नई दिल्ली/पटना: बहुचर्चित आईआरसीटीसी घोटाला मामले में आज कोर्ट में सुनवाई हुई. सीबीआई ने आरोप तय करने के लिए कोर्ट में अपना पक्ष रखा. मामले की सुनवाई राउज एवेन्यू कोर्ट में हुई. मामले की अगली सुनवाई 5 अगस्त को होगी.
इससे पहले इस मामले में तेजस्वी यादव की तरफ से अर्जी लगाकर ईडी के मामले चल रहे ट्रायल पर रोक लगाने की मांग की गयी थी. कोर्ट में पेशी के दौरान तेजस्वी ने कहा था कि जब तक सीबीआई के मामले में चल रहे ट्रायल पर आदेश नहीं आता है, तब तक ईडी आरोपों पर बहस न करे. हालांकि कोर्ट ने इसे अस्वीकार कर दिया था.
इन पर दायर है चार्जशीट
सीबीआई के बाद आईआरसीटीसी होटल आवंटन मामले में ईडी ने पटियाला हाउस कोर्ट में लालू एंड फैमिली के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी. चार्जशीट में ईडी ने कई अहम सबूत की बात कही थी. चार्जशीट में ईडी ने लालू प्रसाद यादव, बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी और तेजस्वी यादव, पूर्व मंत्री प्रेमचंद्र गुप्ता, उनकी पत्नी सरला गुप्ता और तत्कालीन एमडी बीके अग्रवाल के अलावा अन्य लोगों को आरोपी बनाया है. इस मामले की लगातार सुनवाई चल रही है.
चार्जशीट में अहम सबूत होने की बात
मामले में सीबीआई के बाद ईडी ने पटियाला हाउस कोर्ट में लालू प्रसाद यादव एंड फैमिली के खिलाफ चार्जशीट दाखिल किया था. चार्जशीट में ईडी ने कई अहम सबूत की बात कही है. इस मामले में बिहार की पूर्व सीएम राबड़ी देवी और अन्य भी आरोपी हैं जिनकी पेशी होनी है. हालांकि, 9 जुलाई को हुई सुनवाई में खराब तबीयत के चलते राबड़ी देवी पेश नहीं हो सकीं थीं.
क्या है IRCTC घोटाला
गौरतलब है कि यूपीए 1 की सरकार में राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव रेल मंत्री थे. उनके कार्यकाल में इंडियन रेलवे कैटरिंग एंड टूरिज्म कॉर्पोरेशन (आइआरसीटीसी) रांची और पुरी के दो होटल की देखरेख का जिम्मा सुजाता होटल्स नाम की कंपनी को दिया गया था. आरोप है कि सुजाता होटल के बदले लालू परिवार की लारा कंपनी को पटना में तीन एकड़ जमीन दी गई थी. इससे संबंधित सीबीआई और ईडी ने मुकदमा दर्ज कर लालू परिवार से पूछताछ भी कर चुकी है.