दरभंगाः बिहार की राजधानी पटना के फुलवारीशरीफ टेरर मॉड्यूल (Phulwari Sharif PFI Terror Module) में पीएफआई (PFI) संगठन से जुड़े आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद हर रोज नए खुलासे सामने आ रहे हैं. इस बीच बिहार सरकार के श्रम संसाधन मंत्री जीवेश मिश्रा (Jivesh Mishra Said PFI Attacked On Him Four Years Ago) ने कहा कि आज से 4 साल पहले हमारे ऊपर जाले विधानसभा के भरवारा में जो हमला हुआ था, उस वक्त तथाकथित रूप से लोगों ने पीएफआई का ही नाम लिया था. वहीं, उन्होंने ये भी कहा कि पीएफआई से जुड़े हुए लोगों ने पिछले विधानसभा चुनाव में जाले विधानसभा से चुनाव भी लड़ा था. इससे स्पष्ट होता है कि पीएफआई की सक्रियता दरभंगा जिला में कहीं ना कहीं बनी हुई है.
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"जब तक किसी संस्थान के खिलाफ कोई साक्ष्य या प्रमाण नहीं मिल जाता, तब तक सरकार किसी प्रकार की कोई कार्रवाई नहीं करती है. इस वक्त सरकार ने साक्ष्य जुटा लिया है. निश्चित तौर पर कार्रवाई होगी. जिस प्रकार का वातावरण पटना में बना है उसके बाद सभी साक्ष्य की जांच देश की सर्वोच्च संस्था कर रही है. इसमें जो भी दोषी पाए जाएंगे वह बख्शे नहीं जाएंगे. राष्ट्र के विरोध में काम करने वाले संगठनों को निश्चित तौर पर प्रतिबंधित किया जाएगा और उसको कठोर नहीं बल्कि कठोरतम सजा दी जाएगी"- जीवेश मिश्रा, श्रम संसाधन मंत्री
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आपको बता दें कि फुलवारीशरीफ मामले की जांच अब केंद्रीय जांच एजेंसी एनआईए (NIA) करेगी. इस संबंध में गृह मंत्रालय ने नोटिस भी जारी कर दी है. फुलवारीशरीफ मामले में अब पीएफआई (PFI) संस्था की ओर से संदिग्ध गतिविधियों और पाकिस्तान समेत कई अन्य देशों से जुड़े कनेक्शन के आरोपों की विस्तार से NIA जांच करेगी. इस बात जानकारी सार्वजनिक होते ही बिहार सरकार के श्रम संसाधन मंत्री जीवेश मिश्रा ने कहा कि जब भी देश में एनडीए की सरकार आई है. राष्ट्र विरोधी काम करने वाली संस्थाओं पर नकेल कसने का काम किया गया है.