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यहां पिछले 14 सालों से महिलाएं ही कर रही हैं दुर्गा पूजा का आयोजन, देखें इस बार क्या है थीम

कोमल है कमजोर नहीं तू, शक्ति का नाम ही नारी है.. इस कहावत को सत्य कर दिखाया है किशनगंज जिले की इन महिलाओं ने. यहां पंडाल में सिर्फ महिलाएं ही मिलकर दुर्गा पूजा के कार्यों को संभालती हैं.

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Published : Oct 14, 2021, 8:03 AM IST

किशनगंज: यूं ही नहीं हमारे देश में महिलाओं को देवियों का रूप कहा जाता है. हर क्षेत्र और हर मौके पर महिलाएं खुद को साबित करती आ रही हैं. ऐसा ही एक ऐतिहासिक कार्य किशनगंज जिले की 20 महिलाएं पिछले 14 वर्षों से करती आ रही हैं. जहां महिलाओं के हाथों ही दुर्गा पूजा (Durga Puja In Kishanganj) की पूरी कमान सौंपी जाती है. पूजा कमेटी की संरक्षक से लेकर स्वयंसेवक के रूप में महिलाएं ही जिम्मेदारी उठती हैं. इस वर्ष भी नारी शक्ति हर्षोल्लास और पूरे जज्बे के साथ दुर्गा पूजा मना रही हैं.

इसे भी पढ़ें: वैक्सीन देती हेल्थ वर्कर.. ऑक्सीजन मास्क लगाए ट्री मैन.. कुछ ऐसे संदेश के साथ मनाया जा रहा दुर्गा पूजा

किशनगंज अस्पताल रोड स्थित शीतला मंदिर (Sheetla Mandir In Kishanganj) में आयोजित दुर्गा पूजा में महिलाओं की सौ फीसदी भागीदारी रहती है. यहां महिलाएं अपने-अपने घर के कामकाज के साथ-साथ चंदा काटना, मूर्ति स्थापित करने समेत विसर्जन तक की जिम्मेदारी खुद लेती हैं. इन महिलाओं के घर के सदस्य के साथ-साथ स्थानीय लोग भी इनका हौसला अफजाही करते हैं.

देखें रिपोर्ट

ये भी पढ़ें: बिहार के इस गांव में देवी के रूप में होती है बुद्ध की पूजा, मन्नत पूरी होने पर चढ़ाते हैं मुर्गा और शराब

वर्ष 2007 से 25 महिलाएं महिला समिति नामक टीम गठित कर धूमधाम से मां दुर्गा की पूजा अर्चना करते चली आ रही हैं. महिलाओं की मान्यता है कि जो भी श्रद्धालु सच्चे दिल से मन्नत मांगते हैं, माता रानी अंबे उनकी मुरादें जरूर पूरी करती हैं. आज तक कोई भी श्रद्धालु मां दुर्गा के इस मंदिर से खाली हाथ नहीं लौटा है.


वैसे, तो हर साल महिला समिति के माध्यम से विभिन्न सामाजिक मुद्दों पर थीम बनाकर पूजा का आयोजन किया जाता रहा है. इस वर्ष कोरोना में महिला शक्ति के अभूतपूर्व योगदान को देखते हुए आयोजन की थीम महिला सशक्तिकरण ही रखा गया है. इसके साथ ही पूजा पंडाल में कोविड प्रोटोकॉल का पालन भी किया जा रहा है.

किशनगंज: यूं ही नहीं हमारे देश में महिलाओं को देवियों का रूप कहा जाता है. हर क्षेत्र और हर मौके पर महिलाएं खुद को साबित करती आ रही हैं. ऐसा ही एक ऐतिहासिक कार्य किशनगंज जिले की 20 महिलाएं पिछले 14 वर्षों से करती आ रही हैं. जहां महिलाओं के हाथों ही दुर्गा पूजा (Durga Puja In Kishanganj) की पूरी कमान सौंपी जाती है. पूजा कमेटी की संरक्षक से लेकर स्वयंसेवक के रूप में महिलाएं ही जिम्मेदारी उठती हैं. इस वर्ष भी नारी शक्ति हर्षोल्लास और पूरे जज्बे के साथ दुर्गा पूजा मना रही हैं.

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किशनगंज अस्पताल रोड स्थित शीतला मंदिर (Sheetla Mandir In Kishanganj) में आयोजित दुर्गा पूजा में महिलाओं की सौ फीसदी भागीदारी रहती है. यहां महिलाएं अपने-अपने घर के कामकाज के साथ-साथ चंदा काटना, मूर्ति स्थापित करने समेत विसर्जन तक की जिम्मेदारी खुद लेती हैं. इन महिलाओं के घर के सदस्य के साथ-साथ स्थानीय लोग भी इनका हौसला अफजाही करते हैं.

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वर्ष 2007 से 25 महिलाएं महिला समिति नामक टीम गठित कर धूमधाम से मां दुर्गा की पूजा अर्चना करते चली आ रही हैं. महिलाओं की मान्यता है कि जो भी श्रद्धालु सच्चे दिल से मन्नत मांगते हैं, माता रानी अंबे उनकी मुरादें जरूर पूरी करती हैं. आज तक कोई भी श्रद्धालु मां दुर्गा के इस मंदिर से खाली हाथ नहीं लौटा है.


वैसे, तो हर साल महिला समिति के माध्यम से विभिन्न सामाजिक मुद्दों पर थीम बनाकर पूजा का आयोजन किया जाता रहा है. इस वर्ष कोरोना में महिला शक्ति के अभूतपूर्व योगदान को देखते हुए आयोजन की थीम महिला सशक्तिकरण ही रखा गया है. इसके साथ ही पूजा पंडाल में कोविड प्रोटोकॉल का पालन भी किया जा रहा है.

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