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कन्या उत्थान योजना की बढ़ी राशि, बांका में लड़कियों ने जाहिर की खुशी

नीतीश सरकार ने कन्या उत्थान योजना की राशि में बढ़ोतरी की है. जिसे बांका में लड़कियां ऐतिहासिक फैसला बता रही हैं.

बेटियां
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Published : Feb 3, 2021, 4:57 PM IST

बांका: नीतीश सरकार ने कैबिनेट की बैठक में लड़कियों की शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए बड़ा फैसला लिया है. मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के तहत कन्याओं को दी जाने वाली राशि में दोगुनी बढ़ोतरी कर दी गई है. इंटर पास करने पर 25 हजार और ग्रेजुएट होने पर 50 हजार दिए जाने का निर्णय लिया गया है. इस फैसले से बांका की छात्राओं ने खुशी जाहिर की है.

आर्थिक तंगी के कारण नहीं बढ़ पाती हैं लड़कियां
मुख्यमंत्री की इस घोषणा से बांका जैसे पिछड़े जिले की लड़कियों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है. यहां के अधिकांश अभिभावक खेती और किसानी करते हैं. किसानों के पास उतने पैसे नहीं रहते कि अपने बच्चों को बेहतर शिक्षा दे सकें. प्रतिवर्ष लगभग 15 हजार से अधिक लड़कियां मैट्रिक और 10 हजार लड़कियां किसी तरह इंटर पास कर पाती हैं. 5 हजार से अधिक लड़कियां जो मैट्रिक के बाद पढ़ाई छोड़ देती हैं. उसके पीछे का मुख्य कारण यह है कि लड़कियों को उच्च शिक्षा दिलाने के लिए अभिभावक के पास पैसे नहीं होते हैं या फिर आर्थिक तंगी के चलते इन लड़कियों की कम उम्र में शादी कर दी जाती है.

ईटीवी भारत की रिपोर्ट

पढ़ें: पशुपालन विभाग की बड़ी लापरवाही: पशुओं की दवा और चारा रखे-रखे हो गई एक्सपायर, अब हो रही छुपाने की कोशिश

छात्राओं ने मुख्यमंत्री के इस निर्णय का किया स्वागत
इंटर की छात्रा प्रिया रानी ने बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के इस निर्णय से ग्रामीण क्षेत्र की लड़कियों पर व्यापक प्रभाव पड़ेगा. ग्रामीण क्षेत्र की लड़कियों को पढ़ने के लिए छूट नहीं मिल पाती है. इसके पीछे का सबसे बड़ा कारण आर्थिक रूप से अभिभावक का सबल नहीं होना है. इंटर की एक अन्य छात्रा आराध्या ने बताया कि बांका जैसे पिछड़े जिलों में बहुत से लड़कियों का परिवार कृषि क्षेत्र से जुड़ा हुआ है. मुख्यमंत्री ने जो राशि बढ़ाने का निर्णय लिया है उससे ऐसे परिवार को फायदा मिलेगा. जिस शिक्षक के पास पढ़ाई करती हैं इस राशि की मदद से फीस देने में सहूलियत होगी.

बांका की बेटियां
बांका की बेटियां

उन्होंने कहा कि अमूमन देखा जाता है कि आर्थिक तंगी के चलते अभिभावक अपनी बेटियों को आगे पढ़ाने में असहज महसूस करते हैं. इसलिए उनकी शादी कर देते हैं. मुख्यमंत्री के इस ऐतिहासिक पहल से इस पर रोक लगेगी और लड़कियों अपने सपनों को साकार कर सकेगी.

पढ़ें: ICDS योजना में गति लाने के लिए अधिकारी ने की बैठक, मातृ वंदना योजना की भी हुई समीक्षा

पैसे के अभाव में बेटियों की नहीं रुकेगी पढ़ाई
बांका जैसे पिछड़े जिलों में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के इस निर्णय का यहां की लड़कियों ने खुले दिल से स्वागत किया है. इससे यहां की लड़कियों को दो फायदा होने वाला है. एक तो पैसों के अभाव में उनकी पढ़ाई नहीं रुकेगी और दूसरी सबसे बड़ी बात यह है कम उम्र में होने वाली शादियों पर रोक लगेगी. मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के तहत इंटर पास करने वाली अविवाहित लड़कियों को उच्च शिक्षा हासिल करने के लिए 25 हजार और स्नातक व उसके समकक्ष पढ़ाई करने के लिए लड़कियों को 50 हजार की आर्थिक मदद देने की घोषणा की.इससे पहले इंटर पास करने पर 10 हजार और ग्रेजुएट होने पर 25 हजार की राशि दी जाती थी.

