पटना: राष्ट्रीय खेल दिवस के मौके पर पटना में बिहार राज्य खेल सम्मान समारोह का आयोजन किया गया. इसके तहत ज्ञान भवन में 411 खिलाड़ियों को सम्मानित किया गया. कार्यक्रम का उद्घाटन कला संस्कृति युवा मंत्री जितेंद्र कुमार राय ने किया. 29 अगस्त को मेजर ध्यानचंद की जयंती पर राष्ट्रीय तथा अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में पदक जीतकर बिहार का मान बढ़ाने वाले बिहार के उत्कृष्ट खिलाड़ियों और प्रशिक्षकों को प्रशस्ति पत्र से सम्मानित किया गया.
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सागर कुमार को 31 लाख 25 हजार नकदः पिछले साल की तुलना में इस वर्ष बिहार राज्य खेल सम्मान में 42 खेल विधाओं के सामान्य और दिव्यांग श्रेणी में 400 खिलाड़ी और 11 शिक्षकों सहित कुल 411 को सम्मानित किया गया. कला संस्कृति युवा मंत्री के द्वारा 411 खिलाड़ियों को प्रशस्ति पत्र और नगद राशि दी गई. जिसमें एक खिलाड़ी सागर कुमार जो कबड्डी में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नाम और पहचान बनाकर बिहार का मान सम्मान बढ़ाने का काम किया. सागर कुमार को 31 लाख 25 हजार रुपए नगद राशि दिया गया.
तीन महिला खिलाड़ी को 10 लाखः नकदः रग्बी के चार खिलाड़ी धर्मशिला कुमारी, अर्चना कुमारी, आरती कुमारी, सपना कुमारी को 10 लाख 41666 नगद राशि देकर सम्मानित किया गया. इस वर्ष अंतर्राष्ट्रीय सम्मान पाने वाले खिलाड़ियों में 6 महिला और 11 पुरुष सहित कुल 17 खिलाड़ी रहे और राष्ट्रीय सम्मान पाने वालों में 221 पुरुष और 162 महिला खिलाड़ी सहित कुल 283 खिलाड़ियों को सम्मानित किया गया. इस बार 5 करोड़ की राशि आवंटित की गई थी.
खिलाड़यों के लिए बिहार सरकार संकल्पितः कला संस्कृति युवा मंत्री जितेंद्र राय ने ईटीवी भारत से बातचीत के दौरान कहा कि बिहार आगे बढ़ रहा है. जिसका नतीजा है कि पिछले साल की तुलना में इस साल 411 खिलाड़ियों को सम्मानित किया गया है. खेल और खिलाड़ियों को लेकर के बिहार सरकार संकल्पित है. बिहार के खिलाड़ी राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय स्तर पर खेल कर बिहार का मान सम्मान बढ़ा रहे हैं.
"बिहार सरकार बिहार के खिलाड़ियों के मान सम्मान में मुस्तैदी से काम कर रही है. आने वाले समय में बिहार के खिलाड़ियों के लिए खिलाड़ी छात्रवृत्ति योजना लाने जा रही है. जिससे कि बिहार के खिलाड़ियों को खेल खेलने में सामान खरीदने में किसी प्रकार की कोई दिक्कत नहीं होगी." -जितेंद्र राय, कला संस्कृति युवा मंत्री
ओलंपित तक पहुंचेंगे बिहार के खिलाड़ीः खेल प्राधिकरण के डीजी रविंद्र शंकरण ने कहा कि बिहार में खेल का आंदोलन शुरू हुआ है. यह आंदोलन उसी दिन रुकेगा जिस दिन बिहार के खिलाड़ी ओलंपिक में पहुंचेंगे. तब तक यह आंदोलन जोर-जोर से चलता रहेगा. बिहार के खिलाड़ी खेल में पुरजोर मेहनत कर रहे हैं, जिसका परिणाम है कि पिछले साल की तुलना में इस बार 411 खिलाड़ियों को पुरस्कृत किया गया है.
"सीएम के द्वारा मेडल लाओ नौकरी पाओ का ऐलान किया गया था. उसकी पूरी व्यवस्था कर ली गई है. हम लोग वेरिफिकेशन करके चयन कर लिए हैं. अति शीघ्र एक महीने के अंदर एक बड़ा आयोजन करके मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री की मौजूदगी में खिलाड़ियों को नौकरी दी जाएगी. लगभग 100 खिलाड़ियों का चयन किया गया है." -रविंद्र शंकरण, डीजी, खेल प्राधिकरण