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नियुक्ति प्रक्रिया पूरी होने के बाद होगा शिक्षकों का एकच्छिक स्थानांतरण- विजय चौधरी - Education Minister Vijay Kumar Choudhary

शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा है कि नियोजन प्रक्रिया पूरी होने के बाद शिक्षकों का स्थानांतरण किया जाएगा (Teachers will be Transferred Voluntarily). शिक्षा मंत्री ने ये बातें बिहार विधान परिषद में ध्यानाकर्षण प्रश्न के जवाब में कही. पढ़ें पूरी खबर..

Education Minister Vijay Kumar Choudhary
शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी
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Published : Jun 29, 2022, 10:37 PM IST

पटना: राज्य में शिक्षकों के बहुप्रतीक्षित ऐच्छिक स्थानांतरण को लेकर राज्य सरकार गंभीर है. क्योंकि अभी शिक्षक नियुक्ति की प्रक्रिया चल रही है. इस प्रक्रिया के पूरी हो जाने के बाद स्थानांतरण किया जाएगा. यह बातें शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी (Education Minister Vijay Kumar Choudhary) ने बुधवार को बिहार विधान परिषद में ध्यानाकर्षण प्रश्न के जवाब में कही. यह प्रश्न परिषद के वरिष्ठ सदस्य केदारनाथ पांडे और अन्य सदस्यों ने उठाया था.

ये भी पढ़ें-शिक्षा मंत्री विजय चौधरी बोले- जल्द शुरू होगी 7 वें चरण के शिक्षक नियोजन की प्रक्रिया

जल्द होगा शिक्षकों का एकच्छिक स्थानांतरण: ज्ञात हो कि विधान पार्षद केदारनाथ पांडे, संजीव कुमार सिंह, संजय कुमार सिंह और संजीव श्याम सिंह ने परिषद में ध्यानाकर्षण प्रश्न के तहत यह मामला उठाया था कि राज्य सरकार लगातार शिक्षकों की नियुक्ति कर रही है. छठे चरण के बाद सातवें चरण की तैयारी है. उन्होंने इस बात को भी उठाया था कि नियमावली में यह भी वर्णित है कि महिला शिक्षकों, पुस्तकालय अध्यक्ष और दिव्यांग शिक्षकों, पुस्तकालय अध्यक्षों को अंतर नियोजन अंतर जिला स्थानांतरण की सुविधा दी जाएगी. लेकिन वर्षों से यह मामला लंबित पड़ा है और महिला और दिव्यांग शिक्षक स्थानांतरण के अभाव में परिवार से दूर संकट में है. पूर्व शिक्षकों के स्थानांतरण के संबंध में अभी तक कोई प्रावधान नहीं है. माध्यमिक विद्यालय और प्लस 2 विद्यालयों के शिक्षकों के वेतन निर्धारण में प्राथमिक शिक्षकों से भी कम वेतन निर्धारण हुआ है. यह एक बड़ी विसंगति है.

नियुक्ति प्रक्रिया समाप्त होने के बाद होगी स्थानांतरण: शिक्षा मंत्री विजय चौधरी ने कहा कि सरकार महिलाओं और दिव्यांगों को एक बार ट्रांसफर देगी. साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि पुरुष शिक्षकों को भी ट्रांसफर होगा. उन्होंने इस बात को माना कि शिक्षकों को भी परेशानी हो रही है. मंत्री ने कहा कि इस दिव्यांग शिक्षक, पुस्तकालय अध्यक्ष और महिला शिक्षिका, पुस्तकालय अध्यक्ष को धारित पद के समतुल्य पद पर अंतर नियोजन इकाई अंतर जिला सहित में उपलब्ध रिक्त पद के सापेक्ष एक बार ऐच्छिक स्थानांतरण की सुविधा होगी. स्थानांतरण के लिए उपलब्ध रिक्त इनके कोटि का निर्धारण किया जाएगा. रिक्त पद की गणना में नियुक्ति के लिए विज्ञापित रिक्त पदों को सम्मिलित नहीं किया जाएगा. क्योंकि छठे चरण की नियुक्ति के लिए रिक्त पदों को विज्ञापित किया जा चुका है. इसलिए स्थानांतरण की कार्रवाई नियुक्ति की प्रक्रिया समाप्त होने के बाद ही की जाएगी.

2020 से ईपीएफ योजना किया जा चुका है आच्छादित: ग्रेड पे के मामले पर मंत्री विजय चौधरी ने कहा कि माध्यमिक और उच्च माध्यमिक शिक्षकों के ग्रेड पर क्रमशः 2400 और 2800 निर्धारित है. जबकि, प्राथमिक शिक्षकों के ग्रेड पे 2000 रुपये निर्धारित है. इसलिए माध्यमिक, उच्च माध्यमिक शिक्षकों के वेतन प्राथमिक शिक्षकों के वेतन से कम होने का औचित्य नहीं है. उन्होंने कहा कि वेतन निर्धारण शिक्षकों के सेवा अवधि से भी प्रभावित होता है. विजय चौधरी ने कहा कि प्रश्न गत कोटि के शिक्षकों की नियुक्ति प्राधिकार जिला परिषद, नगर निकाय नियोजन इकाई है अतः अर्जित अवकाश/चिकित्सा अवकाश की स्वीकृति नियुक्ति पदाधिकारी द्वारा ही स्वीकृत किए जाने का प्रावधान है. उन्होंने इस बात की भी जानकारी दी कि उपर्युक्त कोटी के शिक्षकों के बेहतर भविष्य के लिए सितंबर 2020 से ईपीएफ योजना से आच्छादित किया जा चुका है.