बांका: नीतीश सरकार ने कैबिनेट की बैठक में लड़कियों की शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए बड़ा फैसला लिया है. मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के तहत कन्याओं को दी जाने वाली राशि में दोगुनी बढ़ोतरी कर दी गई है. इंटर पास करने पर 25 हजार और ग्रेजुएट होने पर 50 हजार दिए जाने का निर्णय लिया गया है. इस फैसले से बांका की छात्राओं ने खुशी जाहिर की है.

आर्थिक तंगी के कारण नहीं बढ़ पाती हैं लड़कियां
मुख्यमंत्री की इस घोषणा से बांका जैसे पिछड़े जिले की लड़कियों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है. यहां के अधिकांश अभिभावक खेती और किसानी करते हैं. किसानों के पास उतने पैसे नहीं रहते कि अपने बच्चों को बेहतर शिक्षा दे सकें. प्रतिवर्ष लगभग 15 हजार से अधिक लड़कियां मैट्रिक और 10 हजार लड़कियां किसी तरह इंटर पास कर पाती हैं. 5 हजार से अधिक लड़कियां जो मैट्रिक के बाद पढ़ाई छोड़ देती हैं. उसके पीछे का मुख्य कारण यह है कि लड़कियों को उच्च शिक्षा दिलाने के लिए अभिभावक के पास पैसे नहीं होते हैं या फिर आर्थिक तंगी के चलते इन लड़कियों की कम उम्र में शादी कर दी जाती है.

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छात्राओं ने मुख्यमंत्री के इस निर्णय का किया स्वागत
इंटर की छात्रा प्रिया रानी ने बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के इस निर्णय से ग्रामीण क्षेत्र की लड़कियों पर व्यापक प्रभाव पड़ेगा. ग्रामीण क्षेत्र की लड़कियों को पढ़ने के लिए छूट नहीं मिल पाती है. इसके पीछे का सबसे बड़ा कारण आर्थिक रूप से अभिभावक का सबल नहीं होना है. इंटर की एक अन्य छात्रा आराध्या ने बताया कि बांका जैसे पिछड़े जिलों में बहुत से लड़कियों का परिवार कृषि क्षेत्र से जुड़ा हुआ है. मुख्यमंत्री ने जो राशि बढ़ाने का निर्णय लिया है उससे ऐसे परिवार को फायदा मिलेगा. जिस शिक्षक के पास पढ़ाई करती हैं इस राशि की मदद से फीस देने में सहूलियत होगी.

बांका की बेटियां
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उन्होंने कहा कि अमूमन देखा जाता है कि आर्थिक तंगी के चलते अभिभावक अपनी बेटियों को आगे पढ़ाने में असहज महसूस करते हैं. इसलिए उनकी शादी कर देते हैं. मुख्यमंत्री के इस ऐतिहासिक पहल से इस पर रोक लगेगी और लड़कियों अपने सपनों को साकार कर सकेगी.

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पैसे के अभाव में बेटियों की नहीं रुकेगी पढ़ाई
बांका जैसे पिछड़े जिलों में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के इस निर्णय का यहां की लड़कियों ने खुले दिल से स्वागत किया है. इससे यहां की लड़कियों को दो फायदा होने वाला है. एक तो पैसों के अभाव में उनकी पढ़ाई नहीं रुकेगी और दूसरी सबसे बड़ी बात यह है कम उम्र में होने वाली शादियों पर रोक लगेगी. मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के तहत इंटर पास करने वाली अविवाहित लड़कियों को उच्च शिक्षा हासिल करने के लिए 25 हजार और स्नातक व उसके समकक्ष पढ़ाई करने के लिए लड़कियों को 50 हजार की आर्थिक मदद देने की घोषणा की.इससे पहले इंटर पास करने पर 10 हजार और ग्रेजुएट होने पर 25 हजार की राशि दी जाती थी.

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