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मोतिहारी: लगातार बढ़ रहा लालबकेया नदी का जलस्तर, कुसमहवा के पास टूटी सड़क

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Published : Jul 13, 2020, 10:52 PM IST

लालबकेया नदी का जलस्तर बीते दो दिनों से खतरे के निशान से ऊपर बह रही थी. सोमवार को नदी का जलस्तर स्थिर रहा. लेकिन नदी का पानी इलाके में फैल चुका है. दर्जनों गांव को प्रखंड मुख्यालय से संपर्क भंग हो चुका है.

मोतिहारी
मोतिहारी

पूर्वी चंपारण(मोतिहारी): लगातार हो रही बारिश के बाद जिले की विभिन्न नदियों का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर बढ़ने लगा है. लालबकेया नदी का जलस्तर भी लगातार बढ़ रहा है. पानी का दबाब ढ़ाका-फुलवरिया पथ पर सबसे ज्यादा बना हुआ है. जबकि, कुशमहवा के पास लगभग 25 फीट में सड़क टूट चुका है. जिस वजह से इलाके में सड़क पर आवागमन पूरी तरह से ठप हो चुका है.

'प्रखंड मुख्यालय से भंग हो कई गांवों का संपर्क'
कुशमहवा गांव के रहने वाले ग्रामीण सरयू ठाकुर ने बताया कि लालबकेया नदी का पानी चारो तरफ फैला चुका है. पानी के दबाब के कारण सड़क मार्ग टूट गया है. सड़क टूटने से कई गांव में बाढ़ का पानी प्रवेश करने लगा है. खेतों में लगे सैकड़ों एकड़ के फसल डूब गए है.

इलाके में फैला बाढ का पानी
इलाके में फैला बाढ का पानी

वहीं कमरुल होदा ने बताया कि सड़क टूटने से आवागमन ठप हो गया है. पानी का बहाव काफी तेज है. सड़क पार करने का कोई साधन नहीं है. ढ़ाका अनुमंडल और प्रखंड मुख्यालय से चंदनबारा, गुआबारी, फुलवरिया, दोस्तिया और महुआवा समेत कई गांव से संपर्क भंग हो चुका है.

ईटीवी भारत की रिपोर्ट

नदी का पानी फिलहाल स्थिर
गौरतलब है कि लालबकेया नदी का जलस्तर बीते दो दिनों से खतरे के निशान से ऊपर बह रहा था. सोमवार को नदी का जलस्तर खतरे के निशान पर स्थिर बना हुआ है. लेकिन जलस्तर बढ़ने के कारण नदी का पानी इलाके में फैल चुका है.

सड़क मार्ग के ऊपर से बह रहा पानी
सड़क मार्ग के ऊपर से बह रहा पानी

हीरापुर के पास से ढ़ाका के तरफ लालबकेया के पानी का बहाव बढ़ने से ढ़ाका के विभिन्न सड़कों पर उसका दबाब बढ़ गया है. जिस वजह से कुशमहवा के पास सड़क टूट गया. पानी के तेज बहाव के कारण कई अन्य जगह पर भी सड़क टूटने लगी है. सड़क को रिस्टोर करने की दिशा में प्रशासनिक स्तर पर कोई पहल शुरु नहीं हो सकी है.

पूर्वी चंपारण(मोतिहारी): लगातार हो रही बारिश के बाद जिले की विभिन्न नदियों का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर बढ़ने लगा है. लालबकेया नदी का जलस्तर भी लगातार बढ़ रहा है. पानी का दबाब ढ़ाका-फुलवरिया पथ पर सबसे ज्यादा बना हुआ है. जबकि, कुशमहवा के पास लगभग 25 फीट में सड़क टूट चुका है. जिस वजह से इलाके में सड़क पर आवागमन पूरी तरह से ठप हो चुका है.

'प्रखंड मुख्यालय से भंग हो कई गांवों का संपर्क'
कुशमहवा गांव के रहने वाले ग्रामीण सरयू ठाकुर ने बताया कि लालबकेया नदी का पानी चारो तरफ फैला चुका है. पानी के दबाब के कारण सड़क मार्ग टूट गया है. सड़क टूटने से कई गांव में बाढ़ का पानी प्रवेश करने लगा है. खेतों में लगे सैकड़ों एकड़ के फसल डूब गए है.

इलाके में फैला बाढ का पानी
इलाके में फैला बाढ का पानी

वहीं कमरुल होदा ने बताया कि सड़क टूटने से आवागमन ठप हो गया है. पानी का बहाव काफी तेज है. सड़क पार करने का कोई साधन नहीं है. ढ़ाका अनुमंडल और प्रखंड मुख्यालय से चंदनबारा, गुआबारी, फुलवरिया, दोस्तिया और महुआवा समेत कई गांव से संपर्क भंग हो चुका है.

ईटीवी भारत की रिपोर्ट

नदी का पानी फिलहाल स्थिर
गौरतलब है कि लालबकेया नदी का जलस्तर बीते दो दिनों से खतरे के निशान से ऊपर बह रहा था. सोमवार को नदी का जलस्तर खतरे के निशान पर स्थिर बना हुआ है. लेकिन जलस्तर बढ़ने के कारण नदी का पानी इलाके में फैल चुका है.

सड़क मार्ग के ऊपर से बह रहा पानी
सड़क मार्ग के ऊपर से बह रहा पानी

हीरापुर के पास से ढ़ाका के तरफ लालबकेया के पानी का बहाव बढ़ने से ढ़ाका के विभिन्न सड़कों पर उसका दबाब बढ़ गया है. जिस वजह से कुशमहवा के पास सड़क टूट गया. पानी के तेज बहाव के कारण कई अन्य जगह पर भी सड़क टूटने लगी है. सड़क को रिस्टोर करने की दिशा में प्रशासनिक स्तर पर कोई पहल शुरु नहीं हो सकी है.

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