पटनाः सुशांत सिंह प्रकरण मामले में जदयू प्रवक्ता राजीव रंजन ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार को यह अधिकार है कि वह जांच सीबीआई को सौंपे या न सौंपे. लेकिन महाराष्ट्र पुलिस को सुशांत सिंह मामले में जो रहस्य है उसकी तत्परता से जांच करनी चाहिए. क्योंकि 40 दिनों की जांच को लेकर सुशांत सिंह के परिजनों को यह विश्वास नहीं है कि न्याय मिलेगा और इसीलिए उन्होंने पटना में एफआईआर कराया है.
सुशांत सिंह के परिजन नहीं हैं आश्वस्त
जदयू प्रवक्ता राजीव रंजन ने कहा कि सुशांत सिंह राजपूत के चाहने वालों को यह पता चलना चाहिए कि सुशांत सिंह ने किन परिस्थितियों में यह फैसला लिया. महाराष्ट्र पुलिस को अधिकार है कि सुशांत सिंह मामले की जांच सीबीआई को सौंपे या नहीं. लेकिन पूरे मामले में रहस्य पर से पर्दा महाराष्ट्र पुलिस को तत्परता से जांच कर उठाना चाहिए. जदयू प्रवक्ता ने कहा कि पिछले 40 दिनों से चले जांच को लेकर सुशांत सिंह के परिजन आश्वस्त नहीं हैं. इसलिए उन्होंने पटना में एफआईआर कराया है.
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नीतीश कुमार की चुप्पी पर भी निशाना
वहीं, सुशांत सिंह मामले में चिराग पासवान ने भी नीतीश कुमार की चुप्पी पर सवाल खड़ा किया है. वो लगातार सीबीआई जांच की मांग कर रहे हैं. कई स्तर पर भी पूरे मामले की सीबीआई जांच की मांग हो रही है. ऐसे में सुशांत सिंह के परिजनों की ओर से जो एफआईआर की गई है, उसको लेकर भी कई सवाल खड़े हो रहे हैं. लेकिन महाराष्ट्र पुलिस का इस मामले की जांच सीबीआई से नहीं कराने का फैसला तूल पकड़ सकता है.
क्या है तेजस्वी यादव की मांग
बता दें कि इस मामले में सुशांत सिंह राजपूत के पिता केके सिंह ने दिवंगत अभिनेता की कथित गर्लफ्रेंड रिया चक्रवर्ती पर केस दर्ज कराया है. जिसके बाद मामले में नया मोड़ आ गया है. उधर तेजस्वी यादव ने नीतीश कुमार से मांग करते हुए कहा कि राजगीर में बन रहे फिल्म सिटी का नाम सुशांत सिंह राजपूत के नाम पर रखा जाना चाहिए.