पटनाः बिहार में चल रहे सियासी उतार-चढ़ाव और देशभर में विपक्षी एकता की कवायद के बीच जेडीयू सांसद वशिष्ठ नारायण सिंह (JDU MP Vashishtha Narayan Singh ) ने केंद्र सरकार पर आक्रामक रूप अख्तियार करते हुए उसे इतिहास से छेड़छाड़ करने वाला बताया. उन्होंने कहा है कि देश में विचारों का संकट है और जो सरकार देश में चल रही है. अब इतिहास से भी छेड़छाड़ कर रही है. इतिहास के पन्ने को बदला जा रहा है. देश की सरकार अधिनायकवादी रवैया अपना रही है. ऐसे के पूरे देश में विपक्ष को एकजुट रहना जरूरी है.
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बेदाग हैं नीतीश कुमारः वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि विपक्षी एकजुटता इसलिए जरूरी है, क्योंकि ऐसी सरकार को गद्दी से हटाया जा सके, जिसके चलते संविधान खतरे में है. उन्होंने कहा कि देश की जनता देख रही है कि किस तरह तानशाही रवैया केंद्र सरकार अपना रही है. उनसे जब सवाल किया गया कि क्या नीतीश कुमार का नेतृत्व सभी विपक्षी दल स्वीकार करेंगे. इसको लेकर उन्होंने कहा की हम ऐसी सोच नहीं रखते हैं. देश में विपक्ष एकजुट हो यही सोचकर सब कुछ हो रहा है.
"देश में विचारों का संकट है और जो सरकार देश में चल रही है. अब इतिहास से भी छेड़छाड़ कर रही है. इतिहास के पन्ने को बदला जा रहा है. देश की सरकार अधिनायकवादी रवैया अपना रही है. ऐसे के पूरे देश में विपक्ष को एकजुट रहने को जरूरी है"- वशिष्ठ नारायण सिंह, सांसद, जदयू
विचार को बदलने की जरूरतः उन्होंने कहा की नीतीश कुमार बेदाग हैं और जो धारा बिहार में उनके नेतृत्व में चली, जिस तरह विकास हुआ है वो सर्वविदित है. इसी को लेकर लोग मानते हैं कि नीतीश कुमार की एक अपनी छवि है जो शुरू से उन्होंने बना रखी है. अब जरूरी है कि विपक्ष एकजुट हो और ऐसा सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए जरूरी है. नेतृत्व को नहीं सोच आगे बढ़ने की जरूरत है. सभी विपक्षी दल ये मानने लगे हैं कि विपक्षी एकता जरूरी है. ये देश के लिए बड़ी बात है. आपको पता होना चाहिए की विचार जिसके कारण देश खतरे में है. उसे बदलने को जरूरत है और ये इस बार होगा.