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IGIMS में अब 5 लाख में होगा लीवर ट्रांसप्लांट, केंद्र और राज्य सरकार देगी 10 लाख तक अनुदान

बिहार के मरीजों के लिए राहत भरी खबर है. पटना के आईजीआईएमएस (IGIMS Patna) में अब मरीजों का पांच लाख रुपये में ही लीवर ट्रांसप्लांट हो सकेगा. इसके लिए केंद्र व राज्य सरकार 10 लाख रुपये का अनुदान देगी. पढ़ें पूरी खबर..

liver transplant in low cost
liver transplant in low cost
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Published : Sep 18, 2021, 5:13 PM IST

पटना: पटना के आईजीआईएमएस (IGIMS Patna) में अब मात्र 5 लाख रुपये में ही मरीजों का लीवर ट्रांसप्लांट (Liver Transplant In IGIMS) किया जाएगा. इसके लिए संस्थान को केंद्र और राज्य सरकार अनुदान देगी. शुरुआती दौर में 10 लोगों का लीवर ट्रांसप्लांट किया जाएगा.

यह भी पढ़ें- IGIMS पटना में लिवर ट्रांसप्लांट OPD की शुरुआत, एक ही स्थान पर मिलेंगी सभी सुविधाएं

आईजीआईएमएस के अधीक्षक मनीष मंडल के अनुसार पहले से ही लीवर ट्रांसप्लांट का काम संस्थान में हो रहा है. लेकिन इसमें ज्यादा पैसे खर्च होते थे. जो मरीज यहां पहुंचते थे, वो लीवर ट्रांसप्लांट कराने से कतराते थे, क्योंकि इतना रकम चुकाना गरीब मरीजों के बस की बात नहीं थी.

देखें वीडियो

"मरीजों को लीवर ट्रांसप्लांट में ज्यादा खर्चा आने से परेशानी हो रही थी. इसको लेकर हमलोगों ने केन्द्र और राज्य सरकार को लिखा था. सरकार ने संज्ञान लिया लेते हुए अनुदान देने का निर्णय लिया है. अब लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर सरकार की तरफ से संस्थान को आर्थिक अनुदान दिया जाएगा .आईजीआईएमएस में सस्ते दर पर लीवर ट्रांसप्लांट हो पायेगा."- मनीष मंडल,अधीक्षक,आईजीआईएमएस पटना

साथ ही अब मरीजों की सुविधा के लिए अलग से ओपीडी भी बनाया गया है. मरीजों को परेशानी न हो और एक छत के नीचे सारी सुविधा मिले इसको ध्यान में रखकर व्यवस्था की गई है. मनीष मंडल के अनुसार लीवर डोनर को तीन-तीन जांच से गुजरना होता है. इसे ध्यान में रखते हुए सारी सुविधा एक छत के नीचे शुरू की गई है.

बता दें कि हर शनिवार को लीवर ट्रांसप्लांट से जुड़े मरीजो की काउंसिलिंग और इलाज ओपीडी में की जाती है. अभी तक 15 मरीजों ने लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर संस्थान से संपर्क किया है. आपको बता दें कि आईजीआईएमएस में 19 मार्च 2020 में पहला लीवर ट्रांसप्लांट किया गया था.

हालांकि पहला ट्रांसप्लांट सफल नहीं हुआ था और 48 घंटे के अंदर में मरीज की मौत हो गई थी. उस समय नालंदा के रहने वाले रोहित कुमार का लीवर नोएडा के डॉक्टर निमेश चंद्रा को लगाया गया था. अब फिर से आईजीआईएमएस में लिवर ट्रांसप्लांट को लेकर ओपीडी शुरू कर दी गई है. बहुत जल्द ही दिल्ली स्थित मैक्स अस्पताल के ट्रांसप्लांट सर्जन डॉक्टर सुभाष गुप्ता आईजीआईएमएस में लिवर ट्रांसप्लांट का विधिवत शुरुआत करेंगे.

शुरुआती दौर में 10 लोगों का लीवर ट्रांसप्लांट किया जाएगा. इलाज से जुड़े डॉ साकेत कुमार, राजकुमार सिंह और अमरजीत कुमार के देखरेख में यह ट्रांसप्लांट होगा. आपको बता दें कि प्राइवेट अस्पतालों में लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर मरीजों को 40 से 60 लाख रुपये तक खर्च करने होते हैं. लेकिन जिस तरह से केंद्र और राज्य सरकार ने लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर अनुदान देने की स्वीकृति दी है, इससे अब इसका खर्च कम होकर 5 लाख तक तक हो जाएगा.

