बेगूसराय: जिले में नागरिकता संशोधन बिल के खिलाफ लगातार प्रदर्शन का दौर जारी है. इसी क्रम में गुरुवार को अधिवक्ता विचार मंच ने भी विरोध करते हुए शांति मार्च निकालकर और इस कानून को काला कानून करार दिया. मार्च के दौरान अधिवक्ताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमित शाह को जमकर कोसा और कहा कि सरकार आपसी भाईचारे को खत्म करना चाहती है. साथ ही सरकार पर अधिवक्ताओं की समस्या सहित 10 सूत्री मांगों का ज्ञापन जिलाधिकारी को सौंपा.
'संविधान की मूल प्रस्तावना को तोड़ने का काम'
इस दौरान अधिवक्ताओं ने इस कानून की खामियों को बताया और कहा कि देश में भुखमरी, बेरोजगारी और दूसरी अनेकों समस्याएं हैं. ऐसे में दूसरे देशों के लोगों को यहां बुलाकर सरकार क्या स्थिती उत्पन्न करना चाहती है. प्रतिरोध मार्च में शामिल हजारों लोग एनआरसी और नागरिकता संशोधन बिल के खिलाफ जमकर नारेबाजी किया. प्रदर्शन के दौरान अधिवक्ताओं ने कहा कि नागरिकता संशोधन बिल ने देश के संविधान की मूल प्रस्तावना को तोड़ने का काम किया है.