बक्सरः उत्तरी बिहार के 12 जिले बाढ़ प्रभावित है. करीब 10 लाख की आबादी बाढ़ की चपेट में है. लोग जान बचाने के लिए घर के सामान और मवेशियों को छोड़कर नेशनल हाईवे और दूसरे ऊंचाई वाले स्थानों पर शरण ले रहे हैं. कई नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. दिन प्रतिदिन बाढ़ का प्रकोप और तेज होता जा रहा है. गोपालगंज, मोतिहारी, समस्तीपुर, मुजफ्फरपुर और दरभंगा समेत कई जिला में भयावह स्थिति होती जा रही है.वहीं, बक्सर में लगतार गंगा के जलस्तर नीचे ही गिरता जा रहा है. जिससे गंगा के तटवर्ती इलाकों में रहने वाले लोगो के साथ-साथ जिला प्रशासन के अधिकारी भी राहत में हैं.
इस प्रकार रहा गंगा नदी का जलस्तर
- 25 जुलाई - 53.49 मीटर
- 26 जुलाई - 53. 45 मीटर
- 27 जुलाई - 53.37 मीटर
- 28 जुलाई - 53.32 मीटर
- 29 जुलाई - 53.28 मीटर
- 30 जुलाई - 53.20 मीटर
क्या कहते हैं केंद्रीय जल आयोग के अभियंता
केंद्रीय जल आयोग के सहायक अभियंता राजेश्वर चौधरी ने बताया कि गंगा का जलस्तर लगतार नीचे ही गिरता जा रहा है. बक्सर में 60.320 मीटर खतरे के निशान माना जाता है. जबकि 59.320 चेतावनी बिंदु है. गंगा का जल स्तर चेतावनी बिंदु से 6 मीटर नीचे है. वर्तमान में दूर-दूर तक गंगा का जलस्तर बढ़ने की कोई संभावना नहीं दिखाई दे रही है. लोगों को परेशान होने की कोई जरूरत नहीं है.
तत्पर है जिला प्रशासन- डीएम
कोरोना वैश्विक महामारी के बीच जिला प्रशासन और बाढ़ नियंत्रण विभाग ने सारी तैयारियां पूरी कर ली है. पर्याप्त संख्या में वोट की उपलब्धता से लेकर बक्सर-कोईलवर तटबंध पर बोरे में बालू भरकर रख दिया गया है. प्रशासनिक तैयारी को लेकर डीएम अमन समीर ने कहा कि गंगा का पानी खतरे के निशान से दूर है. फिलहाल जिले में स्थिति सामान्य है. फिर भी प्रशासन किसी भी परिस्थिति से निपटने के लिए हम पूरी तरह से तैयार हैं.