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पूरे देश में धर्मांतरण रोकने के लिए कानून बनना चाहिए-गिरिराज सिंह

जबरन धर्म परिवर्तन को रोकने के लिए देश में कई राज्यों धर्मांतरण कानून को लागू किया गया है. धर्मांतरण कानून को लेकर बिहार में एनडीए में मतभेद की खबरें सामने आ रही है. नीतीश कुमार ने धर्मांतरण कानून को खारिज किया है. वहीं केन्द्रीय मंत्री और बीजेपी नेता गिरिराज सिंह धर्मांतरण कानून लाने की वकालत की है. पढ़ें पूरी खबर

बीजेपी के वरिष्ठ नेता गिरिराज सिंह
बीजेपी के वरिष्ठ नेता गिरिराज सिंह
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Published : Jun 10, 2022, 3:26 PM IST

मुजफ्फरपुर : बिहार में सत्तारूढ़ एनडीए में शामिल बीजेपी और जेडीयू आमने-सामने आ गए है. केंद्रीय मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता गिरिराज सिंह ने शुक्रवार को मुजफ्फरपुर में कहा कि ने पूरे देश में धर्मांतरण को रोकने के लिए पूरे कानून बनना चाहिए (Giriraj Singh demands Anti conversion Law). इससे पहले, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि बिहार में धर्मांतरण विरोधी कानून की कोई जरूरत नहीं (Nitish Kumar on Anti conversion Law) है.

ये भी पढ़ें: 'जब तक मेरे शरीर में खून का एक भी कतरा रहेगा, तक तक हिंदुओं के हित की बात करूंगा'

बिहार में धर्मांतरण विरोधी कानून की जरूरत : बिहार के बेगूसराय के सांसद गिरिराज सिंह शुक्रवार को मुजफ्फरपुर में एमपी एमएलए कोर्ट में एक मामले को लेकर पहुंचे थे. इस क्रम में पत्रकारों ने जब उनसे धर्मांतरण कानून के विषय में पूछा गया, तो उन्होंने साफ लहजे में कहा कि धर्मांतरण को रोकने के लिए पूरे देश में कानून बिहार में नहीं है धर्मांतरण विरोधी कानून की जरूरतबनना चाहिए. दरअस, कई बीजेपी नेता और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह बिहार में धर्मांतरण विरोधी कानून की जरूरत पर बल देते रहते हैं.

धर्मांतरण कानून पर नीतीश कुमार ने बीजेपी को दिया जवाब : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि बिहार में धर्मान्तरण विरोधी कानून की कोई जरुरत नहीं है. उन्होंने यह भी कहा कि सरकार यहां हमेशा अलर्ट रहती है, सभी लोग शांति से रहते हैं. उन्होंने कहा था कि यहां इस तरह का कोई 'डिस्प्यूट' नहीं है. बिहार में बहुत शांति है। लोग चाहे वे किसी भी धार्मिक समूह के हों शांति से रहते हैं.

''जिस राज्य में सरकार अलर्ट है और सभी धर्म के लोग शांति से रह रहे हैं, वहां धर्मांतरण विरोधी कानून की कोई जरूरत नहीं है. बिहार में समुदायों के बीच कोई झगड़ा नहीं है. सभी तरह की आस्था वाले लोग शांति से रह रहे हैं. उनके लिए कोई परेशानी नहीं है। हमने अपना काम कुशलता से किया है. इसलिए यहां इस तरह के कदम की जरूरत नहीं है. सरकार की सतर्कता ने सुनिश्चित किया है कि राज्य में कोई सांप्रदायिक तनाव न हो.'' - नीतीश कुमार, मुख्यमंत्री, बिहार

कई मुद्दों पर बीजेपी का विरोध कर चुके है नीतीश: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बीजेपी के साथ गठबंधन में रहने के बावजूद कई मुद्दों पर जैसे अयोध्या, अनुच्छेद 370, एनआरसी, समान नागरिक संहिता, ट्रिपल तालक और जनसंख्या नियंत्रण के लिए विधायी उपायों पर बीजेपी का विरोध किया है. हाल ही में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने संसद में जनसंख्या नियंत्रण बिल लाने पर भी बयान दिया था. नीतीश ने कहा था कि कानून बना देने से कुछ नहीं होने वाला, इसके लिए लोगों को अपना नजरिया बदलना होगा.

