पटना: बिहार में बारिश बंद हुए 5 दिन बीत चुके हैं. इसके बावजूद लोगों को जलजमाव से निजात नहीं मिल पाया है. ऐसे में महामारी की आशंका काफी बढ़ गई है. वहीं, तमाम विधायक और नेता लगातार जलजमाव वाले इलाकों का दौरा कर रहे हैं. लेकिन, बीजेपी खेमे के विधायकों में प्रशासन के खिलाफ नाराजगी देखी जा रही है.
गौरतलब है कि पटना के 3 विधानसभा क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व बीजेपी के नेता करते हैं. इसमें बांकीपुर से नितिन नवीन, दीघा से संजीव चौरसिया और कुम्हरार से अरुण कुमार विधायक हैं. ये तीनों ही विधानसभा क्षेत्र जलमग्न हैं. तीनों विधायकों ने राजधानी के मौजूदा हालात के लिए नीतीश सरकार को दोषी ठहराया है.
प्रशासनिक विफलता का नतीजा है जलजमाव
विधायकों ने पटना के हालातों का ठीकरा राज्य सरकार और प्रशासन के मत्थे फोड़ा है. विधायकों का कहना है कि पटना में जलजमाव प्रशासनिक विफलता का नतीजा है. इसके लिए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए. दीघा विधायक संजीव चौरसिया ने कहा कि उनके विधानसभा क्षेत्र का ज्यादातर हिस्सा जलमग्न है. वह लगातार अपने स्तर से कोशिश कर रहे हैं. लेकिन, हालात में अब तक कोई बदलाव दिखाई नहीं पड़ रहा.
सरकार को लेनी चाहिए इसकी जिम्मेदारी
वहीं, बांकीपुर विधायक नितिन नवीन ने कहा कि पटना में ऐसा जलसैलाब पहले कभी नहीं दिखा था. इस संकट की जिम्मेदारी सरकार और जनप्रतिनिधियों को लेनी चाहिए. इसमें खास तौर पर गलती प्रशासनिक महकमें की है. विधायक ने कहा कि पूरे मामले की जांच होनी चाहिए.
जलजमाव स्वभाविक लेकिन जलनिकासी नहीं होना चिंताजनक
बीजेपी के सचेतक और कुम्हरार विधायक अरुण कुमार ने कहा कि पटना नदियों से घिरा हुआ है. फिलहाल, सभी नदियों का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर है. लिहाजा, जलजमाव स्वाभाविक है. लेकिन, अब तक पानी नहीं निकलना चिंता का विषय है. बीजेपी विधायक ने आरोप लगाते हुए कहा कि पटना में जलजमाव अधिकारियों के लापरवाह रवैए का नतीजा है.