नालंदा: भारत में लोकतंत्र का महापर्व चल रहा है. ऐसे में इस पर्व के लिए जागरूकता अभियान चलाए जा रहे हैं. वहीं, नालंदा में एक गांव ऐसा है, जहां लोकतंत्र की मजबूती के लिए पूजा पाठ की जा रही है. कलश यात्रा और यज्ञ कर लोग मजबूत लोकतंत्र सुनिश्चित हो इसकी मंगल कामना कर रहे हैं.
जिले का रहई प्रखंड के मथुरापुर गांव में स्थानीय लोग मजबूत सरकार और मजबूत लोकतंत्र सुनिश्चित करने के लिए पूजा पाठ और यज्ञ कार्यक्रम कर रहे हैं. यह गांव बिहार शरीफ मुख्यालय से महज 15 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है. मथुरापुर गांव के लोगों की लोकतंत्र के प्रति आस्था मिसाल कायम कर रही है.
कलश यात्रा से करते हैं जागरूक
मथुरापुर गांव के सैकड़ों ग्रामीण गांव-गांव घूमकर लोगों से लोकतंत्र के महान पर्व लोकसभा चुनाव में बढ़-चढ़ कर हिस्सेदारी देने की अपील कर रहे हैं. महिलाएं कलश यात्रा निकाल रही है. वहीं, ग्रामीणों ने मथुरापुर गांव में यज्ञ का भी आयोजन किया ताकि लोग की सदबुद्धि बरकरार रहे और लोग आगामी लोकसभा चुनाव में मतदान करने जाए.
हर साल होता है कार्यक्रम
स्थानीय श्रद्धालु विजय सिंह ने बताया कि गांव में हर साल इस तरह का आयोजन किया जाता है. लेकिन इस बार के आयोजन का खास ही महत्व है. इस बार लोकतंत्र का महापर्व है. वोटरों की सदबुद्धि के लिए भ्रष्ट नेताओं की सदबुद्धि के लिए यज्ञ के जरिए मंगल कामना की जा रही है.
आखिरी चरण में हैं मतदान
नालंदा में सातवें चरण के तहत 19 मई को चुनाव होने हैं. इसके चलते जिला प्रशासन मतदाताओं को जागरूक करने की तमाम कवायद कर रहा है. सीएम नीतीश कुमार का पैतृक जिला है.
नालंदा के बारे में
- अपने प्राचीन इतिहास के लिए नालंदा विश्व प्रसिद्ध है.
- यहां विश्व की सबसे प्राचीन नालंदा विश्वविद्यालय के अवशेष आज भी मौजूद हैं.
- यहां शिक्षा के लिए कई देशों के छात्र आते थे.
- प्रसिद्ध चीनी यात्री ह्वेनसांग ने 7वीं शताब्दी में यहां जीवन का महत्त्वपूर्ण एक वर्ष एक विद्यार्थी और एक शिक्षक के रूप में बिताया था.
- भगवान बुद्ध ने सम्राट अशोक को यहीं उपदेश दिया था.
- भारत सरकार ने नालंदा विश्वविद्यालय को फिर से स्थापित किया है.
- यह बौद्ध अध्ययन का प्रमुख केंद्र बन गया है.
- नालंदा का मुख्यालय बिहारशरीफ है.
लोकसभा चुनाव का इतिहास
- नालंदा से 2014 में जेडीयू प्रत्याशी कौशलेंद्र कुमार ने चुनाव जीता था. उन्होंने लोजपा उम्मीदवार सत्यनंद शर्मा को हराया था.
- 2009 के चुनाव में भी जेडीयू और एलजेपी के बीच टक्कर रही. जेडीयू प्रत्याशी कौशलेंद्र कुमार ने एलजेपी के सतीश कुमार को हराया.
- 1999 से लेकर 2014 तक के लोकसभा चुनाव में जेडीयू ही यहां से जीत हासिल करती रही है. इस कारण इस क्षेत्र को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का सुरक्षित दुर्ग माना जाता है.
लोकसभा चुनाव- 2019
- इस बार भी एनडीए गठबंधन ने कौशलेंद्र कुमार को टिकट दी है.
- वहीं, महागठबंधन के हम प्रत्याशी अशोक कुमार आजाद हैं.
- नालंदा संसदीय क्षेत्र में कुल वोटरों की संख्या 1,719,503 है.
- यहां 803,727 महिला और 915,776 पुरुष मतदाता हैं.