ये भी पढ़ें: बोले गिरिराज- 'अगर भारत में जुलूस नहीं निकलेगा तो क्या अफगानिस्तान में निकलेगा'

यूपी, एमपी, हरियाणा सहित कई राज्यों में कानून : बता दें कि अभी यूपी, एमपी, हरियाणा सहित कई राज्यों में जबरन धर्मांतरण को रोकने के लिए Anti conversion Law लाया गया है. इससे पहले मोदी सरकार में मंत्री गिरिराज सिंह हाल ही में जब बिहार बीजेपी प्रदेश कार्यसमिति में शामिल हुए थे तो उन्होंने यूपी, हरियाणा जैसे अन्य राज्यों की तरह बिहार में भी धर्मांतरण विरोधी कड़ा कानून बनाने की मांग की थी.

ये भी पढ़ें: भारत के राज्यों में क्या है जनसंख्या नियंत्रण समेत अन्य कानूनों की स्थिति, डालें एक नजर

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मुजफ्फरपुर : बिहार में सत्तारूढ़ एनडीए में शामिल बीजेपी और जेडीयू आमने-सामने आ गए है. केंद्रीय मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता गिरिराज सिंह ने शुक्रवार को मुजफ्फरपुर में कहा कि ने पूरे देश में धर्मांतरण को रोकने के लिए पूरे कानून बनना चाहिए (Giriraj Singh demands Anti conversion Law). इससे पहले, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि बिहार में धर्मांतरण विरोधी कानून की कोई जरूरत नहीं (Nitish Kumar on Anti conversion Law) है.

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बिहार में धर्मांतरण विरोधी कानून की जरूरत : बिहार के बेगूसराय के सांसद गिरिराज सिंह शुक्रवार को मुजफ्फरपुर में एमपी एमएलए कोर्ट में एक मामले को लेकर पहुंचे थे. इस क्रम में पत्रकारों ने जब उनसे धर्मांतरण कानून के विषय में पूछा गया, तो उन्होंने साफ लहजे में कहा कि धर्मांतरण को रोकने के लिए पूरे देश में कानून बिहार में नहीं है धर्मांतरण विरोधी कानून की जरूरतबनना चाहिए. दरअस, कई बीजेपी नेता और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह बिहार में धर्मांतरण विरोधी कानून की जरूरत पर बल देते रहते हैं.

धर्मांतरण कानून पर नीतीश कुमार ने बीजेपी को दिया जवाब : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि बिहार में धर्मान्तरण विरोधी कानून की कोई जरुरत नहीं है. उन्होंने यह भी कहा कि सरकार यहां हमेशा अलर्ट रहती है, सभी लोग शांति से रहते हैं. उन्होंने कहा था कि यहां इस तरह का कोई 'डिस्प्यूट' नहीं है. बिहार में बहुत शांति है। लोग चाहे वे किसी भी धार्मिक समूह के हों शांति से रहते हैं.

''जिस राज्य में सरकार अलर्ट है और सभी धर्म के लोग शांति से रह रहे हैं, वहां धर्मांतरण विरोधी कानून की कोई जरूरत नहीं है. बिहार में समुदायों के बीच कोई झगड़ा नहीं है. सभी तरह की आस्था वाले लोग शांति से रह रहे हैं. उनके लिए कोई परेशानी नहीं है। हमने अपना काम कुशलता से किया है. इसलिए यहां इस तरह के कदम की जरूरत नहीं है. सरकार की सतर्कता ने सुनिश्चित किया है कि राज्य में कोई सांप्रदायिक तनाव न हो.'' - नीतीश कुमार, मुख्यमंत्री, बिहार

कई मुद्दों पर बीजेपी का विरोध कर चुके है नीतीश: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बीजेपी के साथ गठबंधन में रहने के बावजूद कई मुद्दों पर जैसे अयोध्या, अनुच्छेद 370, एनआरसी, समान नागरिक संहिता, ट्रिपल तालक और जनसंख्या नियंत्रण के लिए विधायी उपायों पर बीजेपी का विरोध किया है. हाल ही में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने संसद में जनसंख्या नियंत्रण बिल लाने पर भी बयान दिया था. नीतीश ने कहा था कि कानून बना देने से कुछ नहीं होने वाला, इसके लिए लोगों को अपना नजरिया बदलना होगा.

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यूपी, एमपी, हरियाणा सहित कई राज्यों में कानून : बता दें कि अभी यूपी, एमपी, हरियाणा सहित कई राज्यों में जबरन धर्मांतरण को रोकने के लिए Anti conversion Law लाया गया है. इससे पहले मोदी सरकार में मंत्री गिरिराज सिंह हाल ही में जब बिहार बीजेपी प्रदेश कार्यसमिति में शामिल हुए थे तो उन्होंने यूपी, हरियाणा जैसे अन्य राज्यों की तरह बिहार में भी धर्मांतरण विरोधी कड़ा कानून बनाने की मांग की थी.

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