पटना: लालू एंड फैमिली पर जमीन के बदले रेलवे में नौकरी देने के मामले को लेकर आरोप-प्रत्यारोप जारी है. अब केंद्रीय जांच एजेंसियों के एंट्री को लेकर भी बयानबाजी की जा रही है. आरजेडी ने मांग की थी कि जांच एजेंसियों को प्रदेश सरकार से परमिशन लेकर जांच करने आना चाहिए. इसपर महागठबंधन सरकार के अंदर ही एक राय नहीं बन रही है. कांग्रेस इसे सही नहीं मानती. वहीं हम के संरक्षक जीतन राम मांझी का कहना है कि यह व्यवस्था जरूरी है. केंद्रीय एजेंसियों को जांच करने के लिए आने से पहले राज्य सरकार से परमिशन लेना चाहिए.
बोले मांझी- 'बीजेपी महागठबंधन को कर रही तंग': जीतन राम मांझी ने कहा कि लालू यादव और उनके परिवार को एक तरीके से दुर्भावना से प्रेरित होकर के भाजपा के लोग ऐसा कर रहे हैं. 2017 में भी रेड की गई थी. अनेक रेड हुए लेकिन कुछ नहीं पकड़ा गया. लेकिन अब जो दिखाया जा रहा है उसकी लिस्ट मांगेंगे कि कहां से दिखाया जा रहा है. इन सब चीजों का कोई प्रतिफल नहीं होने वाला है, जिसका महागठबंधन की सेहत पर कोई प्रभाव पड़े. इतना जरूर है कि भाजपा के लोग हमारे महागठबंधन को तंग कर रहे हैं.
" केंद्रीय एजेंसी जांच करने बिहार आए तो परमिशन लेकर आए, लेना चाहिए, नियम है. और भी स्टेट में नहीं जाने दिया जाता है. बंगाल के लोग नहीं जाने देते हैं, जब तक वहां से परमिशन ना मिल जाए. समूचे हिंदुस्तान का एक कानून होना चाहिए. लेकिन ऐसा नहीं है और जांच एजेंसी आकर अपना काम करके चले जाते हैं और मीडिया भी उसे अलग तरीके से दिखाती है."- जीतन राम मांझी, संरक्षक, हम