पटना: प्रदूषण नियंत्रण के अनुसार तिपहिया वाहन और पुराने पेट्रोल चालित तिपहिया वाहनों के परिचालन से पटना शहर की वायु गुणवत्ता पर प्रतिकूल असर पड़ रहा था. इसे देखते हुए सरकार ने पहले यह निर्णय लिया था कि 31 जनवरी 2021 से पटना नगर निगम और 31 मार्च 2021 से दानापुर खगौल और फुलवारी शरीफ नगर परिषद में डीजल से चलने वाले ऑटो का परिचालन पूरी तरह से प्रतिबंधित रहेगा. लेकिन कोविड-19 के कारण ऐसा नहीं हो सका.
डीजल ऑटो चालकों को बड़ी राहत
कोविड-19 की वजह से लागू लॉकडाउन और उसके बाद राज्य में विधानसभा चुनाव के कारण अधिकतर ऑटो चालक इस योजना का लाभ नहीं उठा सके. जिसमें उन्हें डीजल ऑटो को सीएनजी में कन्वर्ट करने के लिए सरकार से अनुदान मिल रहा था. यही वजह है कि सरकार ने पटना में डीजल ऑटो के परिचालन को 30 सितंबर तक इजाजत दे दी है.
मिली 8 महीने की अतिरिक्त मोहलत
इस बारे में परिवहन सचिव संजय कुमार अग्रवाल ने बताया कि पेट्रोल से चलने वाले ऑटो को सीएनजी में कन्वर्ट करने के लिए मार्केट में किट उपलब्ध है, लेकिन डीजल से चलने वाले ऑटो को बदलकर बैटरी चालित ऑटो या सीएनजी चालित ऑटो को खरीदने का ही विकल्प है. इसलिए राज्य सरकार ऑटो चालकों को सब्सिडी उपलब्ध करा रही है और जरूरत पड़ने पर बैंकों के माध्यम से उन्हें ऋण भी उपलब्ध कराया जाएगा.
किसे मिलेगा योजना का लाभ ?
बिहार स्वच्छ ईंधन योजना 2019 के तहत सब्सिडी के हकदार डीजल चालित और पेट्रोल चालित तिपहिया वाहन, मैक्स कैब और मोटर कैब के ऐसे वाहन स्वामी जिन्हें वर्तमान में पटना नगर निगम, दानापुर नगर परिषद, खगौल नगर परिषद और फुलवारी शरीफ नगर परिषद क्षेत्र के अंतर्गत परिचालन के लिए सक्षम प्राधिकार से परमिट प्राप्त हो और वह वैधता अवधि के अंतर्गत हो.
वाहन के मुताबिक अनुदान
- 7 व्यक्तियों की बैठक क्षमता वाले डीजल या पेट्रोल चालित पहिया वाहन को सीएनजी चालित पहिया वाहन में बदलने पर 40 हजार रुपए एकमुश्त अनुदान दिया जाएगा.
- 7 व्यक्तियों के बैठने की क्षमता वाले पेट्रोल चालित तिपहिया वाहन को सीएनजी किट के रिट्रोफिटिंग कराने पर एकमुश्त 20 हजार रुपए अनुदान दिया जाएगा.
- 7 व्यक्तियों के बैठने की क्षमता वाले डीजल या पेट्रोल चालित पहिया वाहन को नए बैटरी चलित वाहन में बदलने पर 25 हजार रुपए एकमुश्त अनुदान दिया जाएगा.
- व्यावसायिक मोटर कैब या मैक्सी कैब में सीएनजी किट के रेट्रोफिटिंग पर 20 हजार रुपए अनुदान दिया जाएगा.