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पटनाः PMCH में फर्जीवाड़ा नियुक्ति, 22 डॉक्टरों को नोटिस जारी

पीएमसीएच स्वास्थ्य विभाग के सचिव ने अपने पत्र में आवश्यक निर्देश दिए थे. जिसमें पीएमसीएच को सभी नियमों का अनुपालन करते हुए नियुक्ति का निर्देश दिया गया था. लेकिन संविदा पर नियोजन के समय निर्धारित नियमावाली का अनुपालन नहीं किया गया.

पीएमसीएच
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Published : Oct 23, 2019, 3:08 PM IST

पटनाः सूबे के सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच में एक बार फिर फर्जीवाड़ा नियुक्ति करने का मामला सामने आया है. स्वास्थ्य विभाग ने फर्जी नियुक्ति को लेकर पीएमसीएच के 22 डॉक्टरों को नोटिस जारी कर 15 दिनों के अंदर जवाब मांगा है. इसमें दो प्रचार्य और दो अधीक्षक शामिल हैं. बता दें कि फर्जी नियुक्ति को लेकर अबतक 30 संविदा कर्मी पहले ही बर्खास्त हो चुके हैं.

नियमावली की अनदेखी
वर्तमान अधीक्षक राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग की ओर से पीएमसीएच के पत्रांक दिनांक 30 मई 2017 को संविदा पर लैब टेक्नीशियन, ओटी असिस्टेंट, x-ray टेक्निशियन और अध्यापक के पदों पर नियुक्ति के लिए विज्ञापन प्रकाशित किया गया था. इसमें स्वास्थ्य विभाग के सचिव ने 25 जनवरी 2017 को पत्र जारी कर आवश्यक निर्देश दिए थे. लेकिन संविदा पर नियोजन के समय निर्धारित नियमावाली का अनुपालन नहीं किया गया.

देखें पूरी रिपोर्ट

अधीक्षक की दलील
गौरतलब है कि पीएमसीएच में फर्जीवाड़ा नियुक्ति को लेकर कई बार पीएमसीएच सुर्खियों में रहा है. इसको लेकर स्वास्थ्य विभाग की ओर से लगातार जांच प्रक्रिया चल रही है. ऐसे में अधीक्षक राजीव रंजन प्रसाद का कहना है कि यह मामला 2017 का है. जो उनके कार्यकाल का नहीं है. उन्होंने अपने कार्यकाल में पीएमसीएच में किसी भी प्रकार की कोई फर्जी नियुक्ति नहीं होने की बात कही.

patna
मामले को लेकर बैठक

पटनाः सूबे के सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच में एक बार फिर फर्जीवाड़ा नियुक्ति करने का मामला सामने आया है. स्वास्थ्य विभाग ने फर्जी नियुक्ति को लेकर पीएमसीएच के 22 डॉक्टरों को नोटिस जारी कर 15 दिनों के अंदर जवाब मांगा है. इसमें दो प्रचार्य और दो अधीक्षक शामिल हैं. बता दें कि फर्जी नियुक्ति को लेकर अबतक 30 संविदा कर्मी पहले ही बर्खास्त हो चुके हैं.

नियमावली की अनदेखी
वर्तमान अधीक्षक राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग की ओर से पीएमसीएच के पत्रांक दिनांक 30 मई 2017 को संविदा पर लैब टेक्नीशियन, ओटी असिस्टेंट, x-ray टेक्निशियन और अध्यापक के पदों पर नियुक्ति के लिए विज्ञापन प्रकाशित किया गया था. इसमें स्वास्थ्य विभाग के सचिव ने 25 जनवरी 2017 को पत्र जारी कर आवश्यक निर्देश दिए थे. लेकिन संविदा पर नियोजन के समय निर्धारित नियमावाली का अनुपालन नहीं किया गया.

देखें पूरी रिपोर्ट

अधीक्षक की दलील
गौरतलब है कि पीएमसीएच में फर्जीवाड़ा नियुक्ति को लेकर कई बार पीएमसीएच सुर्खियों में रहा है. इसको लेकर स्वास्थ्य विभाग की ओर से लगातार जांच प्रक्रिया चल रही है. ऐसे में अधीक्षक राजीव रंजन प्रसाद का कहना है कि यह मामला 2017 का है. जो उनके कार्यकाल का नहीं है. उन्होंने अपने कार्यकाल में पीएमसीएच में किसी भी प्रकार की कोई फर्जी नियुक्ति नहीं होने की बात कही.

patna
मामले को लेकर बैठक
Intro:सूबे के सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच में फर्जी बहाली की जांच में 22 डॉक्टर को हुआ नोटिस
दो प्रचार्य एवं दो अधीक्षक भी है इसमें शामिल
15 दिनो का दिया वक्त
स्वास्थ्य विभाग कि बडी कारवाई


Body:सुबे के सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच एक बार फिर से फर्जीवाड़ा कर नियुक्ति करने के मामले में सुर्खियों पर हैं,जहाँ स्वास्थ्य महकमे से एक बड़ी खबरें सामने आ रही है, अस्पताल में फर्जी नियुक्ति के मामले में एक नया मोड सामने आया है, पीएमसीएच में फर्जी बहाली में 22 डॉक्टरों को नोटिस दिया गया है, जिसे 15 दिनों के अंदर जवाब मांगा गया है, इन 22 डॉक्टरों में दो प्रचार्य एवं दो अधीक्षक भी शामिल हैं

आपको बता दें कि इस फर्जी नियुक्ति मामले में 30 संविदा कर्मी पहले ही बर्खास्त हो चुके हैं, बताया जाता है कि 2017 में संविदा पर तैनात 30 कर्मचारियों की नियुक्ति में फर्जीवाड़ा उजागर होने के बाद उनकी बहाली से जुड़े पीएमसीएच के 22 डॉक्टरों को भी स्वास्थ्य विभाग ने नोटिस जारी किया है, स्वास्थ्य विभाग के अपर सचिव विवेकानंद ठाकुर के कार्यालय से जारी पत्र में कहा गया है कि पीएमसीएच के पत्रांक दिनांक 30 मई 2017 के द्वारा संविदा पर लैब टेक्नीशियन, ओटी असिस्टेंट, x-ray टेक्निशियन तथा अध्यापक के पदों पर नियुक्ति के लिए विज्ञापन प्रकाशित किया गया था, प्रकाशित विज्ञापन में स्वास्थ्य विभाग के सचिव ने अपने पत्र 25 जनवरी 2017 में आवश्यक निर्देश दिए थे जिसमें पीएमसीएच को सभी नियमों का अक्षरश: अनुपालन करने का निर्देश दिया गया था, संविदा पर नियोजन के समय निर्धारित नियमावाली शैक्षिक आधारित पर अनुपालन नहीं किया गया था,जिसका बाद में फर्जीवाड़ा का मामला खुलासा हुआ है


Conclusion: गौरतलब है कि पीएमसीएच में फर्जीवाड़ा कर नियुक्ति करने का मामला कई बार पीएमसीएच में सुर्खियों में रहा है जिसको लेकर स्वास्थ्य विभाग की जांच लगातार चल रही है, ऐसे में वर्तमान अधीक्षक प्रोफेसर राजीव रंजन प्रसाद ने दावा किया है कि यह मामला 2017 का है लेकिन अब ताजा हालात में कोई भी नियुक्ति फर्जी नहीं होगी



बाईट:-प्रो.डॉ राजीव रंजन प्रसाद
अधीक्षक,पीएमसीएच
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