पटना: बिहार में साल के अंत तक विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. तय समय पर चुनाव कराने को लेकर चुनाव आयोग ने भी अपना रूख साफ कर दिया है. चुनाव को सुरक्षित रूप से संपन्न कराने के लिए आयोग लगातार प्रदेश के विभिन्न जिले के अधिकारियों के साथ वीडियो कॉफ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक कर रहा है.
इसको लेकर उप मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी बैजूनाथ सिंह ने बताया कि चुनाव की घोषणा के पूर्व मतदाता सूची में नाम हटाने और सुधार कराने के लिए जिलों को आदेश दिया गया है. सभी जिलों में ईवीएम मशीन के फर्स्ट लेवल की चेकिंग (FLC) की जा चुकी है.
'M3 ईवीएम मॉडल से होगा चुनाव'
बैजूनाथ सिंह ने बताया कि इस बार विधानसभा चुनाव M3 मॉडल ईवीएम मशीन से संपन्न कराए जाएंगे. उन्होंने बताया कि इस मशीन में एक साथ 384 उम्मीदवारों का नाम जोड़ा जा सकता है. इससे पहले M2 मॉडल में मात्र 64 उम्मीदवारों का नाम फीड किया जा सकता था. जिस वजह से कई परेशानियों का सामना करना पड़ता था.
उप मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने बताया कि M3 मॉडल में एक कंट्रोल यूनिट से 24 बैलेट यूनिट जुड़ सकेंगे. जबकि पहले M2 मॉडल में एक कंट्रोल यूनिट से मात्र चार ही बैलेट यूनिट जुड़ सकते थे.
'चुनाव की घोषणा से पहले जुड़वाए मतदाता सूची में नाम'
बैजूनाथ सिंह ने बताया कि मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने सभी जिले के डीएम को चुनाव की घोषणा से पहले मतदाता सूची में नाम पुनरीक्षण का कार्य समाप्त करने का निर्देश दिया है. उन्होंने बताया कि चुनाव की घोषणा हो जाने के बाद मतदाता सूची में किसी तरह का सुधार या नाम हटाने का कार्य नहीं हो सकता. चुनाव सूची में नाम जुड़वाने के लिए केवल फॉर्म 6 या फार्म 7 के आवेदन पर ही विचार किया जाएगा.
'मतदाताओं की सुविधा के लिए समीक्षा के आदेश'
उप मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने आगे बताया कि आगामी विधानसभा चुनाव को बेहतर तरीके से संपन्न कराने के लिए सभी जिले में एमसी का गठन कर दिया गया है. वोटर हेल्पलाइन नंबर 1950 को भी दुरूस्त करने के निर्देश दे दिये गए हैं. उन्होंने कहा कि पिछले चुनाव में जिन मतदान केंद्र पर वोट प्रतिशकत सबसे कम था, उसकी समीक्षा करने के लिए सभी जिले के डीएम को निर्देश जारी कर दिये गए हैं. इसके अलावे दिव्यांग मतदाताओं की सुविधा के लिए सभी जिले के अधिकारी को समीक्षा करने के आदेश दिये जा चुके हैं.