मुजफ्फरपुर: योग गुरु बाबा रामदेव एक बार फिर अपने ही विवादित बयान को लेकर घिर गए हैं. उनकी मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही है. योग गुरु के खिलाफ मुजफ्फरपुर के सीजेएम कोर्ट में परिवाद दायर किया गया है. दरअसल राजस्थान के बाड़मेर में धार्मिक कार्यक्रम में सभा को संबोधित करते हुए योग गुरु बाबा रामदेव ने विवादित बयान दिया था. इसी बयान को लेकर बिहार के मुजफ्फरपुर जिले के अहियापुर के रहने वाले सामाजिक कार्यकर्ता तमन्ना हाशमी ने सीजेएम की अदालत में उनके खिलाफ परिवाद दायर किया है.
पढ़ें- महिलाओं के कपड़ों पर टिप्पणी को लेकर बाबा रामदेव के खिलाफ मुजफ्फरपुर सीजेएम कोर्ट में परिवाद दायर
योग गुरु बाबा रामदेव के खिलाफ परिवाद: योग गुरु बाबा रामदेव पर 195, 295,298(क),298 (ख) और 504 भा.द.वी. में कोर्ट परिवाद दर्ज कराया गया है. मामले में न्यायालय ने अगली सुनवाई की तिथि 16 फरवरी मुकर्रर की है. इससे पहले भी नवंबर 2022 में बाबा रामदेव के खिलाफ महिलाओं के कपड़े पर टिप्पणी को लेकर सीजेएम कोर्ट में परिवाद दायर किया गया था.
बाबा रामदेव का विवादित बयान: दरअसल बाबा रामदेव ने बाड़मेर में कहा था कि 'चारों तरफ समाज में पाप बढ़ रहा है. इस पाप को खत्म करने के लिए बड़े से लेकर बच्चों तक को काम करना होगा.' उन्होंने धर्म विशेष पर टिप्पणी करते हुए कहा कि 'उसका धर्म क्या कहता है.. कहेगा कि दिन में 5 बार नमाज पढ़ें और फिर जो मन में आए वो करो, चाहे जितना पाप करो. वह इस्लाम का मतलब नमाज ही समझते हैं. मुसलमान नमाज जरूर पढ़ते हैं क्योंकि उन्हें यही सिखाया जाता है. नमाज पढ़कर कुछ भी करो लेकिन हिंदू धर्म में ऐसा नहीं सिखाया जाता.' इस दौरान योग गुरु ने सनातन धर्म की प्रशंसा की और पीएम नरेंद्र मोदी और उनके कार्यों को सराहा.