पटना: मंगलवार को आईआईटी पटना में 7वां दीक्षांत समारोह सफलतापूर्वक संपन्न हुआ. इस दौरान बीटेक, एमएससी, एमटेक और पीएचडी के पासआउट कुल 370 स्टूडेंट्स को डिग्री दी गई. वहीं, अच्छा प्रर्दशन करने वाले छात्र-छात्राओं को मेडल देकर सम्मानित किया गया. कार्यक्रम के दौरान सभी छात्र-छात्राएं सफेद कुर्ता पैजामा और रंग बिरंगे दुपट्टे में काफी जंच रहे थे. समारोह में मुख्य अतिथि के रुप में राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश और विशिष्ट अतिथि के रूप में आईआईटी मुंबई के पूर्व निदेशक प्रोफेसर देवांग वी खाखर मौजूद रहे.
खिल उठे चेहरे
समारोह के दौरान डिग्री और मेडल पाकर छात्र-छात्राओं के चेहरे खुशी से खिल उठे. उनके साथ परिवार वाले भी इस खुशी के गवाह बने. पढ़ाई पूरी कर हाथों में डिग्री लिए सभी ने खुशी व्यक्त की. अपनी सफलता का श्रेय आईआईटी के शिक्षकों और अपने परिवार को दिया.
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इन छात्र-छात्राओं को मिली डिग्री और मेडल
आईआईटी पटना के निदेशक पुष्पक भट्टाचार्या और आईआईटी मुम्बई के कैमिकल इंजीनियरिंग के प्रोफेसर देवांग वी खाखर ने सभी छात्रों को डिग्री और मेडल देकर सम्मानित किया. इनमें गोल्ड मैडल लेने वाले छात्रों में आशीष राज, तरुण गर्ग, मानसी और जुफिशाह हैं. वहीं, आशीष राज को कम्प्यूटर साइंस इंजीनियरिंग में बेहतर करने के लिए प्रेसिडेंट ऑफ इंडिया गोल्ड मैडल से नवाजा गया. इसी क्रम में तरुण गर्ग को भी डायरेक्टर गोल्ड मैडल मिला. वहीं, छात्रा मानसी को मैथेमेटिक्स में अच्छा करने के लिए आर्यभट्ट गोल्ड मैडल से पुरष्कृत किया गया. तो जुफिशाह को कम्युनिकेशन सिस्टम इंजीनियरिग के लिए चेयरमैन गोल्ड मैडल मिला. इसके अलावा कई सफल छात्र छात्राओं को सिल्वर मेडल भी दिए गए.
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क्या बोली छात्राएं
इस दौरान कम्युनिकेशन सिस्टम इंजिनयरिंग की छात्रा शीतल जैन ने बताया कि थर्ड ईयर में ही उन्हें एक अच्छी कंपनी में जॉब मिल गयी थी. जिसमें वह 5G पर काम कर रही हैं. वहीं गोल्ड मेडलिस्ट जुफिशाह कहती हैं कि आईआईटी पटना ने उन्हें काफी कुछ दिया है. उन्होंने बताया कि 7वे दीक्षांत समारोह में मिले गोल्ड मैडल के अलावा उन्हें आईआईटी पटना की ओर से स्कॉलरशिप भी मिल चुकी है. जिससे वो बेहतर रिसर्च वर्क के लिए जर्मनी गई थीं. जहां उन्हें काफी कुछ सीखने को मिला. जुफिशाह कहती हैं कि उनके भविष्य को संवारने में आईआईटी पटना का एक अहम योगदान है. जिसे वो हमेशा याद रखेंगी. जुफिशाह ने जूनियर स्टूडेंट से कहा कि दबाव में पढ़ाई न करें. बल्कि पढ़ाई को मनोरंजन की तरह लेते हुए पढ़ें. तभी आप सफलता की ऊंचाइयों को छू सकेंगे.
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