब है कि जिस सरकारी अस्पताल में एम्बुलेंस पर चूना लादा जा रहा था वह बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय के आवास से चंद किलोमीटर की दूरी पर है.
सोमवार की है घटना
पटना की सिविल सर्जन डॉ. विभा कुमारी ने कहा, "घटना सोमवार की है. मामला मेरे संज्ञान में आया है. एम्बुलेंस से चूना ढोया जा रहा था. मामला संज्ञान में आते ही मैंने एम्बुलेंस ड्राइवर को बुलाया. पता चला कि दो एम्बुलेंस मरीज को लेकर बाढ़ से पटना आए थे. लौटने के क्रम में दोनों पर अस्पताल के लिए सप्लाई होने वाला चूना और ब्लीचिंग पाउडर लादा गया. मैंने पहले ही आदेश जारी कर रखा था कि एम्बुलेंस से सिर्फ मरीजों को ढोया जा सकता है. अन्य सामान ढोने के लिए एम्बुलेंस का प्रयोग किसी भी परिस्थिति में नहीं किया जा सकता. चाहे वह दवाई की ही सप्लाई क्यों ना करना हो."
ड्राइवर ने स्वीकारी गलती
डॉ. विभा कुमारी ने कहा, "ड्राइवर ने अपनी गलती स्वीकार की है. उसने कहा है कि दोबारा ऐसी गलती नहीं होगी. मैंने आदेश दिया था कि एम्बुलेंस में लादे गए चूना और ब्लीचिंग पाउडर को तुरंत उतारा जाए और एम्बुलेंस को पूरी तरह साफ किया जाए. इसके बाद चूना और ब्लीचिंग पाउडर उतारकर एम्बुलेंस को पूरी तरह साफ किया गया. एम्बुलेंस बाढ़ अनुमंडलीय अस्पताल का था. चूना और ब्लीचिंग पाउडर लादकर वहीं ले जाया जा रहा था."
"मैंने बाढ़ अनुमंडलीय अस्पताल के उपाधीक्षक से बात की. उन्हें बताया कि आपका एम्बुलेंस ड्राइवर आया है और इस तरह का गलत काम कर रहा है. मैंने उनसे लिखित स्पष्टीकरण मांगा है कि वे इस तरह की गलती कैसे कर सकते हैं. मैंने उपाधीक्षक से कहा है कि भविष्य में ऐसी गलती दोबारा हुई तो कार्रवाई होगी."- डॉ. विभा कुमारी, सिविल सर्जन, पटना
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