नवादा: जिले के उग्रवाद प्रभावित रजौली प्रखण्ड के हरदिया पंचायत स्थित फुलवरिया डैम के पास स्थित कई गांव के ग्रामीणों (Villagers Protest laying of railway line in nawada) ने रास्ता बाधित होने के कारण ओवरब्रिज एवं रैम्प निर्माण को लेकर रेलवे लाइन बिछाने का विरोध किया है. हरदिया पंचायत के चोरडीहा, कोसदरिया, झराही, पिपरा, परतौनिया, जमुनदाहा, सुअरलेटी, मरमों, कुंभियातरी और भानेखाप गांव के सैकड़ों लोगों ने कार्य पर रोक लगाने की मांग की है. इस संबंध में ग्रामीणों ने एएनपीआर प्रोजेक्ट कम्पनी को एक मांग पत्र भी सौंपा है.
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कई गांवों के लोगों को हो रही परेशानीः गांव के लोगों ने बताया कि ग्रामीणों को आवागमन के लिए डेलवा स्टेशन सुगम साधन है, जो कि एएनपीआर प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड रेलवे कंस्ट्रक्शन हिरावन एएन प्रसाद एवं पीएम सीतारमण राजू के द्वारा कोडरमा-तिलैया से राजगीर-पटना रेलवे लाइन के निर्माण के दौरान बन्द किया जा रहा है. रेलवे कंस्ट्रक्शन कंपनी द्वारा वर्षों से पहाड़ में ब्लास्टिंग कर रेलवे लाइन बिछाने का कार्य किया जा रहा है. जिसके चलते डेलवा स्टेशन तक जाने का रास्ता बंद कर दिया गया है, जिससे वे नवादा, गया एवं कोडरमा तक जाते हैं. ग्रामीणों ने बताया कि रेलवे लाइन बिछाने को लेकर किये जा रहे पहाड़ों में ब्लास्टिंग से डेलवा के दर्जनों घर समेत बिहार सरकार द्वारा निर्मित नवसृजित मध्य विद्यालय डेलवा, सामुदायिक भवन एवं यात्री शेड क्षतिग्रस्त हो गया है. साथ ही सुरंगों पहाड़ से लेकर झराही गांव तक के ग्रामीण कच्ची सड़कों में पानी का छिड़काव नहीं होने से उड़ती धूल ने ग्रामीणों का जीना मुहाल कर दिया है.
"इसके पूर्व भी लिखित और मौखिक दर्जनों बार एएनपीआर प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के कर्मियों से शिकायत की गई थी लेकिन हमारी समस्याओं को नजरअंदाज कर दिया गया. इसलिए अब हमलोगों ने रेलवे लाइन बिछाने के कार्य पर रोक लगा दी है. हमारी मांग है कि चोरडीहा से डेलवा स्टेशन जाने के रास्ते में नया स्टेशन के सामने ओवर ब्रिज पुल का निर्माण कराया जाए, नावाडीह एवं झराही गांव के लोगों के लिए परसाटांड में ओवरब्रिज का निर्माण कराया जाए, डेलवा में गरीब एवं दलित परिवारों के क्षतिग्रस्त मकानों के लिए उचित मुआवजा दिया जाए, डेलवा में क्षतिग्रस्त हुए सरकारी भवनों का मरम्मत किया जाए और सुरांगो पहाड़ से झराही गांव तक कच्ची सड़कों पर पानी गिराया जाए"- स्थानीय ग्रामीण
पदाधिकारियों को सौंपा मांग पत्रः ग्रामीणों ने बताया कि इस मांगों को लेकर रेलवे कंस्ट्रक्शन कंपनी के पदाधिकारियों को आवेदन भी दिया गया है. साथ ही जिलाधिकारी, एसडीओ, बीडीओ और सीओ से न्याय की गुहार लगाई गई है. ग्रामीणों ने बताया कि जब तक हमारी मांगों को पूरा नहीं किया जाता है, तब तक रेलवे लाइन बिछाने कार्य का विरोध जारी रहेगा.