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सेना में जाति प्रमाण पत्र को लेकर बोले कुशवाहा- 'मेरे सवाल का अब तक नहीं मिला जवाब'

बिहार में सेना बहाली में जाति प्रमाण पत्र (Politics On Caste Certificate In Army Reinstatement) को लेकर सियासत चरम पर है. हालांकि इसको लेकर रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने जवाब भी दे दिया है. लेकिन जेडीयू संसदीय बोर्ड के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा उनके जवाब से संतुष्ट नहीं हैं. उनका साफ कहना है कि मेरे बयान को गलत तरीके से लिया गया है. मेरे सवाल का जब तक जवाब नहीं मिलेगा, मेरा वही सवाल रहेगा. पढ़ें पूरी खबर...

जदयू संसदीय बोर्ड के राष्ट्रीय अध्यक्ष
जदयू संसदीय बोर्ड के राष्ट्रीय अध्यक्ष
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Published : Jul 20, 2022, 7:25 PM IST

Updated : Jul 20, 2022, 7:55 PM IST

पटना: बिहार में अग्निवीर के माध्यम से सैनिकों की बहाली में जाति प्रमाण पत्र मांगे जाने का मामला रक्षामंत्री राजनाथ सिंह (Defense Minister Rajnath Singh) के स्पष्टीकरण के बाद भी शांत नहीं हो रहा है. जदयू संसदीय बोर्ड के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा (JDU Parliamentary Board National President Upendra Kushwaha) ने इसको लेकर कहा है कि जो हमने सवाल उठाया है, उसके एंगल को ही चेंज करने की कोशिश हो रही है. मैंने यह नहीं कहा कि सेना में बहाली के दौरान फॉर्म में जाति भरने का सिलसिला 10 साल से चल रहा है या 50 साल से, जब बहाली में जात से संबंधित कोई सुविधा ही नहीं है तो फिर जात पूछने का क्या मतलब है.

ये भी पढ़ें- 'जात न पूछो साधु की लेकिन जात पूछो फौजी की', सेना बहाली में जाति प्रमाण पत्र पर तेजस्वी का हमला

'चार्ट पूछने का औचित्य जानना चाहा था. अब यह 10 साल से है या अभी का मामला है या आजादी से पहले से चला रहा है, यदि ये गलत है तो आज भी सुधार की जरूरत है. भारत की सरकार ने एक बहुत ही अच्छा काम किया है कि सैकड़ों आउटडेटेड कानून को रद्द कर दिया है, जिसकी कोई जरूरत नहीं है. बहुत पहले से गड़बड़ी चल रही हो और उसे स्वीकार करते जाएं तो यह कहां का न्याय है. कब से पूछा जा रहा है यह मेरा सवाल ही नहीं है, आखिर जात क्यों पूछा जा रहा है, यह सवाल है और इसका जवाब कहीं से मुझे नहीं मिल रहा है. जब तक जवाब नहीं मिलेगा तब तक यह सवाल रहेगा.' - उपेंद्र कुशवाहा, राष्ट्रीय अध्यक्ष, जदयू संसदीय बोर्ड

उपेंद्र कुशवाहा ने सेना में जाति पूछने पर उठाए सवाल : गौरतलब है कि अग्निपथ योजना पर जेडीयू के विरोध के बाद एक बार फिर सेना में बहाली के लिए लगने वाले डॉक्यूमेंट में जाति प्रमाण पत्र को लेकर उपेन्द्र कुशवाहा ने मोर्चा खोल दिया है. उन्होंने केंद्रीय रक्षा मंत्री से स्पष्टीकरण मांगा. उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि सेना की बहाली में जाति प्रमाण पत्र की क्या जरूरत है, जब इसमें आरक्षण का कोई प्रावधान ही नहीं है. संबंधित विभाग के अधिकारियों को स्पष्टीकरण (Clarification On Caste Certificate) देना चाहिए.

