दरभंगा : आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम में जहरीली गैस लीक कांड के बाद बिहार की उन 55 बच्चियों के परिजन बेहद चिंतित हैं, जो वहां फंसी हुई हैं. ये सभी बच्चियां वहां के एक इंस्टिट्यूट में पढ़ाई करती हैं और लॉकडाउन की वजह से पिछले 40 दिनों से वहां फंसी हुई हैं. ये सभी लड़कियां बेहद डरी हुई हैं और उनका कहना है कि गैस की हल्की महक उनके हॉस्टल तक पहुंच चुकी हैं.
इसके पहले ये लड़कियां कई बार बिहार की सरकार से इन्हें वापस बुलाने की गुहार लगा चुकी हैं. इनके परिजन भी कई बार पास बनवाने की नाकाम कोशिश कर चुके हैं. ईटीवी भारत संवाददाता विजय कुमार श्रीवास्तव ने दरभंगा की उन दो बच्चियों के परिजनों से बात की जो विशाखापट्टनम में फंसी हुई हैं.
'गैस लीक होने से दहशत में हैं बच्चियां'
एक बच्ची की मां सुधा ठाकुर ने कहा कि उनकी बच्ची वंशिका बेहद डरी हुई है. लॉकडाउन में पहले से परेशान थी, अब गैस लीक होने से वह ज्यादा डर गई है. बच्चियां पहले से घर आने की गुहार लगा रही थीं. लेकिन अब तो गैस लीक होने और उसकी महक से दहशत में हैं. वहीं, उन्होंने कहा कि यहां उन लोगों को भी कुछ अच्छा नहीं लग रहा है.
'बाकी जगह फंसे बच्चों की कोई चिंता नहीं'
बच्ची के पिता अन्नू ठाकुर ने कहा कि वे बिहार के मुख्यमंत्री और उप मुख्यमंत्री जी से गुहार करते हैं कि अगर वे उनकी बच्चियों को नहीं ला सकते हैं, तो परिजनों को पास दिलाएं ताकि वे खुद जाकर उन्हें ला सकें. वहीं, उन्होंने कहा कि सरकार केवल कोटा के बच्चों को लाने में रुचि ले रही है, उसे बाकी जगह फंसे बच्चों की कोई चिंता नहीं है.
अवसाद से ग्रसित है बच्ची
दूसरी बच्ची अनुपमा शेखर के पिता प्रभात शंकर झा ने कहा कि वे कई बार सरकार और डीएम के पास आवेदन कर चुके हैं. लेकिन उनकी फरियाद नहीं सुनी गई. बच्ची अवसाद से ग्रसित है. उन्होंने मेडिकल रिपोर्ट के साथ प्रशासन से अनुमति पत्र निर्गत करने की मांग की है, लेकिन अब तक अनुमति नहीं मिल सकी है.