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मिठाई और राखी से पटा है बाजार, स्वतंत्रता दिवस लगा रहा चार चांद - बिहार

स्वतंत्रता दिवस और रक्षाबंधन दोनों एक ही दिन है. इसको लेकर बाजार में चहल पहल देखने को मिल रही है. राखी के साथ मिठाई की भी दुकानें सज गई है.

राखियों से सजा बजार
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Published : Aug 14, 2019, 11:54 PM IST

दरभंगा : 15 अगस्त इस बार और भी खास है क्योंकि स्वतंत्रता दिवस और रक्षाबंधन एक साथ दोनों पर्व मनाया जाएगा. पूरे देश में स्वतंत्रता दिवस को लेकर खुशी का महौल है, तो दूसरी तरफ रक्षाबंधन की तैयारी भी हो रही है. रक्षाबंधन को लेकर बाजार राखियों से सज गए हैं.

दरभंगा
मीठाई से सजी दुकानें

दस रुपया से लेकर तीन सौ रुपया तक की राखी

बाजार में राखी की दुकानों पर अंतिम पलों में भी युवतियों और महिलाओं की भीड़ दिख रही है. बाजार में दस रुपए से लेकर तीन सौ तक की राखी उपलब्ध है. जड़ी, एडी नग, रुद्राक्ष, और मोतीयों से बनी राखियों की डिमांड है. वहीं, बच्चों के लिए कार्टून वाली राखियों की खरीदारी ज्यादा हो रही है. व्यवसाइयों की मानें तो पिछले साल से इस बार बाजार में कम भीड़ है.

दरभंगा
राखियों से सजा बजार

राखी के दामों में दोगुना बढ़ोतरी

राखी के बाजार में बाढ़ का असर दिख रहा है. राखी की खरीदारी करने पहुंची प्रियंका कहती हैं कि इस साल राखी के दामों में लगभग दोगुना बढ़ोतरी हुई है. पिछले साल जिस राखी को हमने 20 रुपये में ली थी वह इस बार 40 रुपये में मिल रही है. वहीं, राखी व्यवसायी श्रवण खंडेलवाल ने कहा कि बाढ़ के कारण बाजार मंदा चल रहा है.

दरभंगा
राखी खरीदते लोग

राखी में भाई, बहन के घर जाते है

देश के साथ-साथ मिथिला में बड़े धूमधाम और आस्था के साथ इस त्योहार को मनाया जाता है. राखी खरीदने आए नवेन्दु शेखर कहते हैं कि मिथिला में भाई-बहन के दो त्यौहारों को बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है. एक भईया दूज और दूसरा रक्षाबंधन. भईया दूज में बहनें भाई के घर आती हैं, तो राखी में भाई बहन के घर जाते हैं.

रक्षाबंधन की खरीदारी करते लाग

मिठाई से सजी दुकानें

स्वतंत्रता दिवस और रक्षाबंधन दोनों एक ही दिन है. जिसको लेकर बजार में मिठाई कि दुकानें सज गई हैं. लेकिन, मिठाई व्यवसाई राखी की मंदी को देखते हुए कहते हैं कि तैयारियां तो हम कर लिए हैं, पर बाजार की हालात ठीक नहीं लग रही है.

दरभंगा
मिठाई से सजी दुकानें

दरभंगा : 15 अगस्त इस बार और भी खास है क्योंकि स्वतंत्रता दिवस और रक्षाबंधन एक साथ दोनों पर्व मनाया जाएगा. पूरे देश में स्वतंत्रता दिवस को लेकर खुशी का महौल है, तो दूसरी तरफ रक्षाबंधन की तैयारी भी हो रही है. रक्षाबंधन को लेकर बाजार राखियों से सज गए हैं.

दरभंगा
मीठाई से सजी दुकानें

दस रुपया से लेकर तीन सौ रुपया तक की राखी

बाजार में राखी की दुकानों पर अंतिम पलों में भी युवतियों और महिलाओं की भीड़ दिख रही है. बाजार में दस रुपए से लेकर तीन सौ तक की राखी उपलब्ध है. जड़ी, एडी नग, रुद्राक्ष, और मोतीयों से बनी राखियों की डिमांड है. वहीं, बच्चों के लिए कार्टून वाली राखियों की खरीदारी ज्यादा हो रही है. व्यवसाइयों की मानें तो पिछले साल से इस बार बाजार में कम भीड़ है.

दरभंगा
राखियों से सजा बजार

राखी के दामों में दोगुना बढ़ोतरी

राखी के बाजार में बाढ़ का असर दिख रहा है. राखी की खरीदारी करने पहुंची प्रियंका कहती हैं कि इस साल राखी के दामों में लगभग दोगुना बढ़ोतरी हुई है. पिछले साल जिस राखी को हमने 20 रुपये में ली थी वह इस बार 40 रुपये में मिल रही है. वहीं, राखी व्यवसायी श्रवण खंडेलवाल ने कहा कि बाढ़ के कारण बाजार मंदा चल रहा है.

दरभंगा
राखी खरीदते लोग

राखी में भाई, बहन के घर जाते है

देश के साथ-साथ मिथिला में बड़े धूमधाम और आस्था के साथ इस त्योहार को मनाया जाता है. राखी खरीदने आए नवेन्दु शेखर कहते हैं कि मिथिला में भाई-बहन के दो त्यौहारों को बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है. एक भईया दूज और दूसरा रक्षाबंधन. भईया दूज में बहनें भाई के घर आती हैं, तो राखी में भाई बहन के घर जाते हैं.

