पटना: रंग विकल्प, बिहार ग्रिड लिमिटेड और बिहार स्टेट पावर होल्डिंग कंपनी लिमिटेड के प्रयास से बिहार म्यूजियम में 100 समकालीन एवं परंपरागत बिहारी मूर्तिकार शिल्पकारों की प्रदर्शनी आयोजित की गई है. यहां बिहार के वैसे कलाकार भी पहुंचे हैं जो बिहार से बाहर जाकर बेहतर काम कर रहे हैं. इनकी ख्याति राष्ट्रीय ही नहीं बल्कि अंतरराष्ट्रीय फलक पर है.
बिहार म्यूजियम में लगी प्रदर्शनी में बिहार की प्रतिभा निखर रही है. बिहार के तमाम मूर्तिकार एवं शिल्पकारों ने अपनी-अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया है. रंग विकल्प के सचिव सन्यासी रेट ने कहा कि शुरू से कल्चर के क्षेत्र में बिहार आगे रहा है. हमने भी संस्कृति को समेटने की कोशिश की है.
बिहार के मूर्तिकार जहां भी काम कर रहे हैं, इनके काम में बिहार का एलिमेंट है. इस आयोजन में बिहार के सारे मूर्तिकारों को इकट्ठा कर इतिहास बनाया जा रहा है. प्रदर्शनी में शैली शर्मा भटनागर के बनाए स्टील के पैर अपने कैची प्लेट को काफी पसंद किया जा रहा है.
अरुण पंडित ने मेंटल में प्रिंसेस वाले आदमी को खूबसूरती से बनाया है. कलाकार आशीष ने युद्ध भूमि में सिंदूर से रंगे फौजी की मूर्ति बनाकर देशभक्ति के एहसास को जीवंत किया है. इस मूर्ति में नीचे की तरफ हथियार भी हैं और कई शहीद सैनिक. यह बहुत ही मार्मिक दृश्य है. कई कलाकारों ने चूड़ी और फाइबर में नया आया टेरा कोटा में लैंडस्केप बनाया है.
क्रिस्टल की गाय जो सबकी नजरों को खींच रही है सिरामिक में लाइन का कंपोजीशन दिखाया है. मेटल की बुद्ध की मूर्ति भी आकर्षण का केंद्र बन रही है. बिहार के कलाकारों को उनकी कृतियों के लिए बिहार में सम्मान और सराहना काफी सुखद एहसास रहा.