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पटना हाईकोर्ट ने राज्य में राष्ट्रीय राजमार्गों पर राज्य सरकार के रुख पर जताया ऐतराज

बिहार में राष्ट्रीय राजमार्ग की हालत पर पटना हाईकोर्ट ने अपना रुख साफ किया है. राज्य सरकार की ओर से किए जा रहे कार्यों को लेकर अगली सुनवाई प्रतिवेदन मांगा है. आगे पढ़ें पूरी खबर...

Patna High Court
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Published : Jan 14, 2022, 11:23 AM IST

पटना : पटना हाईकोर्ट ने राज्य में राष्ट्रीय राजमार्गों (Patna High Court On National Highway) के निर्माण, विकास और मरम्मत में हो रही देर पर कड़ा रुख अपनाया है. चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने राज्य में विभिन्न राष्ट्रीय राजमार्गों की दयनीय हालत पर सुनवाई की. कोर्ट के समक्ष राज्य सरकार की ओर से अपर महाधिवक्ता अंजनी कुमार ने इस कार्य में National Highway Authority of India (NHAI) को हर तरह के सहयोग करने का वादा किया. साथ ही उन्होंने एनएचएआई को यह भी बताने को कहा कि वे अपनी कठिनाइयां बताए.

ये भी पढ़ें- बिहार में अपराध की घटनाओं पर पटना हाईकोर्ट में हुई सुनवाई, सरकार को जवाब देने का निर्देश

अंजनी कुमार ने कहा कि राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्माण में आने वाली हर बाधा (National Highway Issue In Bihar) को सरकार दूर करेगी. इनके निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण करना राज्य सरकार की बड़ी भूमिका है, जिस पर राज्य सरकार तेजी से कार्य कर रही है. उन्होंने कोर्ट को बताया कि राज्य सरकार ने कई स्थानों पर भूमि अधिग्रहण कर राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच) के लिए भूमि उपलब्ध कराई है, लेकिन तब भी एनएच का निर्माण कार्य समय पर पूरा नहीं किया जा सका है.

राज्य सरकार के अपर महाधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि बख्तियारपुर मोकामा खंड पर निर्माण कार्य 2019 में ही पूरा होना था, लेकिन अबतक पूरा नहीं हुआ. इसके लिए राज्य सरकार ने भूमि उपलब्ध करा दी थी, लेकिन एनएच ने इस पर आपत्ति जताई. उसने कहा कि सड़क निर्माण के लिए उपलब्ध कराई गई भूमि पर 36 जगहों पर स्थानीय निवासियों ने आपत्ति जताई है.

ये भी पढ़ें- पटना HC ने LNMU के 85 हजार छात्रों को दी बड़ी राहत, स्नातक-पीजी के पेंडिंग रिजल्ट का जल्द होगा प्रकाशन

इस मामले पर की जा रही कार्रवाई का कोर्ट ने अगली सुनवाई में पूरा प्रतिवेदन मांगा. इस मामलें पर अगली सुनवाई इस महीने के तीसरे सप्ताह में होगी. बता दें कि राष्ट्रीय राजमार्ग के मसले पर अक्सर ही विवाद उभरकर सामने आता है.

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पटना : पटना हाईकोर्ट ने राज्य में राष्ट्रीय राजमार्गों (Patna High Court On National Highway) के निर्माण, विकास और मरम्मत में हो रही देर पर कड़ा रुख अपनाया है. चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने राज्य में विभिन्न राष्ट्रीय राजमार्गों की दयनीय हालत पर सुनवाई की. कोर्ट के समक्ष राज्य सरकार की ओर से अपर महाधिवक्ता अंजनी कुमार ने इस कार्य में National Highway Authority of India (NHAI) को हर तरह के सहयोग करने का वादा किया. साथ ही उन्होंने एनएचएआई को यह भी बताने को कहा कि वे अपनी कठिनाइयां बताए.

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अंजनी कुमार ने कहा कि राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्माण में आने वाली हर बाधा (National Highway Issue In Bihar) को सरकार दूर करेगी. इनके निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण करना राज्य सरकार की बड़ी भूमिका है, जिस पर राज्य सरकार तेजी से कार्य कर रही है. उन्होंने कोर्ट को बताया कि राज्य सरकार ने कई स्थानों पर भूमि अधिग्रहण कर राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच) के लिए भूमि उपलब्ध कराई है, लेकिन तब भी एनएच का निर्माण कार्य समय पर पूरा नहीं किया जा सका है.

राज्य सरकार के अपर महाधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि बख्तियारपुर मोकामा खंड पर निर्माण कार्य 2019 में ही पूरा होना था, लेकिन अबतक पूरा नहीं हुआ. इसके लिए राज्य सरकार ने भूमि उपलब्ध करा दी थी, लेकिन एनएच ने इस पर आपत्ति जताई. उसने कहा कि सड़क निर्माण के लिए उपलब्ध कराई गई भूमि पर 36 जगहों पर स्थानीय निवासियों ने आपत्ति जताई है.

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इस मामले पर की जा रही कार्रवाई का कोर्ट ने अगली सुनवाई में पूरा प्रतिवेदन मांगा. इस मामलें पर अगली सुनवाई इस महीने के तीसरे सप्ताह में होगी. बता दें कि राष्ट्रीय राजमार्ग के मसले पर अक्सर ही विवाद उभरकर सामने आता है.

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