ये भी पढ़ें-शिक्षक नियोजन: 90 हजार से अधिक पद लेकिन चयनित हुए महज 43 हजार, अब चौथे राउंड की काउंसलिंग का इंतजार

पटना: राज्य में शिक्षकों के बहुप्रतीक्षित ऐच्छिक स्थानांतरण को लेकर राज्य सरकार गंभीर है. क्योंकि अभी शिक्षक नियुक्ति की प्रक्रिया चल रही है. इस प्रक्रिया के पूरी हो जाने के बाद स्थानांतरण किया जाएगा. यह बातें शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी (Education Minister Vijay Kumar Choudhary) ने बुधवार को बिहार विधान परिषद में ध्यानाकर्षण प्रश्न के जवाब में कही. यह प्रश्न परिषद के वरिष्ठ सदस्य केदारनाथ पांडे और अन्य सदस्यों ने उठाया था.

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जल्द होगा शिक्षकों का एकच्छिक स्थानांतरण: ज्ञात हो कि विधान पार्षद केदारनाथ पांडे, संजीव कुमार सिंह, संजय कुमार सिंह और संजीव श्याम सिंह ने परिषद में ध्यानाकर्षण प्रश्न के तहत यह मामला उठाया था कि राज्य सरकार लगातार शिक्षकों की नियुक्ति कर रही है. छठे चरण के बाद सातवें चरण की तैयारी है. उन्होंने इस बात को भी उठाया था कि नियमावली में यह भी वर्णित है कि महिला शिक्षकों, पुस्तकालय अध्यक्ष और दिव्यांग शिक्षकों, पुस्तकालय अध्यक्षों को अंतर नियोजन अंतर जिला स्थानांतरण की सुविधा दी जाएगी. लेकिन वर्षों से यह मामला लंबित पड़ा है और महिला और दिव्यांग शिक्षक स्थानांतरण के अभाव में परिवार से दूर संकट में है. पूर्व शिक्षकों के स्थानांतरण के संबंध में अभी तक कोई प्रावधान नहीं है. माध्यमिक विद्यालय और प्लस 2 विद्यालयों के शिक्षकों के वेतन निर्धारण में प्राथमिक शिक्षकों से भी कम वेतन निर्धारण हुआ है. यह एक बड़ी विसंगति है.

नियुक्ति प्रक्रिया समाप्त होने के बाद होगी स्थानांतरण: शिक्षा मंत्री विजय चौधरी ने कहा कि सरकार महिलाओं और दिव्यांगों को एक बार ट्रांसफर देगी. साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि पुरुष शिक्षकों को भी ट्रांसफर होगा. उन्होंने इस बात को माना कि शिक्षकों को भी परेशानी हो रही है. मंत्री ने कहा कि इस दिव्यांग शिक्षक, पुस्तकालय अध्यक्ष और महिला शिक्षिका, पुस्तकालय अध्यक्ष को धारित पद के समतुल्य पद पर अंतर नियोजन इकाई अंतर जिला सहित में उपलब्ध रिक्त पद के सापेक्ष एक बार ऐच्छिक स्थानांतरण की सुविधा होगी. स्थानांतरण के लिए उपलब्ध रिक्त इनके कोटि का निर्धारण किया जाएगा. रिक्त पद की गणना में नियुक्ति के लिए विज्ञापित रिक्त पदों को सम्मिलित नहीं किया जाएगा. क्योंकि छठे चरण की नियुक्ति के लिए रिक्त पदों को विज्ञापित किया जा चुका है. इसलिए स्थानांतरण की कार्रवाई नियुक्ति की प्रक्रिया समाप्त होने के बाद ही की जाएगी.

2020 से ईपीएफ योजना किया जा चुका है आच्छादित: ग्रेड पे के मामले पर मंत्री विजय चौधरी ने कहा कि माध्यमिक और उच्च माध्यमिक शिक्षकों के ग्रेड पर क्रमशः 2400 और 2800 निर्धारित है. जबकि, प्राथमिक शिक्षकों के ग्रेड पे 2000 रुपये निर्धारित है. इसलिए माध्यमिक, उच्च माध्यमिक शिक्षकों के वेतन प्राथमिक शिक्षकों के वेतन से कम होने का औचित्य नहीं है. उन्होंने कहा कि वेतन निर्धारण शिक्षकों के सेवा अवधि से भी प्रभावित होता है. विजय चौधरी ने कहा कि प्रश्न गत कोटि के शिक्षकों की नियुक्ति प्राधिकार जिला परिषद, नगर निकाय नियोजन इकाई है अतः अर्जित अवकाश/चिकित्सा अवकाश की स्वीकृति नियुक्ति पदाधिकारी द्वारा ही स्वीकृत किए जाने का प्रावधान है. उन्होंने इस बात की भी जानकारी दी कि उपर्युक्त कोटी के शिक्षकों के बेहतर भविष्य के लिए सितंबर 2020 से ईपीएफ योजना से आच्छादित किया जा चुका है.

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