रक्षाबंधन की खरीदारी करते लाग

मिठाई से सजी दुकानें

स्वतंत्रता दिवस और रक्षाबंधन दोनों एक ही दिन है. जिसको लेकर बजार में मिठाई कि दुकानें सज गई हैं. लेकिन, मिठाई व्यवसाई राखी की मंदी को देखते हुए कहते हैं कि तैयारियां तो हम कर लिए हैं, पर बाजार की हालात ठीक नहीं लग रही है.

दरभंगा
मिठाई से सजी दुकानें
Intro:सावन की पूर्णिमा को रक्षाबंधन पर्व धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन बहनें अपने भाइयों की कलाई पर रक्षा सूत्र बांधकर उनकी लंबी उम्र की कामना करती है और बदले में भाई भी अपनी बहन की रक्षा करने का वचन देते हैं। इस साल 15 अगस्त को रक्षाबंधन का पर्व मनाया जायेगा। 15 अगस्त का दिन इस बार खास मायने रखता है, क्योंकि इस साल पूरे देश में स्वतंत्रता दिवस के साथ भाई बहन के प्यार का प्रतीक पर्व रक्षाबंधन भी मनाया जा रहा है। जिसको लेकर राखियों की दुकान पर युवती व महिलाओं की भीड़ पहुंचकर अपनी पसंद के हिसाब से राखी की खरीदारी भी कर रहे है।


बाजार में दस रुपया से लेकर तीन सौ रुपया तक की राखी उपलब्ध है। जिसमे जड़ी, एडी नग, रुद्राक्ष, मोती से बनी राखियां की खूब बिक हो रही है। वहीं बच्चे के लिए चाइनीज, कार्टून और खिलौने वाली राखियों की ख़रीदारी ज्यादा कर रहे है। वही व्यवसाइयों की माने तो राखी के बाजार में बाढ़ का सीधा असर देखने को मिल रहा है। क्योंकि पिछले साल जो खरीदारी के लिए लोगो की भीड़ थी, वो इस बार देखने को नही मिल रही है। वहीं राखी के लिए कई तरह के गिफ्ट भी बाजार में उपलब्ध हैं। गिफ्ट पैक में सूखे मेवे से बनी मिठाई, टॉफियों का गिफ्ट पैक और विभिन्न प्रकार की मिठाईयां जो तीन सौ रुपया से लेकर पन्द्रह सौ रुपया तक उपलब्ध है।







Body:वही अपने भाई के लिए राखी की खरीदारी करने पहुंची प्रियंका ने कहा कि, साल के साथ तो हरेक बार मंहगाई तो बढ़ती है। इस साल भी राखी के बाजार में लगभग दोगुना की बढ़ोतरी हुई है। वहीं उन्होंने कहा कि पिछले साल इस राखी को हमने 20 रुपया में खरीदारी की थी। लेकिन इस बार यह राखी 40 रुपया में मिल रहा है।

वहीं राखी के होलसेल व्यवसाई श्रवण खंडेलवाल की मानें तो बाढ़ के कारण बाजार मंदा चल रहा है। वैसे तो खुदरा बिक्री चलते ही रहता है। वहीं उन्होंने कहा कि 10 रुपया से लेकर 300 रुपया तक कि राखी बिक्री के लिए उपलब्ध है। लेकिन खरीदार 25 रुपया से लेकर 50 रुपया तक की राखी की खरीदारी ज्यादा कर रहे हैं। साथ ही उन्होंने कहा कि लड़कियां इस बार एडी नग की राखी की खरीदारी ज्यादा कर रही हैं, तो वही बच्चे डोरेमोन, मोटू-पतलू, स्पाइडर मैन की राखी ज्यादा पसंद कर रहे हैं।




Conclusion:वहीं राखी की खरीदारी करने पहुंचे नवेन्दु शेखर ने कहा कि राखी भाई बहन के अनूठे प्रेम का पर्व है। पूरे देश के साथ साथ मिथिला में भी बड़े धूमधाम से आस्था के साथ इस त्योहार को हमलोग मनाते हैं। इसमें रक्षा सूत्र बांधने की परंपरा है, बहन-भाई की कलाई पर रक्षा सूत्र बांधती है, तो उसके बदले भाई जीवन भर उसके रक्षा का वचन देते हैं। वहीं उन्होंने कहा कि मिथिला में भाई के दो पर्व को बड़ी धूमधाम से मनाये जाते हैं। भईया दूज और रक्षाबंधन। भईया दूज में बहने भाई के घर जाते हैं, तो वही राखी में भाई बहन के घर जाते हैं। वहीं उन्होंने कहा कि इसका इतिहासिक पृष्ठभूमि भी है, तो दूसरी और सामाजिक सरोकार भी है।

वहीं मिठाई विक्रेता बंटी की माने तो बाढ़ को लेकर राखी का बाजार तो हम लोगों को अच्छा समझ में नहीं आ रहा है। फिर भी हमलोगों ने अपने स्तर से तैयारी पूरी की है। हमारे यहां तीन सौ रुपए प्रति किलो से लेकर पंद्रह सौ रूपए प्रति किलो की मिठाई उपलब्ध है। वहीं उन्होंने कहा कि हमारे यहां राखी के लिए एक स्पेशल केक का एडिशन हुआ है। जिसकी कीमत हमलोगों ने सौ रुपया रखा है, जिसे लोग बड़े चाव से खरीद रहे हैं। साथ ही उन्होंने उम्मीद है कि 15 अगस्त और राखी एक साथ होने के चलते बिक्री अच्छी होगी।

Byte ------------
प्रियंका झा, खरीदार
नवेन्दु शेखर, खरीदार
बंटी कुमार, मिठाई दुकानदार
श्रवण कुमार खंडेलवाल, राखी दुकानदार
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