भोजपुरः वर्दी के नशे में जिले की पुलिस इन दिनों चूर है. लॉकडाउन का पालन करवाने के नाम पर वर्दी की तौहीनी कराने से पुलिस थक नहीं रही है. मामला गड़हनी बाजार का है जहां लॉकडाउन की स्थिति का जायजा लेने और पालन करवाने को लेकर गड़हनी थानाध्यक्ष संतोष रजक दल बल के साथ निकले थे. इस दौरान उन्हें एक दुकान खुला दिखाई दिया. जिसके बाद दारोगा जी सारी मर्यादाओं को तोड़ते हुए मौजूद महिलाओं के साथ बदतमीजी करते हुए उन्हें पीटने और जेल भेजने की धमकी दे डाली. पुलिस की इस शर्मनाक हरकत का वीडियो वायरल हो रहा है.
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दारोगा ने मोबाइल छीनकर फेंका
पीड़ित परिजनों ने बताया कि घर ही में वे कुछ सामान रखते हैं. इस लिहाज से उसका दरवाजा खुला था. दरवाजा खुला देखकर पुलिस वहां पहुंची और महिलाओं के साथ बदतमीजी से पेश आई. वहीं परिजनों ने बताया कि दारोगा ने उन्हें भद्दी-भद्दी गालियां भी दी, और जेल भेजने की धमकी दी. इतना से भी जब दारोगा का मन नहीं भरा तो उसने हाथ से मोबाइल छीनकर फेंक दिया. परिजनों ने बताया कि दुकानें खोलने पर प्रतिबंध है, न कि घर को बंद करने का. इस घटना के बाद हर कोई वर्दी की हनक में दारोगा की आलोचना कर रहा है.
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सवालों के घेरे में पुलिसिया तंत्र
इस घटना के संदर्भ में अब तक आधिकारिक बयान नहीं आया है. हांलाकि पुलिस कप्तान राकेश दूबे ने फोन पर बताया कि उन्हें इस संबंध में जानकारी नहीं है. वायरल वीडियो को देखने के बाद ही कुछ भी कहा जा सकता है. दारोगा की इस हरकत के बाद पुलिस प्रशासन सवालों के घेरे में आ गया है. सवाल ये कि लॉकडाउन पालन के नाम पर पुलिस लोगों के साथ बर्बर रवैया क्यों अपना रही है?
बता दें कि दो दिन पहले भी जिले की पुलिस के न्याय का देवता बन जाने के बाद तौहीनी हुई थी. जिसमें थानाध्यक्ष की मौजूदगी में छेड़खानी के आरोपियों की युवती से पिटाई करवाई गई थी.