इससे पहले आईजीआईएमएस में लीवर ट्रांसप्लांट करने के लिए डोनर के अलावे 15 लाख रुपये खर्च आता था. लेकिन सरकारी सहायता मिलने के बाद अब कोई भी मरीज अगर पटना के आईजीआईएमएस में आकर लीवर ट्रांसप्लांट करवाना चाहता है तो उन्हें सिर्फ 5 लाख रुपये ही खर्च करने होंगे.

यह भी पढ़ें- अगर खाने में चूजी है तो जान लें गुड और बैड कॉलेस्ट्रॉल का भांडा फूट चुका है

यह भी पढ़ें- अल्कोहल ही नहीं, इस वजह से भी हो रही लीवर की बीमारी, बचने के ये हैं उपाय

पटना: पटना के आईजीआईएमएस (IGIMS Patna) में अब मात्र 5 लाख रुपये में ही मरीजों का लीवर ट्रांसप्लांट (Liver Transplant In IGIMS) किया जाएगा. इसके लिए संस्थान को केंद्र और राज्य सरकार अनुदान देगी. शुरुआती दौर में 10 लोगों का लीवर ट्रांसप्लांट किया जाएगा.

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आईजीआईएमएस के अधीक्षक मनीष मंडल के अनुसार पहले से ही लीवर ट्रांसप्लांट का काम संस्थान में हो रहा है. लेकिन इसमें ज्यादा पैसे खर्च होते थे. जो मरीज यहां पहुंचते थे, वो लीवर ट्रांसप्लांट कराने से कतराते थे, क्योंकि इतना रकम चुकाना गरीब मरीजों के बस की बात नहीं थी.

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"मरीजों को लीवर ट्रांसप्लांट में ज्यादा खर्चा आने से परेशानी हो रही थी. इसको लेकर हमलोगों ने केन्द्र और राज्य सरकार को लिखा था. सरकार ने संज्ञान लिया लेते हुए अनुदान देने का निर्णय लिया है. अब लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर सरकार की तरफ से संस्थान को आर्थिक अनुदान दिया जाएगा .आईजीआईएमएस में सस्ते दर पर लीवर ट्रांसप्लांट हो पायेगा."- मनीष मंडल,अधीक्षक,आईजीआईएमएस पटना

साथ ही अब मरीजों की सुविधा के लिए अलग से ओपीडी भी बनाया गया है. मरीजों को परेशानी न हो और एक छत के नीचे सारी सुविधा मिले इसको ध्यान में रखकर व्यवस्था की गई है. मनीष मंडल के अनुसार लीवर डोनर को तीन-तीन जांच से गुजरना होता है. इसे ध्यान में रखते हुए सारी सुविधा एक छत के नीचे शुरू की गई है.

बता दें कि हर शनिवार को लीवर ट्रांसप्लांट से जुड़े मरीजो की काउंसिलिंग और इलाज ओपीडी में की जाती है. अभी तक 15 मरीजों ने लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर संस्थान से संपर्क किया है. आपको बता दें कि आईजीआईएमएस में 19 मार्च 2020 में पहला लीवर ट्रांसप्लांट किया गया था.

हालांकि पहला ट्रांसप्लांट सफल नहीं हुआ था और 48 घंटे के अंदर में मरीज की मौत हो गई थी. उस समय नालंदा के रहने वाले रोहित कुमार का लीवर नोएडा के डॉक्टर निमेश चंद्रा को लगाया गया था. अब फिर से आईजीआईएमएस में लिवर ट्रांसप्लांट को लेकर ओपीडी शुरू कर दी गई है. बहुत जल्द ही दिल्ली स्थित मैक्स अस्पताल के ट्रांसप्लांट सर्जन डॉक्टर सुभाष गुप्ता आईजीआईएमएस में लिवर ट्रांसप्लांट का विधिवत शुरुआत करेंगे.

शुरुआती दौर में 10 लोगों का लीवर ट्रांसप्लांट किया जाएगा. इलाज से जुड़े डॉ साकेत कुमार, राजकुमार सिंह और अमरजीत कुमार के देखरेख में यह ट्रांसप्लांट होगा. आपको बता दें कि प्राइवेट अस्पतालों में लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर मरीजों को 40 से 60 लाख रुपये तक खर्च करने होते हैं. लेकिन जिस तरह से केंद्र और राज्य सरकार ने लीवर ट्रांसप्लांट को लेकर अनुदान देने की स्वीकृति दी है, इससे अब इसका खर्च कम होकर 5 लाख तक तक हो जाएगा.

इससे पहले आईजीआईएमएस में लीवर ट्रांसप्लांट करने के लिए डोनर के अलावे 15 लाख रुपये खर्च आता था. लेकिन सरकारी सहायता मिलने के बाद अब कोई भी मरीज अगर पटना के आईजीआईएमएस में आकर लीवर ट्रांसप्लांट करवाना चाहता है तो उन्हें सिर्फ 5 लाख रुपये ही खर्च करने होंगे.

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