पटना: पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) के अनुशंसा के आलोक में 14 न्यायिक पदाधिकारियों को बिहार सेवा संहिता 1952 के नियम-74 (बी)(ii) के अंतर्गत अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी गई है. इस आशय की अधिसूचना बिहार सरकार के सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा 16 मार्च 2022 को जारी की गई है.
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अनिवार्य सेवानिवृत्ति किये जाने वालों में शेखपुरा के जिला व सत्र न्यायाधीश जितेंद्र कुमार दुबे, पटना हाईकोर्ट के विशेष कार्य पदाधिकारी कमरूल होदा, मधुबनी के अपर जिला व सत्र न्यायाधीश इशरातुल्लाह, मुजफ्फरपुर (सम्प्रति निलंबित) के अपर जिला व सत्र न्यायाधीश मनोज कुमार- III, कटिहार के डीएलएसए के सचिव विपुल सिन्हा हैं. भागलपुर (सम्प्रति निलंबित) के अपर जिला व सत्र न्यायाधीश सुश्री प्रीति वर्मा, बांका के अपर जिला व सत्र न्यायाधीश चंद्र मोहन झा, बाढ़ (पटना) के अपर जिला व सत्र न्यायाधीश शत्रुघ्न सिंह, रोहतास, सासाराम के अपर जिला व सत्र न्यायाधीश परिमल कुमार मोहित भी शामिल है.
भागलपुर के श्रम न्यायालय के पीठासीन पदाधिकारी प्रभु नाथ प्रसाद, मोतिहारी (सम्प्रति निलंबित) के सब जज सह सीजेएम सुधीर कुमार सिन्हा, मुजफ्फरपुर (पश्चिम) के सब जज सह एसीजेएम, सतीश चंद्र, पटना सिटी (सम्प्रति निलंबित) के सब जज सह एसीजेएम संजीव कुमार चन्द्रीयावी व मसौढ़ी, पटना (सम्प्रति निलंबित) के एसडीजेएम हरे राम का नाम शामिल है.
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