अग्निपथ योजना को लेकर बिहार में हुआ था बवाल : बता दें कि अग्निपथ योजना को लेकर बिहार में सबसे ज्यादा बवाल हुआ था. अब एक बार फिर सेना में बहाली (Army Reinstatement) के लिए लगने वाले डॉक्यूमेंट में जाति प्रमाण पत्र को लेकर बिहार में घमासान मचा हुआ है. पहले जदयू के तरफ से उपेंद्र कुशवाहा ने सवाल उठाया और फिर आरजेडी के तरफ से नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने. हालांकि राजनाथ सिंह ने स्पष्टीकरण दे दिया है, उसके बावजूद उपेंद्र कुशवाहा का साफ कहना है कि अभी तक जवाब नहीं मिला है जो सवाल हमने जात को लेकर उठाया था.

पटना: बिहार में अग्निवीर के माध्यम से सैनिकों की बहाली में जाति प्रमाण पत्र मांगे जाने का मामला रक्षामंत्री राजनाथ सिंह (Defense Minister Rajnath Singh) के स्पष्टीकरण के बाद भी शांत नहीं हो रहा है. जदयू संसदीय बोर्ड के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा (JDU Parliamentary Board National President Upendra Kushwaha) ने इसको लेकर कहा है कि जो हमने सवाल उठाया है, उसके एंगल को ही चेंज करने की कोशिश हो रही है. मैंने यह नहीं कहा कि सेना में बहाली के दौरान फॉर्म में जाति भरने का सिलसिला 10 साल से चल रहा है या 50 साल से, जब बहाली में जात से संबंधित कोई सुविधा ही नहीं है तो फिर जात पूछने का क्या मतलब है.

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'चार्ट पूछने का औचित्य जानना चाहा था. अब यह 10 साल से है या अभी का मामला है या आजादी से पहले से चला रहा है, यदि ये गलत है तो आज भी सुधार की जरूरत है. भारत की सरकार ने एक बहुत ही अच्छा काम किया है कि सैकड़ों आउटडेटेड कानून को रद्द कर दिया है, जिसकी कोई जरूरत नहीं है. बहुत पहले से गड़बड़ी चल रही हो और उसे स्वीकार करते जाएं तो यह कहां का न्याय है. कब से पूछा जा रहा है यह मेरा सवाल ही नहीं है, आखिर जात क्यों पूछा जा रहा है, यह सवाल है और इसका जवाब कहीं से मुझे नहीं मिल रहा है. जब तक जवाब नहीं मिलेगा तब तक यह सवाल रहेगा.' - उपेंद्र कुशवाहा, राष्ट्रीय अध्यक्ष, जदयू संसदीय बोर्ड

उपेंद्र कुशवाहा ने सेना में जाति पूछने पर उठाए सवाल : गौरतलब है कि अग्निपथ योजना पर जेडीयू के विरोध के बाद एक बार फिर सेना में बहाली के लिए लगने वाले डॉक्यूमेंट में जाति प्रमाण पत्र को लेकर उपेन्द्र कुशवाहा ने मोर्चा खोल दिया है. उन्होंने केंद्रीय रक्षा मंत्री से स्पष्टीकरण मांगा. उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि सेना की बहाली में जाति प्रमाण पत्र की क्या जरूरत है, जब इसमें आरक्षण का कोई प्रावधान ही नहीं है. संबंधित विभाग के अधिकारियों को स्पष्टीकरण (Clarification On Caste Certificate) देना चाहिए.

अग्निपथ योजना को लेकर बिहार में हुआ था बवाल : बता दें कि अग्निपथ योजना को लेकर बिहार में सबसे ज्यादा बवाल हुआ था. अब एक बार फिर सेना में बहाली (Army Reinstatement) के लिए लगने वाले डॉक्यूमेंट में जाति प्रमाण पत्र को लेकर बिहार में घमासान मचा हुआ है. पहले जदयू के तरफ से उपेंद्र कुशवाहा ने सवाल उठाया और फिर आरजेडी के तरफ से नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने. हालांकि राजनाथ सिंह ने स्पष्टीकरण दे दिया है, उसके बावजूद उपेंद्र कुशवाहा का साफ कहना है कि अभी तक जवाब नहीं मिला है जो सवाल हमने जात को लेकर उठाया था.

Last Updated : Jul 20, 2022, 7:55 PM IST
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